Isaiah
Isaiah 1
Isaiah 1:1
यशायाह कौन था?
यशायाह आमोस का पुत्र था।
यशायाह का दर्शन किस विषय में था?
यशायाह का दर्शन यहूदा और यरूशलेम के बारे में था।
यशायाह ने दर्शन कब पाया?
यशायाह ने दर्शन उज्जिय्याह, योताम, आहाज और हिजकिय्याह नामक यहूदा के राजाओं के दिनों में पाया।
Isaiah 1:2-3
स्वर्ग को क्यों सुनना और पृथ्वी को क्यों कान लगाना चाहिए?
स्वर्ग को सुनना चाहिए और पृथ्वी को कान लगाना चाहिए क्योंकि यहोवा ये कहता है।
यहोवा ने क्या किया है?
यहोवा ने बाल-बच्चों का पालन-पोषण किया और उनको बढ़ाया है।
यहोवा के बच्चों ने क्या किया ?
उन्होंने यहोवा के विरूद्ध विद्रोह किया है।
Isaiah 1:4-6
जाति का वर्णन किस प्रकार किया गया है?
उनका वर्णन पापियों, अधर्म से लदे हुओं, कुकर्मियों, बिगड़े हुए बाल-बच्चे के रूप में किया गया है।
इस देश ने क्या किया है?
उन्होंने यहोवा को छोड़ दिया है, इस्राएल के पवित्र को तुच्छ जाना है और पराए बनकर दूर हो गए हैं।
Isaiah 1:7-8
देश और इसके नगरों का क्या हाल है?
उनका देश उजाड़ हो गया है और उनके नगर भस्म कर दिए गए हैं।
Isaiah 1:9-10
यहोवा ने क्या बचा के रखा है?
यहोवा ने उनके थोड़े से लोगों को बचा के रखा है।
Isaiah 1:11-13
यहोवा किस से प्रसन्न नहीं होता?
वह बैल, भेड़ के बच्चे और बकरों के लहू में प्रसन्न नहीं होता है।
Isaiah 1:14
यहोवा किस से बैर रखता है?
वह उनके नये चाँदों और नियत पर्वों से बैर रखता है।
Isaiah 1:15
यहोवा उनकी प्रार्थनाएं क्यों नहीं सुनेगा?
यहोवा उनकी नहीं सुनेगा क्योंकि उनके हाथ खून से भरे हैं।
Isaiah 1:16
यहोवा उन्हें क्या करने के लिए कहता है?
यहोवा उन्हें कहता है कि बुराई करना छोड़ दे, भलाई करना सीखे; यत्न से न्याय करो, उपद्रवी को सुधारो; अनाथ का न्याय चुकाओ, विधवा का मुकद्दमा लड़ो।।
Isaiah 1:17-18
यहोवा उन्हें क्या करने के लिए कहता है?
यहोवा उन्हें कहता है कि बुराई करना छोड़ दे, भलाई करना सीखे; यत्न से न्याय करो, उपद्रवी को सुधारो; अनाथ का न्याय चुकाओ, विधवा का मुकद्दमा लड़ो।।
Isaiah 1:19
देश के उत्तम पदार्थों को खाने के लिए उन्हें क्या करना चाहिए?
उन्हें तैयार और आज्ञाकारी होना चाहिए।
Isaiah 1:20
क्या होगा यदि वे न माने और बलवा करें?
वे तलवार से मारे जाएंगे।
Isaiah 1:21-23
विश्वासयोग्य नगरी व्यभिचारिण होने से पहले कैसी थी?
वह विश्वासयोग्य नगरी न्याय और धार्मिकता से भरी हुई थी।
विश्वासयोग्य नगरी अब किस से भर गई है?
जो नगरी विश्वासयोग्य थी वह अब हत्यारों से भर गई हैं।
Isaiah 1:24-28
यहोवा क्या करेगा?
वह अपने बैरियों से बदला लेगा।
Isaiah 1:29-30
वे किससे लज्जित और शर्मिंदा होंगे ?
जिन बांज वृक्षों से वे प्रीति रखते थे उनसे वे लज्जित होंगे और जिन बारियों से वे प्रसन्न रहते थे उनके कारण शर्मिंदा होंगे।
Isaiah 1:31
बलवान और उसके काम का क्या होगा?
वे दोनों एक साथ जलेंगे।
Isaiah 2
Isaiah 2:1
यशायाह ने जो वचन देखा वह किसके विषय में था?
यशायाह ने जो वचन देखा वह यहूदा और यरूशलेम के विषय में था।
Isaiah 2:2
अन्त के दिनों में क्या होगा?
अन्त के दिनों में यहोवा के भवन का पर्वत सब पहाड़ों पर दृढ़ किया जाएगा।
यहोवा के भवन में कौन आएगा?
हर जाति के लोग धारा के समान उसकी ओर आएगे।
Isaiah 2:3
यहोवा के पर्वत पर बहुत से लोग क्यों जाएँगे?
वे वहाँ जाएगे ताकि वह उन्हें यहोवा के मार्ग सिखाए।
Isaiah 2:4
यहोवा जाति-जाति और बहुत से लोगों के लिए क्या करेगा?
यहोवा उनका न्याय करेगा और उनके झगड़ों को मिटाएगा।
देश-देश के लोग क्या करेंगे?
वे एक दूसरे के विरुद्ध फिर अपनी तलवार न उठाएंगे और न ही युद्ध की विद्या सीखेंगे।
Isaiah 2:5
याकूब के घराने को क्या करने के लिए कहा गया है?
उन्हें यहोवा के प्रकाश में चलने के लिए कहा गया है।
Isaiah 2:6-9
यहोवा ने क्या किया है?
उसने अपनी प्रजा याकूब के घराने को त्याग दिया है।
यहोवा ने याकूब के घराने को क्यों त्याग दिया है?
उसने इसलिए त्यागा क्योंकि वे पूर्व देश के व्यवहार पर तन-मन से चलते हैं, और पलिश्तियों के समान टोना करते हैं,और परदेशियों के साथ हाथ मिलाते हैं।
Isaiah 2:10
यहूदा के घराने को चट्टान में क्यों घुस जाना चाहिए और क्यों मिट्टी में छिप जाना चाहिए?
यहोवा के भय और उसके प्रताप के कारण उन्हें छिप जाना चाहिए।
Isaiah 2:11-17
आदमियों के घमण्ड और उनकी घमण्ड भरी आँखों का क्या होगा?
उनका घमण्ड दूर किया जाएगा और घमण्ड भरी आँखें नीची की जाएंगी।
उस दिन कौन ऊँचे पर विराजमान होगा?
उस दिन यहोवा ऊँचे पर विराजमान होगा।
Isaiah 2:18
मूरतों का क्या होगा?
मूरतें सब की सब नष्ट हो जाएंगी।
Isaiah 2:19-21
उस दिन लोग कहाँ चले जाएंगे?
उस दिन लोग चट्टानों की गुफाओं और भूमि के बिलों में जा घुसेंगे।
Isaiah 2:22
यहूदा के घराने को किस पर विश्वास करने से परे रहने के लिए कहा गया है?
उन्हें मनुष्यों पर विश्वास करने से परे रहने के लिए कहा गया है।
Isaiah 3
Isaiah 3:1-3
यहोवा यहूदा और यरूशलेम से क्या दूर कर देगा?
यहोवा उनसे सब प्रकार का सहारा और आधार दूर कर देगा।
Isaiah 3:4
यहूदा और यरूशलेम पर प्रभुता कौन करेगा?
लड़के उन पर हाकिम होंगे और बच्चे उन पर प्रभुता करेंगे।
Isaiah 3:5-7
लोगों पर अंधेर कौन करेगा?
प्रजा के लोग एक-दूसरे पर और हरेक अपने पड़ोसी पर अंधेर करेंगे।
Isaiah 3:8
यरूशलेम क्यों डगमगाया और यहूदा क्यों गिर गया है?
वे डगमगाए और गिर गए क्योंकि उनके वचन और काम यहोवा के विरुद्ध हैं।
Isaiah 3:9
यहूदा और यरूशलेम के विरुद्ध कौन साक्षी देता है?
उनका चेहरा भी उनके विरुद्ध साक्षी देता है।
Isaiah 3:10
धर्मियों का क्या होगा?
धर्मियों का भला होगा।
Isaiah 3:11
दुष्ट का अन्त कैसा होगा?
दुष्टों का बुरा होगा।
Isaiah 3:12-13
अगुवे उन्हें कहाँ ले जाते हैं?
उनके अगुवे उन्हें भटकाते हैं और उनके चलने का मार्ग उन्हें भुला देते हैं।
Isaiah 3:14-16
यहोवा अपनी प्रजा के वृद्ध और हाकिमों के साथ क्या करेगा?
यहोवा उनका न्याय करेगा।
Isaiah 3:17-24
यहोवा सिय्योन की स्त्रियों का क्या करेगा?
यहोवा उनके सिर पर रोगग्रस्त पपड़ियाँ बना देगा और उन्हें गंजा करेगा।
Isaiah 3:25-26
पुरुषों का क्या होगा?
पुरुष तलवार से मारे जाएंगे।
Isaiah 4
Isaiah 4:1-2
सात स्त्रियां एक पुरुष को क्यों पकड़ेंगी?
ताकि वे उसकी कहलाएं और उनकी नामधराई दूर हो।
Isaiah 4:3
सिय्योन और यरूशलेम में जो बचे रहेंगे वे क्या कहलाएंगे?
सिय्योन और यरूशलेम में जो बचे रहेंगे वे पवित्र कहलाएंगे।
Isaiah 4:4
प्रभु न्याय करने वाली और भस्म करने वाली आत्मा के द्वारा क्या करेगा?
प्रभु सिय्योन की स्त्रियों के मल को धो देगा और यरूशलेम के खून को दूर करेगा।
Isaiah 4:5-6
यहोवा सिय्योन पर्वत के एक-एक घर के ऊपर और उसके सभास्थानों के ऊपर क्या सिरजेगा?
वह उनके ऊपर दिन को धुंए के बादल और रात को धधकती आग का प्रकाश सिरजेगा और समस्त वैभव के ऊपर एक मण्डप छाया रहेगा।
Isaiah 5
Isaiah 5:1
गायक किसके लिए गाना चाहता है?
वह अपनी प्रिय के लिए गाना चाहता है।
गायक के गीत का विषय क्या है?
उसके गीत का विषय उसकी प्रिय की दाख की बारी है।
Isaiah 5:2
उसने दाख की बारी का क्या किया?
उसने उसकी मिट्टी खोदी, पत्थर बीनकर उसने उत्तम जाति की एक दाखलता लगाई और उसमें एक गुम्मट और दाखलता के लिए कुण्ड भी बनाया।
दाख की बारी से क्या मिला?
उसमें केवल निक्कमी दाखें ही लगीं।
Isaiah 5:3-4
यरूशलेम के निवासियों और यहूदा के मनुष्यों को किसका न्याय करना है?
उन्हें प्रिय और उसकी दाख की बारी के बीच न्याय करना है।
Isaiah 5:5
अब प्रिय अपनी दाख की बारी के साथ क्या करेगा?
वह उसकी बाड़ा को उखाड़ देगा कि वह चट की जाए और उसकी दीवार को ढा देगा ताकि वह रौंदी जाए और उस पर कोई बारिश नहीं होगी।
Isaiah 5:6
अब प्रिय अपनी दाख की बारी के साथ क्या करेगा?
वह उसकी बाड़ा को उखाड़ देगा कि वह चट की जाए और उसकी दीवार को ढा देगा ताकि वह रौंदी जाए और उस पर कोई बारिश नहीं होगी।
Isaiah 5:7-8
सेनाओं के यहोवा की दाख की बारी कौन है?
यहोवा की दाख की बारी इस्राएल का घराना है।
यहोवा ने उसमें किसकी आशा की?
यहोवा ने उसमें न्याय और धार्मिकता की आशा की।
यहोवा को धार्मिकता और न्याय के स्थान पर क्या मिला?
यहोवा को अन्याय दिखाई पड़ा और चिल्लाहट सुनाई पड़ी।
Isaiah 5:9-12
बहुत से घरों को क्या होगा?
बहुत से घर सुनसान और निर्जन हो जाएँगे।
Isaiah 5:13-15
इस्राएल और यहूदा के लोग बन्धुआई में क्यों चले गए?
अज्ञानता के कारण वे बन्धुआई में चले गए हैं।
Isaiah 5:16-23
सेनाओं का यहोवा किस कारण महान ठहरता है?
यहोवा न्याय करने के कारण महान ठहरता है।
पवित्र परमेश्वर किस रीति से जाना जाता है?
परमेश्वर अपनी धार्मिकता के कारण से जाना जाता है।
Isaiah 5:24-25
इस्राएल की जड़ क्यों सड़ जाएगी और उनके फूल धूल होकर उड़ जाएँगे?
इस्राएल की जड़ सड़ जाएगी और उनके फूल धूल होकर उड़ जाएँगे क्योंकि उन्होंने यहोवा की व्यवस्था को अस्वीकार किया और इस्राएल के पवित्र का वचन तुच्छ जाना है।
Isaiah 5:26-30
यहोवा दूर-दूर की जातियों को किस प्रकार बुलाएगा?
वह उनके लिए झण्डा खड़ा करेगा और सीटी बजाएगा।
दूर-दूर की जातियों के लोग किस प्रकार आएंगे?
दूर-दूर की जातियों के लोग फुर्ती करके वेग से आएंगे।
Isaiah 6
Isaiah 6:1
यशायाह ने प्रभु को बहुत ही ऊँचे सिंहासन पर विराजमान कब देखा?
यशायाह ने प्रभु को उस वर्ष देखा जिस वर्ष राजा उज्जियाह की मृत्यु हुई थी।
Isaiah 6:2-3
प्रभु से ऊंचे कौन थे?
प्रभु से ऊंचे साराप थे।
Isaiah 6:4
जब साराप ने एक-दूसरे को पुकारा तो क्या हुआ?
जब साराप ने एक-दूसरे को पुकारा तब पुकारने वाले के शब्द से डेवढ़ियों की नींव डोल उठी और भवन धुंए से भर उठा।
Isaiah 6:5-6
जब यशायाह ने ये सब देखा तो उसने क्या कहा?
यशायाह ने कहा कि वे नष्ट हो गया है क्योंकि वह अशुद्ध होंठोंवाला मनुष्य है और ऐसे ही लोगों के बीच में रहता है और उसने महाराजाधिराज, यहोवा को अपनी आँखों से देखा था।
Isaiah 6:7
जब साराप ने हाथ में वेदी पर से अंगारे लिए यशायाह के मुंह को छुआ तो क्या कहा?
उसने कहा," देख, इसने तेरे होंठों को छू लिया है इसलिए तेरा अधर्म दूर हो गया है और तेरे पाप क्षमा हो गए हैं।
Isaiah 6:8
यशायाह ने प्रभु का क्या वचन सुना?
यशायाह ने सुना,"मैं किसको भेजूं और हमारी ओर से कौन जाएगा?"
यशायाह ने प्रभु के प्रश्न का क्या उत्तर दिया?
यशायाह ने कहा,"मैं यहाँ हूँ; मुझे भेज।"
Isaiah 6:9-10
प्रभु ने यशायाह को लोगों को क्या बताने के लिए कहा?
प्रभु ने यशायाह को लोगों से कहने को कहा कि वे सुनेंगे पर समझ नहीं पाएँगे, देखेंगे पर जान नहीं पाएँगे।
Isaiah 6:11
यशायाह को कब तक परमेश्वर का वचन लोगों को सुनाना था?
यशायाह को परमेश्वर का वचन तब तक सुनाना था जब तक नगर न उजड़ते और उनमें कोई न रहता और देश उजाड़ और सुनसान हो जाए, जब तक यहोवा मनुष्यों को उस में से दूर न कर दे और देश के बहुत से स्थान निर्जन न हो जाएं।
Isaiah 6:12-13
यशायाह को कब तक परमेश्वर का वचन लोगों को सुनाना था?
यशायाह को परमेश्वर का वचन तब तक सुनाना था जब तक नगर न उजड़ते और उनमें कोई न रहता और देश उजाड़ और सुनसान हो जाए, जब तक यहोवा मनुष्यों को उस में से दूर न कर दे और देश के बहुत से स्थान निर्जन न हो जाएं।
Isaiah 7
Isaiah 7:1
आहाज कौन था?
आहाज योताम का पुत्र और उज्जियाह का पोता था और यहूदा का राजा था।
आहाज के दिनों में कौन से राजाओं ने यहूदा में यरूशलेम से लड़ने के लिए चढ़ाई की थी?
अराम के राजा रसीन और इस्राएल के राजा रमल्याह के पुत्र पेकह ने यरूशलेम से लड़ने के लिए चढ़ाई की थी।
Isaiah 7:2
जब आहाज और उसके लोगों को ज्ञात हुआ कि अरामियों ने एप्रैमियों के साथ सन्धि की है तो उन्होंने क्या प्रतिक्रिया की?
आहाज और उसकी प्रजा का मन यह सुनकर काँप उठा।
Isaiah 7:3
यहोवा ने यशायाह को क्या कार्य सौंपा?
यहोवा ने यशायाह से कहा कि वे अपने पुत्र को लेकर आहाज को मिलने जाए।
यहोवा ने आहाज को किससे नहीं डरने को कहा?
यहोवा ने आहाज से रसीन और पेकह के भड़के हुए कोप से न डरने को कहा।
Isaiah 7:4
यहोवा ने आहाज को किससे नहीं डरने को कहा?
यहोवा ने आहाज से रसीन और पेकह के भड़के हुए कोप से न डरने को कहा।
Isaiah 7:5
अरामी, एप्रैमियों और रमल्याह के पुत्र ने क्या योजना बनाई?
इन पुरुषों ने आहाज और यहूदा के विरुद्ध बुरी योजना बनाई। उन्होंने यहूदा पर हमला करने और भयभीत करने की योजना बनाई, और ताबेल के पुत्र को राजा के रूप में नियुक्त किया।
Isaiah 7:6-7
अरामी, एप्रैमियों और रमल्याह के पुत्र ने क्या योजना बनाई?
इन पुरुषों ने आहाज और यहूदा के विरुद्ध बुरी योजना बनाई। उन्होंने यहूदा पर हमला करने और भयभीत करने की योजना बनाई, और ताबेल के पुत्र को राजा के रूप में नियुक्त किया।
Isaiah 7:8
यहोवा ने आहाज को एप्रैम के विषय में क्या बताया?
यहोवा ने आहाज को बताया कि," पैंसठ वर्ष के भीतर एप्रैम बिखर जाएगा और वह एक जाति नहीं रहेगी।
Isaiah 7:9-11
यहोवा ने आहाज को क्या बताया कि यदि वे विश्वास में दृढ़ नहीं रहेगा तो होगा?
आहाज तब तक सुरक्षित नहीं रहेगा जब तक उसका विश्वास दृढ़ न होगा।
Isaiah 7:12
आहाज ने क्या प्रतिक्रिया की जब यहोवा ने उसे कोई चिन्ह मांगने को कहा?
आहाज ने कहा कि,"मैं नहीं मांगूगा और न ही मैं यहोवा की परीक्षा करूँगा।"
Isaiah 7:13-16
यशायाह ने क्या कहा अहाब कर रहा था?
यशायाह ने कहा कि वह न केवल मनुष्यों के सब्र की परीक्षा ले रहा था बल्कि वह परमेश्वर के सब्र की भी परीक्षा ले रहा था।
Isaiah 7:17-19
यशायाह ने आहाज को क्या बताया कि यहोवा उसके विरुद्ध किसे ले आएगा?
यशायाह ने आहाज को बताया कि यहोवा उसके और उसकी प्रजा के विरुद्ध अश्शूर के राजा को ले आएगा।
Isaiah 7:20-22
अश्शूर का राजा क्या करेगा?
अश्शूर का राजा आहाज के सिर और पाँवों के रोएँ और दाढ़ी मूंड़ेंगा।
Isaiah 7:23
भूमि का क्या होगा?
भूमि में झाड़ी और कंटीले पेड़ भरे होंगे और यह स्थान भेड़-बकरियों के चरने के लिए होंगे।
Isaiah 7:24
भूमि का क्या होगा?
भूमि में झाड़ी और कंटीले पेड़ भरे होंगे और यह स्थान भेड़-बकरियों के चरने के लिए होंगे।
Isaiah 7:25
भूमि का क्या होगा?
भूमि में झाड़ी और कंटीले पेड़ भरे होंगे और यह स्थान भेड़-बकरियों के चरने के लिए होंगे।
Isaiah 8
Isaiah 8:1
यहोवा यशायाह को क्या करने के लिए कहा?
उसने यशायाह से कहा कि वह एक बड़ी पटिया लेकर उस पर 'महेर्शालाल्हाशबज' लिखे।
Isaiah 8:2
किन्हें यहोवा के विश्वासयोग्य साक्षी होना था?
यहोवा के विश्वासयोग्य पुरुषों अर्थात् ऊरिय्याह याजक और जेबेरेक्याह के पुत्र जकर्याह को यहोवा की साक्षी होना था।
Isaiah 8:3
यहोवा ने यशायाह को अपने पुत्र का नाम 'महेर्शालाल्हाशबज' क्यों रखने के लिए क्यों कहा?
उसका नाम 'महेर्शालाल्हाशबज' रखा क्योंकि इससे पहले कि वह बापू और माँ पुकारना जाने दमिश्क और सामरिया दोनों की धन-सम्पत्ति लूट कर अश्शूर का राजा अपने देश को ले जाएगा।
Isaiah 8:4-11
यहोवा ने यशायाह को अपने पुत्र का नाम 'महेर्शालाल्हाशबज' क्यों रखने के लिए क्यों कहा?
उसका नाम 'महेर्शालाल्हाशबज' रखा क्योंकि इससे पहले कि वह बापू और माँ पुकारना जाने दमिश्क और सामरिया दोनों की धन-सम्पत्ति लूट कर अश्शूर का राजा अपने देश को ले जाएगा।
Isaiah 8:12
यहोवा ने दृढ़ता के साथ इन लोगों की सी कौन सी विशेष चाल चलने से मना किया?
यशायाह को यहोवा ने जिस बात को ये लोग राजद्रोह कहें उसे राजद्रोह न कहने और जिस बात से वे भय खाते हैं उससे भय न खाने के लिए दृढ़ता से मना किया था।
Isaiah 8:13
यशायाह को किसे पवित्र जानने और किसका डर मानने के लिए कहा गया?
यशायाह को केवल सेनाओं के यहोवा को ही पवित्र जानने, उसी का डर मानने और उसी का भय रखने को कहा गया था।
Isaiah 8:14-15
यहोवा इस्राएल के दोनों घरानों के लिए और यरूशलेम के निवासियों के लिए क्या होगा?
वह इस्राएल के दोनों घरानों के लिए ठोकर का पत्थर और ठेस की चट्टान और यरूशलेम के निवासियों के लिए फंदा और जाल होगा।
Isaiah 8:16
यशायाह की कौन सी साक्षी उसके चेलों को दी जानी थी?
उसकी साक्षी यह थी कि वह यहोवा की बाट जोहता रहेगा और जो पुत्र यहोवा ने उसे सौंपे हैं वे इस्राएलियों के लिए चिन्ह और चमत्कार है।
Isaiah 8:17
यशायाह की कौन सी साक्षी उसके चेलों को दी जानी थी?
उसकी साक्षी यह थी कि वह यहोवा की बाट जोहता रहेगा और जो पुत्र यहोवा ने उसे सौंपे हैं वे इस्राएलियों के लिए चिन्ह और चमत्कार है।
Isaiah 8:18
यशायाह की कौन सी साक्षी उसके चेलों को दी जानी थी?
उसकी साक्षी यह थी कि वह यहोवा की बाट जोहता रहेगा और जो पुत्र यहोवा ने उसे सौंपे हैं वे इस्राएलियों के लिए चिन्ह और चमत्कार है।
Isaiah 8:19
यशायाह के अनुसार उसके चेलों को इस्राएल के लोग क्या कहने वाले थे?
लोग उन से कहने वाले थे कि ओझाओं और टोन्हों के पास जाकर पूछो।
यशायाह क्या बताता है कि लोगों को किससे पूछना चाहिए?
लोगों को अपने परमेश्वर के पास जाकर पूछना चाहिए।
Isaiah 8:20
यशायाह ने चेलों को क्या ध्यान देने का आदेश दिया?
उन्हें व्यवस्था और गवाही पर ध्यान देने का आदेश दिया गया।
Isaiah 8:21
जब इस्राएल के लोग क्लेशित, भूखे और क्रोधित होंगे तो क्या करेंगे?
वे अपना मुख ऊपर आकाश की ओर उठाएंगे और अपने राजा और परमेश्वर को शाप देंगे।
Isaiah 8:22
इस्राएल के लोगों को क्या होगा?
वे घोर अन्धकार में ढकेल दिए जाएंगे।
Isaiah 9
Isaiah 9:1
संकट से भरे अन्धकार में पड़े व्यक्ति के साथ क्या होगा?
उसका संकट भरा अन्धकार दूर कर दिया जाएगा।
परमेश्वर ने पहले किन देशों का अपमान किया?
परमेश्वर ने पहले जबूलून और नप्ताली के देशों का अपमान किया।
अन्तिम के दिनों में परमेश्वर जबूलून और नप्ताली के साथ क्या करेगा?
वह उन्हें महिमा देगा।
Isaiah 9:2-5
किसके ऊपर उजियाला चमका?
जो लोग अन्धकार से भरे हुए मृत्यु के देश में रहते थे उनके ऊपर उजियाला चमकेगा।
Isaiah 9:6
जिसके कंधे पर प्रभुता होगी उसका क्या नाम रखा जाएगा?
उनका नाम अद्भुत् युक्ति करने वाला, पराक्रमी परमेश्वर, अनन्तकाल का पिता और शान्ति का राजकुमार रखा जाएगा।
Isaiah 9:7-8
वह कैसे शासन करेगा?
वह न्याय और धर्म से शासन करेगा।
वह कब तक राज्य करेगा?
उसका राज्य इस समय से लेकर सर्वदा के लिए होगा।
Isaiah 9:9
इस्राएल ने गर्व और कठोरता से क्या कहा?
इस्राएल ने कहा, "ईंटों की दीवार गिर गई, परन्तु हम गढ़े हुए पत्थरों से घर बनाएँगे; गूलर-वृक्ष कट गए, परन्तु हम उनके स्थान पर देवदार के वृक्ष उगाएंगे।"
Isaiah 9:10
इस्राएल ने गर्व और कठोरता से क्या कहा?
इस्राएल ने कहा, "ईंटों की दीवार गिर गई, परन्तु हम गढ़े हुए पत्थरों से घर बनाएँगे; गूलर-वृक्ष कट गए, परन्तु हम उनके स्थान पर देवदार के वृक्ष उगाएंगे।"
Isaiah 9:11
यहोवा ने इस्राएल के विरूद्ध किसको खड़ा किया?
यहोवा ने उनके विरुद्ध रसीन, अरामियों और पलिश्तियों को खड़ा करेगा।
Isaiah 9:12
यहोवा ने इस्राएल के विरूद्ध किसको खड़ा किया?
यहोवा ने उनके विरुद्ध रसीन, अरामियों और पलिश्तियों को खड़ा करेगा।
क्या इस पर यहोवा का क्रोध शान्त हुआ?
नहीं, इस पर भी यहोवा का क्रोध शान्त नहीं हुआ। उसका हाथ फिर भी इस्राएल के विरुद्ध बढ़ा हुआ था।
Isaiah 9:13-14
क्या लोग यहोवा की ओर फिरे?
लोग उसकी ओर नहीं फिरे और न ही उसकी खोज की।
Isaiah 9:15-16
"सिर" और "पूंछ" कौन थे जिन्हें यहोवा एक ही दिन में काट डालने वाला था?
पुरनिया और प्रतिष्ठित पुरुष तो सिर थे, और झूठी बातें सिखानेवाला नबी पूँछ थे।
Isaiah 9:17-18
प्रभु ने उनके अनाथ बालकों और विधवाओं पर दया क्यों नहीं की?
उसने उनके अनाथ बालकों और विधवाओं पर दया नहीं की क्योंकि हर एक भक्तिहीन और कुकर्मी था और उनके मुख से मूर्खता की बातें निकलती थी।
क्या इस पर यहोवा का क्रोध शान्त हुआ?
नहीं, इस पर भी यहोवा का क्रोध शान्त नहीं हुआ। उसका हाथ फिर भी इस्राएल के विरुद्ध बढ़ा हुआ था।
Isaiah 9:19-20
यहोवा के बढ़ते हुए क्रोध के कारण क्या हुआ?
यहोवा के रोष के कारण वह देश जलाया गया और लोग आग की ईंधन के समान बन गए।
Isaiah 9:21
मनश्शे, एप्रैम और यहूदा का क्या हुआ?
मनश्शे और एप्रैम ने एक दूसरे के विरुद्ध होकर और उन दोनों ने यहूदा पर आक्रमण किया।
क्या इस पर यहोवा का क्रोध शान्त हुआ?
नहीं, इस पर भी यहोवा का क्रोध शान्त नहीं हुआ। उसका हाथ फिर भी इस्राएल के विरुद्ध बढ़ा हुआ था।
Isaiah 10
Isaiah 10:5
यहोवा के क्रोध का लठ और सोंटा कौन था?
अश्शूर यहोवा के क्रोध का लठ और सोंटा था।
Isaiah 10:6
यहोवा ने अश्शूरियों को क्या करने के लिए कहा?
उसने अश्शूरियों को आज्ञा दी कि छीन-छान करे, लूट ले, और इस्राएल को सड़कों की कीच के समान लताड़े।
Isaiah 10:7-11
अश्शूर की मनसा क्या थी?
अश्शूरियों के मन में था कि बहुत सी जातियों का नाश और अन्त कर डालें।
Isaiah 10:12
प्रभु ने क्या कहा कि जब वह सिय्योन पर्वत और यरूशलेम पर अपना काम पूरा कर लेगा तो क्या करेगा?
प्रभु तब अश्शूर के राजा के गर्व की बातों का और उसकी घमण्ड भरी आँखों का बदला देगा।
Isaiah 10:13-15
अश्शूर के राजा ने क्यों सोचा कि वह सफल है?
अश्शूर के राजा ने सोचा कि वह अपनी बाहुबल, बुद्धि और समझ के कारण सफल हुए।
Isaiah 10:16-17
प्रभु परमेश्वर अश्शूर के हष्ट-पुष्ट योद्धाओं को क्या करने वाला था?
प्रभु परमेश्वर उन सब को दुबला कर देने वाला था।
Isaiah 10:18-19
यहोवा ने क्या कहा कि वह अश्शूर का क्या नाश करेगा?
यहोवा ने कहा कि वह उसके वन और फलदाई बारी की शोभा को पूरी रीति से नाश करेगा।
Isaiah 10:20-23
बचे हुए इस्राएलियों के बचने के बाद वह किस पर भरोसा रखेंगे?
वह अपने मारनेवालों पर कभी भरोसा न रखेंगे परन्तु वास्तव में यहोवा पर भरोसा रखेंगे।
Isaiah 10:24
प्रभु परमेश्वर सिय्योन में रहने वाले लोगों को अश्शूर से न डरने के लिए क्यों कहता है?
वह उन्हें अश्शूर से न डरने के लिए इसलिए कहता है क्योंकि थोड़ी ही देर में सिय्योन के लोगों पर प्रभु परमेश्वर का क्रोध शान्त होगा और उसका क्रोध अश्शूर के सत्यानाश का कारण बनेगा।
Isaiah 10:25-26
प्रभु परमेश्वर सिय्योन में रहने वाले लोगों को अश्शूर से न डरने के लिए क्यों कहता है?
वह उन्हें अश्शूर से न डरने के लिए इसलिए कहता है क्योंकि थोड़ी ही देर में सिय्योन के लोगों पर प्रभु परमेश्वर का क्रोध शान्त होगा और उसका क्रोध अश्शूर के सत्यानाश का कारण बनेगा।
Isaiah 10:27-34
उस दिन क्या होगा जब यहोवा अश्शूर के विरुद्ध कोड़ा उठाएगा और समुन्द्र पर इसे उठाने के लिए इस पर लाठी बढ़ाएगा?
उस दिन उसका बोझ उनके कंधे पर से और उसका जूआ उसकी गर्दन पर से उठा लिया जाएगा।
Isaiah 11
Isaiah 11:1
यिशै के जड़ में से क्या निकलने वाला था?
यिशै के जड़ में से डाली और शाखा निकलने वाली थी।
Isaiah 11:2-3
उस पर क्या ठहरने वाला था?
यहोवा का भय का आत्मा उस पर ठहरने वाला था।
यहोवा का आत्मा उसे क्या देगा?
यहोवा का आत्मा उसे बुद्धि और समझ, युक्ति और पराक्रम, ज्ञान और यहोवा का भय देगा।
Isaiah 11:4-8
वह कंगालों और नम्र लोगों का न्याय कैसे करेगा?
वह मुंह देखा न्याय न करेगा और न कानों के सुने निर्णय करेगा। वह न्याय धार्मिकता से और निर्णय खराई से करेगा।
वह दुष्टों को क्या करेगा?
वह अपने फूंक के झोंके से दुष्ट को मिटा डालेगा।
Isaiah 11:9-10
जानवर कैसे भिन्न बर्ताव करेंगे?
वे उसके पवित्र पर्वत पर न कोई हानि या न ही नाश करेंगे।
जानवर क्यों कोई हानि या नाश नहीं पहुँचाएँगे?
जानवर कोई हानि या नाश इसलिए नहीं पहुँचाएँगे क्योंकि पृथ्वी यहोवा के ज्ञान से ऐसे भर जाएगी।
Isaiah 11:11-12
उस दिन प्रभु अपना हाथ क्यों बढ़ाएगा?
उस दिन प्रभु अपना हाथ दूसरी बार बढ़ाकर बचे हुओं को जो उसकी प्रजा से रह गए हैं अश्शूर से, मिस्र से, पत्रोस से, कूश से, एलाम से, शिनार से, हमात से, और समुन्द्र के द्वीपों से मोल लेकर छुड़ाएगा।
Isaiah 11:13
यहूदा के शत्रुओं का क्या होगा?
यहूदा से शत्रुता करनेवाले निकल दिए जाएगे।
एप्रैम और यहूदा के बीच क्या होगा?
न तो एप्रैम यहूदा से डाह करेगा और न यहूदा एप्रैम का शत्रु रहेगा।
Isaiah 11:14
एप्रैम और यहूदा मिलकर क्या करेंगे?
वे पलिश्तियों के कन्धों पर झपट्टा मारेंगे और मिलकर पूर्वियों को लूटेंगे। वे एदोम और मोआब पर आक्रमण करेंगे।
Isaiah 11:15-16
यहोवा मिस्र की समुन्द्र की खाड़ी और महानद को क्या करेगा?
यहोवा मिस्र की समुन्द्र की खाड़ी को सुखा डालेगा और महानद को सात धार में विभाजित कर डालेगा।
यहोवा क्यों मिस्र की समुन्द्र की खाड़ी को सुखा डालेगा और महानद को विभाजित कर डालेगा?
वह उन्हें विभाजित करेगा ताकि लोग जूता पहिने हुए पार जा सके।
Isaiah 12
Isaiah 12:1
उस दिन वे यहोवा का धन्यवाद क्यों करेंगे?
वे धन्यवाद देंगे क्योंकि यद्यपि यहोवा उनसे क्रोधित थे, फिर भी उसने अपने क्रोध को उनसे दूर किया और उन्हें शांति दी।
उस दिन लोग क्या कहेंगे कि यहोवा उनके लिए क्या है?
लोग कहेंगे कि यहोवा उनका बल और उनके भजन का विषय, और उद्धारकर्ता है।
Isaiah 12:2-4
उस दिन लोग क्या कहेंगे कि यहोवा उनके लिए क्या है?
लोग कहेंगे कि यहोवा उनका बल और उनके भजन का विषय, और उद्धारकर्ता है।
Isaiah 12:5-6
लोगों से यहोवा के लिए भजन गाने को क्यों कहा जाएगा?
उन्हें यहोवा के लिए भजन गाने को कहा जाएगा क्योंकि उसने प्रतापमय काम किए जिसे सारी पृथ्वी जान जाएगी।
Isaiah 13
Isaiah 13:1-2
यशायाह ने यहोवा से क्या दर्शन पाया?
उसने बाबेल के विषय में भारी भविष्यवाणी पाया।
Isaiah 13:3-4
यहोवा ने अपने वीरों को क्या आज्ञा दी?
उसने अपने क्रोध को निष्पादित करने के लिए बुलाया।
Isaiah 13:5-6
यहोवा की सेना कहाँ से आती है?
वे दूर देश से आकाश के छोर से आए हैं।
यहोवा के क्रोध के हथियार क्या करने वाले हैं?
वे सारे देश का नाश करने वाले हैं।
Isaiah 13:7
सारे देश का नाश होने के बाद लोग क्या करेंगे?
उन सब के हाथ ढीले पड़ जाएंगे, और हर एक मनुष्य का हृदय पिघल जाएगा और वे घबरा जाएंगे; उनको पीड़ा और शोक पकड़ेगा। वे आश्चर्यचकित होंगे और उनके मुंह जल जाएंगे।
Isaiah 13:8
सारे देश का नाश होने के बाद लोग क्या करेंगे?
उन सब के हाथ ढीले पड़ जाएंगे, और हर एक मनुष्य का हृदय पिघल जाएगा और वे घबरा जाएंगे; उनको पीड़ा और शोक पकड़ेगा। वे आश्चर्यचकित होंगे और उनके मुंह जल जाएंगे।
Isaiah 13:9
यहोवा के दिन और क्या होगा?
पृथ्वी को उजाड़ दिया जाएगा और पापियों को उसमें से नष्ट कर दिया जाएगा। आकाश के तारागण, सूर्य और चन्द्रमा अपना प्रकाश न देंगे और अन्धेरा हो जाएगा।
Isaiah 13:10-11
यहोवा के दिन और क्या होगा?
पृथ्वी को उजाड़ दिया जाएगा और पापियों को उसमें से नष्ट कर दिया जाएगा। आकाश के तारागण, सूर्य और चन्द्रमा अपना प्रकाश न देंगे और अन्धेरा हो जाएगा।
Isaiah 13:12-16
क्या अधिक मनुष्य रह जाएंगे?
नहीं! यहोवा मनुष्य को ओपीर के सोने से भी अधिक महंगा कर देगा।
Isaiah 13:17-18
यहोवा बेबीलोनियों के विरुद्ध किन्हें उभारेगा?
यहोवा उनके विरुद्ध मादी लोगों को उभारेगा।
Isaiah 13:19
बाबेल को क्या होगा?
परमेश्वर उन्हें सदोम और अमोरा के समान उलट देगा और युग-युग तक उसमें कोई वास न करेगा।
Isaiah 13:20
बाबेल को क्या होगा?
परमेश्वर उन्हें सदोम और अमोरा के समान उलट देगा और युग-युग तक उसमें कोई वास न करेगा।
Isaiah 13:21
बाबेल में क्या रहेगा?
वहां जंगली जन्तु बैठेंगे।
Isaiah 13:22
बाबेल में यह सब कब होगा?
बाबेल के विनाश का समय निकट आ गया है और उसके दिन अब बहुत नहीं रहे।
Isaiah 14
Isaiah 14:1
यहोवा इस्राएल को क्या करेगा?
यहोवा इस्राएल को फिर अपनाकर उन्हीं के देश में बसाएगा।
क्या कोई अन्य भी इस्राएलियों के साथ उनके साथ उनके देश में वापिस जाएगा?
परदेशी उन से मिल जाएंगे और अपने-अपने को याकूब के घराने से मिला लेंगे।
Isaiah 14:2
इस्राएलियों को कौन उनके देश में वापिस ले आएगा?
देश-देश के लोग उनको उन्हीं के स्थानों में पहुंचाएंगे।
जिन देशों ने इस्राएल को बंदी बनाया था इस्राएल का घराना उनके साथ क्या करेगा?
इस्राएल का घराना उनको दास और दासियां बनाएगा। वे उन्हें बन्धुआई में ले जाने वालों को बन्दी बनाएँगे और जो उन पर अत्याचार करते थे उन पर वे शासन करेंगे।
Isaiah 14:3
जिस दिन यहोवा इस्राएल को उसके सन्ताप, घबराहट और कठिन श्रम से विश्राम देगा उस दिन क्या होगा?
उस दिन वह बाबेल के राजा पर ताना मार कर गीत गाएगा।
Isaiah 14:4-5
जिस दिन यहोवा इस्राएल को उसके सन्ताप, घबराहट और कठिन श्रम से विश्राम देगा उस दिन क्या होगा?
उस दिन वह बाबेल के राजा पर ताना मार कर गीत गाएगा।
अन्याय करने वाले को क्या होगा?
अन्याय करने वाले नष्ट हो गए है।
Isaiah 14:6-9
बाबेल के राजा ने क्या किया था?
वह रोष से मनुष्यों लगातर मारता रहता था। वह जाति-जाति पर क्रोध से प्रभुता करता था और उनके पीछे लगातार पड़ा रहता था।
Isaiah 14:10
पाताल में पड़ें, मर चुके राजा बाबेल के राजा को क्या कहेंगे?
वे कहेंगे," तू भी हमारे समान निर्बल हो गया है" और "तेरा वैभव अधोलोक में उतारा गया है"
Isaiah 14:11
पाताल में पड़ें, मर चुके राजा बाबेल के राजा को क्या कहेंगे?
वे कहेंगे," तू भी हमारे समान निर्बल हो गया है" और "तेरा वैभव अधोलोक में उतारा गया है"
Isaiah 14:12
भोर के चमकने वाले तारे को क्या हुआ है?
वह आकाश पर से गिर पड़ा है और काटकर भूमि पर गिराया गया है।
Isaiah 14:13
भोर का चमकने वाला तारा मन में क्या कहता था?
वह कहता था मैं अपने सिंहासन को परमेश्वर के तारागण से ऊंचा करूँगा और मैं परमप्रधान के तुल्य हो जाऊँगा।
Isaiah 14:14-19
भोर का चमकने वाला तारा मन में क्या कहता था?
वह कहता था मैं अपने सिंहासन को परमेश्वर के तारागण से ऊंचा करूँगा और मैं परमप्रधान के तुल्य हो जाऊँगा।
Isaiah 14:20-21
बाबेल के राजा दूसरे राजाओं के साथ कब्र में क्यों नहीं गाढ़ा जाएगा?
वह दूसरे राजाओं के साथ नहीं गाढ़ा जाएगा क्योंकि उसने अपने देश को उजाड़ दिया और अपनी प्रजा का घात किया है।
Isaiah 14:22-24
बाबेल के विरुद्ध सेनाओं के यहोवा की क्या वाणी है?
उसकी वाणी है, "मैं उनके विरुद्ध उठूँगा और उसका नाम और निशान मिटा डालूँगा, और उसके बेटों-पोतों को काट डालूँगा।"
Isaiah 14:25-28
सेनाओं के यहोवा ने अपने देश में बसे अश्शूरियों के विरुद्ध क्या ठान लिया है?
उसने कहा कि वह अश्शूर को अपने देश में तोड़ देगा और अपने पहाड़ों पर उसे कुचल डालेगा।
Isaiah 14:29
पलिश्तीन के विरुद्ध क्या भविष्यवाणी हुई?
पलिश्तीन के विरुद्ध यह भविष्यवाणी हुई कि वे आनन्द नहीं करें क्योंकि यहोवा उसके वंश को भूख से मार डालेगा और उसके बचे हुए घात किए जाएंगे।
Isaiah 14:30-31
पलिश्तीन के विरुद्ध क्या भविष्यवाणी हुई?
पलिश्तीन के विरुद्ध यह भविष्यवाणी हुई कि वे आनन्द नहीं करें क्योंकि यहोवा उसके वंश को भूख से मार डालेगा और उसके बचे हुए घात किए जाएंगे।
Isaiah 14:32
किसने सिय्योन की नींव डाली है?
यहोवा ने सिय्योन की नींव डाली है।
यहोवा की प्रजा के दीन लोग सिय्योन में क्या पाएंगे?
यहोवा की प्रजा के दीन लोग सिय्योन में शरण लेंगे।
Isaiah 15
Isaiah 15:1-4
भविष्यवाणी किसके विषय में है?
भविष्यवाणी मोआब के विषय में है।
मोआब के आर और कीर नगरों का क्या होगा?
वे एक ही रात में उजाड़ और नष्ट हो जाएँगे।
Isaiah 15:5-8
मोआब के भगोड़े कहाँ जाएंगे?
वे सोअर और एग्लत-शलीशिया तक भाग जाएंगे।
Isaiah 15:9
दीमोन के सोते को क्या हुआ है और दीमोन का क्या होगा?
दीमोन का सोता लहू से भरा पड़ा है तौभी यहोवा दीमोन पर और दुःख डालेगा।
बचे हुए और भागे हुए मोआबियों का क्या होगा?
सिंह दोनों बचे हुए और भागे हुए मोआबियों पर हमला करेंगे।
Isaiah 16
Isaiah 16:1
भेड़ों के बच्चों को किसके लिए भेजा जाना था?
भेड़ों के बच्चों को देश के हाकिम के लिए सिय्योन की बेटी के पर्वत पर भेजा जाना था।
Isaiah 16:2
मोआब की बेटियां और अर्नोंन के घाट की तुलना किससे की गई है?
वे उजाड़े हुए घोंसलों के पक्षी और उनके भटके हुए बच्चों के समान हैं।
Isaiah 16:3
भगोड़ों और शरणार्थियों के साथ यहूदा को क्या करना चाहिए?
उन्हें भगोड़ों को छिपाना है न की उन्हें पकड़वाना है और शरणार्थियों को अपने बीच में रहने देना और नाश करने वालों से बचाना है।
Isaiah 16:4
भगोड़ों और शरणार्थियों के साथ यहूदा को क्या करना चाहिए?
उन्हें भगोड़ों को छिपाना है न की उन्हें पकड़वाना है और शरणार्थियों को अपने बीच में रहने देना और नाश करने वालों से बचाना है।
Isaiah 16:5-11
दाऊद के तम्बू में एक सच्चाई के साथ जब सिंहासन पर विराजमान होगा तो क्या करेगा?
वह न्याय करेगा क्योंकि वह न्याय चाहता है और धर्मी है।
Isaiah 16:12-13
मोआब जब प्रार्थना करने को अपने पवित्र स्थान में आए तो उसे क्या प्राप्त होगा?
मोआब को अपनी प्रार्थना से कुछ लाभ न होगा।
Isaiah 16:14
मोआब के वैभव का क्या होने वाला था?
मोआब के वैभव का तीन वर्ष के भीतर अन्त होने वाला था।
मोआब में से कितने बचेंगे?
मोआब में से थोड़े ही बचेंगे और नगण्य होंगे।
Isaiah 17
Isaiah 17:1-2
दमिश्क नगर का क्या होगा?
दमिश्क नगर न रहेगा, वह खण्डहर ही खण्डहर हो जाएगा।
Isaiah 17:3
एप्रैम में क्या नहीं रहेगा?
एप्रैम के गढ़वाले नगर नहीं रहेंगे।
Isaiah 17:4-6
उस दिन याकूब के वैभव का क्या होगा?
याकूब का वैभव घट जाएगा और उसकी मोटी देह दुबली हो जाएगी।
Isaiah 17:7-8
उस दिन मनुष्य किसकी ओर दृष्टि करेगा?
उस दिन मनुष्य अपने कर्त्ता की ओर दृष्टि करेगा और उसकी आँखें इस्राएल के पवित्र की ओर रहेंगी।
Isaiah 17:9-12
उस समय उनके गढ़वाले नगर किसके समान हो जाएंगे?
उस समय उनके गढ़वाले नगर घने वन, और पहाड़ों की चोटियों के समान होंगे।
Isaiah 17:13
क्या होगा जब राज्य-राज्य के लोग बाढ़ के बहुत से जल के समान नाद करेंगे?
परमेश्वर उन्हें ऐसा घुड़केगा कि वे दूर भाग जाएंगे और पीछा किया जाएगें।
Isaiah 17:14
इस्राएल को लूटनेवालों की क्या दशा होगी?
उन्हें सांझ को घबराहट होगी और भोर से पहले वे लोप हो जाएंगे।
Isaiah 18
Isaiah 18:1
पंखों की फड़फड़ाहट से भरा हुआ देश कहाँ है?
पंखों की फड़फड़ाहट से भरा हुआ देश कूश की नदियों से परे है।
Isaiah 18:2
पंखों की फड़फड़ाहट से भरा देश कहाँ अपने दूतों को भेजता है?
वह उन्हें उस जाति के पास भेजता है जिसके लोग बलिष्ठ और सुन्दर हैं, जिनसे दूर और पास के सारे लोग डरते हैं, जो सामर्थी और रौंदनेवाले भी हैं और जिनका देश नदियों से विभाजित किया हुआ है।
Isaiah 18:3-4
जगत के सब रहनेवालों को कब देखना और सुनना है?
जब झण्डा पहाड़ों पर खड़ा किया जाए तो उन्हें देखना है और जब नरसिंगा फूंका जाए तो उन्हें सुनना है।
Isaiah 18:5
फसल से पहले यहोवा क्या करेगा, जब वह खिलना खत्म हो जाएगा?
यहोवा टहनियों को हंसुओं से काट डालेगा और फैली हुई डालियों को तोड़-तोड़ कर अलग फेंक देगा।
Isaiah 18:6
क्या होगा जब मांसाहारी पक्षी उन्हें नोचते-नोचते धूपकाल और सब प्रकार के वन पशु उन्हें खाते-खाते जाड़ा काटेंगे?
उस समय जो लोग सुन्दर और बलिष्ठ हैं सेनाओं के यहोवा के लिए सिय्योन पर्वत पर भेंट लाएंगे।
Isaiah 18:7
क्या होगा जब मांसाहारी पक्षी उन्हें नोचते-नोचते धूपकाल और सब प्रकार के वन पशु उन्हें खाते-खाते जाड़ा काटेंगे?
उस समय जो लोग सुन्दर और बलिष्ठ हैं सेनाओं के यहोवा के लिए सिय्योन पर्वत पर भेंट लाएंगे।
Isaiah 19
Isaiah 19:1
इस अध्याय में किसके बारे में भविष्यद्वाणी है?
इस अध्याय में मिस्र के विषय में भविष्यद्वाणी है।
मिस्रियों को कौन थरथराएगा?
यहोवा मिस्रियों को थरथराएगे।
Isaiah 19:2-3
मिस्रियों को कौन थरथराएगा?
यहोवा मिस्रियों को थरथराएगे।
मिस्री किसके विरुद्ध उभरेंगे?
वे एक-दूसरे के विरुद्ध उभरेंगे।
Isaiah 19:4
यहोवा मिस्रियों को किसके हाथ कर देगा?
यहोवा मिस्रियों को एक कठोर स्वामी के हाथ में कर देगा और एक क्रूर राजा उन पर प्रभुता करेगा।
Isaiah 19:5-9
मिस्र के जल का क्या होगा?
समुन्द्र का जल सूख जाएगा और महानदी सूख कर खाली हो जाएगी।
Isaiah 19:10
मिस्र के कपड़ा बुनने वालों का क्या होगा?
कपड़ा बुनने वालों की आशा टूट जाएँगी।
Isaiah 19:11-13
फिरौंन के बुद्धिमान मंत्रियों की युक्ति को क्या हो गया है?
उनकी युक्ति पशु की सी ठहरी है।
Isaiah 19:14-15
फिरौंन के बुद्धिमान सलाहकारों की युक्ति क्यों मुर्खतापूर्ण हो गई है?
सलाहकारों की युक्ति मुर्खतापूर्ण इसलिए हो गई है क्योंकि यहोवा ने मिस्र के बीच में भ्रमता की आत्मा उत्पन्न कर दी है।
Isaiah 19:16-17
उस दिन मिस्री किसके समान हो जाएंगे?
उस समय मिस्री स्त्रियों के समान हो जाएंगे। डर के मारे वे थरथराएंगे और कांप उठेंगे।
Isaiah 19:18
उस समय मिस्र देश के पांच नगर क्या करेंगे?
वे लोग यहोवा की शपथ खाएंगे।
Isaiah 19:19-22
उस समय मिस्र देश के बीच में क्या होगा?
उस समय मिस्र देश के बीच में यहोवा के लिए एक वेदी होगी।
Isaiah 19:23
उस समय कौन मिलकर यहोवा की आराधना करेंगे?
उस समय मिस्री अश्शूरियों के संग मिल कर यहोवा की आराधना करेंगे।
Isaiah 19:24-25
उस समय कौन पृथ्वी के लिए आशीष का कारण बनेंगे?
उस समय इस्राएल, मिस्र और अश्शूर तीनों मिल कर पृथ्वी के लिए आशीष का कारण होंगे।
Isaiah 20
Isaiah 20:1
क्या हुआ जब तर्त्तान अश्दोद आया?
तर्त्तान ने अश्दोद से युद्ध किया और उसको ले लिया।
तर्त्तान को अश्दोद किसने भेजा?
अश्शूर के राजा सर्गोन ने तर्त्तान को अश्दोद भेजा।
Isaiah 20:2
यहोवा ने यशायाह को क्या करने के लिए कहा जब तर्त्तान ने अश्दोद को ले लिया?
यहोवा ने उसे अपनी कमर का टाट और जूतियाँ उतार कर नंगा और नंगे पाँव घूमने के लिए कहा।
Isaiah 20:3
यशायाह को नंगा घूमने के लिए क्यों कहा गया था?
ताकि वह मिस्र और कूश के लिए चिन्ह और लक्षण हो कि इसी प्रकार मिस्र और कूश के लोगों को अश्शूर का राजा नंगा और नंगे पाँव ले जाएगा।
Isaiah 20:4
यशायाह को नंगा घूमने के लिए क्यों कहा गया था?
ताकि वह मिस्र और कूश के लिए चिन्ह और लक्षण हो कि इसी प्रकार मिस्र और कूश के लोगों को अश्शूर का राजा नंगा और नंगे पाँव ले जाएगा।
Isaiah 20:5
उनका क्या होगा जिनकी आशा कूश और मिस्र पर थी?
वे व्याकुल और लज्जित हो जाएंगे।
Isaiah 20:6
उनका क्या होगा जिनकी आशा कूश और मिस्र पर थी?
वे व्याकुल और लज्जित हो जाएंगे।
Isaiah 21
Isaiah 21:2
यशायाह को किस प्रकार का दर्शन दिया गया?
उसे कष्ट की बातों का दर्शन दिखाया गया।
दर्शन किस विषय में था?
यशायाह का दर्शन एलाम पर चढ़ाई और मादै के घेरे जाने के विषय में था।
Isaiah 21:3
दर्शन का यशायाह पर क्या प्रभाव पड़ा?
इससे यशायाह को उसकी कटि में पीड़ा होने लगी। वह जैसे संकट में पड़ गया और घबरा गया। उसका हृदय धड़कने लगा। वह भयभीत हो गया और थरथराने लगा।
Isaiah 21:4-5
दर्शन का यशायाह पर क्या प्रभाव पड़ा?
इससे यशायाह को उसकी कटि में पीड़ा होने लगी। वह जैसे संकट में पड़ गया और घबरा गया। उसका हृदय धड़कने लगा। वह भयभीत हो गया और थरथराने लगा।
Isaiah 21:6
प्रभु ने यशायाह से क्या कहा?
प्रभु ने यशायाह से कहा,"जाकर एक पहरुआ खड़ा कर दे और वह जो कुछ देखे उसे बताए।"
Isaiah 21:7-8
जब पहरुआ गदहों और ऊटों के सवार को देखें तब उसे क्या करना चाहिए?
तब पहरुए को बहुत ही ध्यान देकर सुनना चाहिए।
Isaiah 21:9-12
जब वह सवारों का दल आता देखता है तो क्या बोल उठता है?
वह बोल उठता है," गिर पड़ा, बाबेल गिर पड़ा और उसके देवताओं की सब खुदी हुई मूरतें भूमि पर चकनाचूर कर डाली गईं हैं।"
Isaiah 21:13
अरब के जंगल में किसे रात बितानी पड़ेगी?
ददानी बटोहियों को अरब के जंगल में रात बितानी पड़ेगी।
Isaiah 21:14-15
ददानी बटोहियों को क्या करने के लिए कहा गया?
उन्हें प्यासे के पास जल लाने के लिए कहा गया।
तेमा देश के रहनेवालों को क्या करने के लिए कहा गया?
उन्हें रोटी लेकर भागनेवालों से मिलने जाने के लिए कहा गया।
Isaiah 21:16
प्रभु ने यशायाह को केदार के विषय में क्या बताया?
प्रभु ने यशायाह से कहा कि एक ही वर्ष में केदार का सारा वैभव मिट जाएगा और केदार के धनुर्धारी शूरवीरों में से थोड़े ही रह जाएंगे।
Isaiah 21:17
प्रभु ने यशायाह को केदार के विषय में क्या बताया?
प्रभु ने यशायाह से कहा कि एक ही वर्ष में केदार का सारा वैभव मिट जाएगा और केदार के धनुर्धारी शूरवीरों में से थोड़े ही रह जाएंगे।
Isaiah 22
Isaiah 22:1
22 अध्याय का विषय क्या है?
यह अध्याय दर्शन की तराई के विषय में है।
सब के सब कहाँ चढ़ गए हैं?
वे सब के सब छतों पर चढ़ गए हैं।
Isaiah 22:2
शहर और नगर में क्या हो रहा है?
वह शहर कोलाहल और नगर ऊधम मची हुई है।
जो मारे गए हैं क्या वो लड़ाई में या तलवार से मारे गए?
नहीं, वे न तो तलवार से मारे गए और न तो लड़ाई में मारे गए।
Isaiah 22:3
उनके शासक को क्या हुआ?
वे सब भाग गए और फिर पकड़े गए और बन्दी बनाए गए।
Isaiah 22:4-5
यशायाह बिलख-बिलख कर क्यों रो रहा था?
वह अपने नगर के सत्यानाश होने के शोक में बिलख-बिलख कर रो रहा था।
Isaiah 22:6
उनके विरुद्ध कौन तरकश बांधे हुए और ढाल खोले हुए है?
एलाम उनके विरुद्ध तरकश बांधे हुए और ढाल खोले हुए है।
Isaiah 22:7
यहूदा की उत्तम-उत्तम तराइयाँ किससे भरी होंगी?
उसकी उत्तम-उत्तम तराईयां रथों से भरी हुई होंगी।
Isaiah 22:8-11
परमेश्वर ने यरूशलेम की सुरक्षा के साथ क्या किया?
उसने यरूशलेम की सुरक्षा ले ली।
Isaiah 22:12
उस समय सेनाओं के यहोवा ने क्या करने के लिए कहा था?
उसने रोने-पीटने, सिर मुड़ाने और टाट पहनने के लिए कहा था।
लोगों ने रोने-पीटने के बजाए क्या किया?
उन्होंने हर्ष और आनन्द मनाया उन्होंने गाय-बैल और भेड़-बकरी का वध किया, मांस खाया और दाखमधु पिया।
Isaiah 22:13
लोगों ने रोने-पीटने के बजाए क्या किया?
उन्होंने हर्ष और आनन्द मनाया उन्होंने गाय-बैल और भेड़-बकरी का वध किया, मांस खाया और दाखमधु पिया।
Isaiah 22:14
क्या प्रभु उनकी इस प्रतिक्रिया के लिए उन्हें माफ़ करेगा?
उनके इस अधर्म को प्रभु उनकी मृत्यु पर भी माफ़ नहीं करेगा।
Isaiah 22:15
शेबना नामक भण्डारी ने अपने लिए क्या किया?
उसने ऊंचे स्थान में चट्टान के बीच अपनी कबर खुदवाई थी।
Isaiah 22:16
शेबना नामक भण्डारी ने अपने लिए क्या किया?
उसने ऊंचे स्थान में चट्टान के बीच अपनी कबर खुदवाई थी।
Isaiah 22:17
यहोवा ने क्या कहा कि वह शेबना को क्या करेगा?
यहोवा ने कहा कि वह उसे उसके स्थान से ढकेल देगा और उसे उसके पद से उतार देगा।
Isaiah 22:18
यहोवा ने क्या कहा कि वह शेबना को क्या करेगा?
यहोवा ने कहा कि वह उसे उसके स्थान से ढकेल देगा और उसे उसके पद से उतार देगा।
Isaiah 22:19
यहोवा ने क्या कहा कि वह शेबना को क्या करेगा?
यहोवा ने कहा कि वह उसे उसके स्थान से ढकेल देगा और उसे उसके पद से उतार देगा।
Isaiah 22:20
शेबना का प्रभुता का स्थान किसे दे दिया जाएगा?
हिल्किय्याह के पुत्र एलयाकीम को शेबना का प्रभुता का स्थान दे दिया जाएगा।
Isaiah 22:21-24
शेबना का प्रभुता का स्थान किसे दे दिया जाएगा?
हिल्किय्याह के पुत्र एलयाकीम को शेबना का प्रभुता का स्थान दे दिया जाएगा।
Isaiah 22:25
उस समय वह खूँटी जो दृढ़ स्थान पर गाढ़ी गई थी उसका क्या होगा?
उस समय वह ढीली हो जाएगी और काटकर गिराई जाएगी और उस पर का बोझ गिर जाएगा।
Isaiah 23
Isaiah 23:1-2
23वें अध्याय में किसके विषय में सन्देश दिया गया था?
23वें अध्याय में सोर के विषय में सन्देश था।
तर्शीश के जहाज़ों को हाय-हाय क्यों करनी चाहिए?
उन्हें हाय-हाय इसलिए करना चाहिए क्योंकि उनका न तो कोई घर या शरण का स्थान है।
Isaiah 23:3-4
सोर शहर क्या था?
वह दूसरी जातियों के लिए व्यापार का स्थान था।
Isaiah 23:5-7
जब मिस्र सोर के विषय में सुनेगा तो क्या करेगा?
जब सोर का समाचार मिस्र में पहुंचेगा तो वे संकट में पड़ेंगे।
Isaiah 23:8
सोर के विरुद्ध ऐसी युक्ति किसने की?
सेनाओं के यहोवा ने सोर के विरुद्ध ऐसी युक्ति की।
Isaiah 23:9-14
सोर के विरुद्ध ऐसी युक्ति किसने की?
सेनाओं के यहोवा ने सोर के विरुद्ध ऐसी युक्ति की।
सेनाओं के यहोवा ने सोर के विरुद्ध ऐसी युक्ति क्यों की?
ऐसी युक्ति की ताकि उसके समस्त गौरव के घमण्ड को तुच्छ कर दे और पृथ्वी के प्रतिष्ठितों का अपमान करवाए।
Isaiah 23:15-16
सोर कब तक बिसरा हुआ रहेगा?
सत्तर वर्ष तक सोर बिसरा हुआ रहेगा।
Isaiah 23:17
सत्तर साल बीतने पर सोर का क्या होगा?
सत्तर वर्ष बीतने पर यहोवा सोर की सुधि लेगा और वह फिर छिनाले की कमाई पर मन लगाकर धरती भर के सब राज्यों के संग छिनाला करेंगी।
Isaiah 23:18
उसके व्यापार की प्राप्ति और कमाई का क्या होगा?
उसके व्यापार की कमाई यहोवा के लिए रखी जाएगी।
सोर की व्यापार की प्राप्ति का क्या होगा?
वह उन्हीं के काम आएगी जो यहोवा के सामने रहा करेंगे कि उनको भरपूर भोजन और चमकीला वस्त्र मिले।
Isaiah 24
Isaiah 24:1-4
यहोवा क्या करने जा रहा है?
वह पृथ्वी को निर्जन और सुनसान करने पर है, वह उसको उलट कर उसके रहनेवालों को तितर-बितर करेगा।
Isaiah 24:5
पृथ्वी अपने रहनेवालों के कारण अशुद्ध कैसे हो गई है?
पृथ्वी अपने रहनेवालों के कारण अशुद्ध की गई, क्योंकि उन्होंने व्यवस्था का उल्लंघन किया और विधि को पलट डाला और सनातन वाचा को तोड़ दिया था।
Isaiah 24:6-12
पृथ्वी के रहनेवालों को क्या होगा?
वे भस्म होंगे और थोड़े ही मनुष्य रह जाएंगे।
Isaiah 24:13
यशायाह उस समय पृथ्वी पर देश-देश के लोगों में कैसा होगा दिखाने के लिए क्या चित्र प्रस्तुत करता है?
उस समय पृथ्वी पर देश-देश के लोगों में ऐसा होगा जैसा कि जैतून झाड़ने के समय या दाख तोड़ने के बाद कोई-कोई फल रह जाते हैं।
Isaiah 24:14-15
इस आपदा के मध्य वे लोग क्या करेंगे?
वे लोग गला खोलकर जयजयकार करेंगे और यहोवा के महात्म्य को देखकर समुद्र से ललकारेंगे।
Isaiah 24:16-20
इस्राएल के परमेश्वर यहोवा का गुणानुवाद और बड़ाई पर यशायाह ने क्या प्रतिक्रिया की?
यशायाह ने कहा, “हाय, हाय! मैं नाश हो गया, नाश! क्योंकि विश्वासघाती विश्वासघात करते, वे बड़ा ही विश्वासघात करते हैं।”
Isaiah 24:21
उस दिन यहोवा किस को दण्ड देगा?
यहोवा आकाश की सेना को आकाश में और पृथ्वी के राजाओं को पृथ्वी पर ही दण्ड देगा।
Isaiah 24:22
आकाश की सेना को आकाश में और पृथ्वी के राजाओं को पृथ्वी पर ही क्या दण्ड मिलेगा?
वे बन्दियों के समान गढ्ढे में इकट्ठे किए जाएंगे और बन्दीगृह में बन्द किए जाएंगे और बहुत दिनों के बाद उन्हें सजा सुनाई जाएगी।
Isaiah 24:23
चन्द्रमा संकुचित और सूर्य लज्जित क्यों होगा?
ऐसा इसलिए होगा क्योंकि सेनाओं का यहोवा सिय्योन पर्वत पर और यरूशलेम में अपनी प्रजा के पुरनियों के सामने प्रताप के साथ राज्य करेगा।
Isaiah 25
Isaiah 25:1
यशायाह ने परमेश्वर को क्यों सराहा और क्यों उसके नाम का धन्यवाद किया?
यशायाह ने परमेश्वर को सराहा और धन्यवाद इसलिए किया क्योंकि परमेश्वर ने आश्चर्यकर्म किए हैं और उसने प्राचीनकाल से पूरी विश्वासयोग्यता के साथ युक्तियाँ की हैं।
Isaiah 25:2
यहोवा ने कौन से आश्चर्यकर्म किए हैं?
उसने नगर को ढेर बना डाला और गढ़वाले नगर को खंडहर और परदेशियों के नगर को ऐसा उजाड़ा कि वह फिर कभी न बसाया जा सके।
Isaiah 25:3-5
यहोवा के नगर को ढेर बना डालने के पश्चात् क्या प्रतिक्रिया होगी?
बलवन्त राज्य के लोग यहोवा की महिमा करेंगे और भयंकर जाति के लोगों में उसका भय मान लिया जाएगा।
Isaiah 25:6
यहोवा उस पर्वत पर सब देशों के लोगों के लिए क्या करेगा?
वह उनके लिए उत्तम भोज तैयार करेगा और वह सब देशों के लोगों पर जो पर्दा और घूँघट पड़ा है उसे नष्ट कर देगा।
Isaiah 25:7
यहोवा उस पर्वत पर सब देशों के लोगों के लिए क्या करेगा?
वह उनके लिए उत्तम भोज तैयार करेगा और वह सब देशों के लोगों पर जो पर्दा और घूँघट पड़ा है उसे नष्ट कर देगा।
Isaiah 25:8
वह किस को सदा के लिए नाश करेगा और क्या पोंछ डालेगा और किसको अपने लोगों से दूर करेगा?
वह मृत्यु को सदा के लिए नाश करेगा, सभों के मुख पर से आंसू पोंछ डालेगा और अपनी प्रजा की नामधराई सारी पृथ्वी से दूर करेगा।
Isaiah 25:9
उस समय क्या कहा जाएगा?
उस समय यह कहा जाएगा: "देखो, हमारा परमेश्वर यही है, हम इसी की बाट जोहते आए हैं कि वह हमारा उद्धार करे। यहोवा यही है; हम उसकी बाट जोहते आए हैं* हम उससे उद्धार पाकर मगन और आनन्दित होंगे।"
Isaiah 25:10-12
मोआब का भाग्य कैसा होगा?
मोआब का भाग्य जैसे घूरे में पुआल लताड़ा जाता है वैसा होगा।
Isaiah 26
Isaiah 26:1
उस दिन गाना कहाँ गाया जाएगा?
उस दिन यहूदा देश में यह गाना गाया जाएगा।
परमेश्वर ने नगर को दृढ़ कैसे बनाया है?
उसने उसकी शहरपनाह और गढ़ को उद्धार का काम देने के लिए नियुक्त किया है।
Isaiah 26:2-3
किसके लिए नगर के फाटक खोले जाएंगे?
सच्चाई का पालन करने वाले धर्मियों के लिए नगर के फाटक खोले जाएंगे।
Isaiah 26:4
हमें किस पर भरोसा रखना चाहिए और कब तक?
हमे यहोवा पर सदा भरोसा रखना चाहिए।
Isaiah 26:5
गढ़वाले नगर में रहने वाले ऊंचे पदवाले लोगों का क्या होगा?
यहोवा ऊँचे पदवालों को झुका देता है और जो नगर ऊँचे पर बसा है उसे मिट्टी में मिला देता है। वह पाँवों से वरन दरिद्रों के पाँवों से रौंदा जाएगा।
Isaiah 26:6-7
गढ़वाले नगर में रहने वाले ऊंचे पदवाले लोगों का क्या होगा?
यहोवा ऊँचे पदवालों को झुका देता है और जो नगर ऊँचे पर बसा है उसे मिट्टी में मिला देता है। वह पाँवों से वरन दरिद्रों के पाँवों से रौंदा जाएगा।
Isaiah 26:8
हमारे प्राणों की लालसा क्या है?
यहोवा के नाम के स्मरण की हमारे प्राणों में लालसा बनी रहती है।
Isaiah 26:9
जब न्याय के काम पृथ्वी पर प्रगट होते हैं तो क्या होता है?
जब न्याय के काम पृथ्वी पर प्रगट होते हैं तब जगत के रहनेवाले धार्मिकता को सीखते हैं।
Isaiah 26:10-11
दुष्ट पर दया करने पर भी वह क्या नहीं सीखेगा?
वह धार्मिकता को न सीखेगा।
Isaiah 26:12
यहोवा ने यहूदा के लिए क्या किया है और वह उसके लिए क्या लाएगा?
उन्होंने जो कुछ किया है उसे यहोवा ने ही उनके लिए किया है और वह ही उनके लिए शान्ति ठहराएगा।
Isaiah 26:13
यहूदा पर प्रभुता करने वाले अन्य स्वामियों का क्या हुआ?
वे मर गए हैं फिर कभी जीवित नहीं होंगे; वे मर चुके हैं और नहीं उठेंगे। यहोवा न्याय करने आया और उन्हें नष्ट कर दिया।
Isaiah 26:14-15
यहूदा पर प्रभुता करने वाले अन्य स्वामियों का क्या हुआ?
वे मर गए हैं फिर कभी जीवित नहीं होंगे; वे मर चुके हैं और नहीं उठेंगे। यहोवा न्याय करने आया और उन्हें नष्ट कर दिया।
Isaiah 26:16-18
यहूदा ने कब यहोवा का स्मरण किया?
उन्होंने दुःख में यहोवा का स्मरण किया; जब यहोवा उन्हें ताड़ना देता था।
Isaiah 26:19
मिट्टी में बसनेवालों को जागकर जयजयकार क्यों करनी चाहिए?
उन्हें जागकर जयजयकार इसलिए करना चाहिए क्योंकि मरे हुए लोग जीवित होंगे, मुर्दे उठ खड़े होंगे।
Isaiah 26:20
लोगों को अपनी कोठड़ी में जाकर क्यों किवाड़ों को बंद कर लेना चाहिए?
वे ऐसा इसलिए करें ताकि जब तक क्रोध शान्त न हो तब तक वे अपने को छिपा कर रखें।
Isaiah 26:21
यहोवा क्या करने जा रहा है?
यहोवा पृथ्वी के निवासियों को अधर्म का दण्ड देने के लिए चला आ रहा है।
Isaiah 27
Isaiah 27:1
उस समय यहोवा अपनी तलवार से क्या करेगा?
उस समय यहोवा लिव्यातान नामक सर्प को दण्ड देगा और जो अजगर समुन्द्र में रहता है उसको भी घात करेगा।
Isaiah 27:2
उस समय यहोवा दाख की बारी के साथ क्या करेगा?
वह उसकी रक्षा करेगा और क्षण-क्षण उसको सींचता रहेगा और रात-दिन उसकी रक्षा करेगा।
Isaiah 27:3
उस समय यहोवा दाख की बारी के साथ क्या करेगा?
वह उसकी रक्षा करेगा और क्षण-क्षण उसको सींचता रहेगा और रात-दिन उसकी रक्षा करेगा।
Isaiah 27:4
यदि भांति-भांति के कटीले पेड़ उससे लड़ने को खड़े हों और उसके साथ मेल करने और उसकी शरण न लें तो यहोवा क्या करेगा?
तो यहोवा उन पर पाँव बढ़ाकर उन्हें पूरी रीति से भस्म कर देगा।
Isaiah 27:5
यदि भांति-भांति के कटीले पेड़ उससे लड़ने को खड़े हों और उसके साथ मेल करने और उसकी शरण न लें तो यहोवा क्या करेगा?
तो यहोवा उन पर पाँव बढ़ाकर उन्हें पूरी रीति से भस्म कर देगा।
Isaiah 27:6-8
याकूब और इस्राएल भविष्य में क्या करेंगे?
भविष्य में याकूब जड़ पकड़ेगा और इस्राएल फलेगा-फूलेगा और उसके फलों से जगत भर जाएगा।
Isaiah 27:9-10
याकूब के पाप के दूर होने का क्या प्रतिफल होगा?
वह वेदी के सब पत्थरों को चूना बनाने के पत्थरों के समान चकनाचूर कर देगा और अशेरा और सूर्य की प्रतिमाएं फिर खड़ी न होंगी।
Isaiah 27:11
उनका कर्त्ता और रचनेवाला उन पर दया क्यों नही करेगा?
क्योंकि ये लोग निर्बुद्धि हैं; इसलिए उनका कर्ता उन पर दया न करेगा।
Isaiah 27:12
उस समय इस्राएल के लोग किस प्रकार इकट्ठे किए जाएंगे?
वे एक-एक करके इकट्ठे किए जाएंगे।
Isaiah 27:13
यरूशलेम में पवित्र पर्वत पर आकर कौन यहोवा को दण्डवत् करेंगे?
जो अश्शूर देश में नष्ट हो रहे थे और जो मिस्र देश में बरबस बसाए हुए थे वे यरूशलेम में पवित्र पर्वत पर आकर यहोवा को दण्डवत् करेंगे।
Isaiah 28
Isaiah 28:1
एप्रैम की विशेषता किस से है?
एप्रैम को घमण्डी और मतवाले के रूप में जाना जाता है।
एप्रैम की सुन्दरता को क्या हो रहा है?
एप्रैम की सुन्दरता मुरझा रही है।
Isaiah 28:2-3
प्रभु के बलवन्त और सामर्थी की तुलना किससे की गई है?
उसकी तुलना ओले की वर्षा, उजाड़ने वाली आंधी या बाढ़ की प्रचंड धार से की गई है।
प्रभु का बलवन्त और सामर्थी क्या करेगा?
वह उनको कठोरता से भूमि पर गिरा देगा।
Isaiah 28:4
एप्रैम की भड़कीली सुन्दरता का मुर्झानेवाला फूल किसके समान होगा?
वह ग्रीष्मकाल के पहले पके अंजीर के समान होगा जिसे देखनेवाला देखते ही उसे अपने हाथ में ले और निगल जाए।
Isaiah 28:5
उस दिन यहोवा अपनी प्रजा के बचे हुए लोगों के लिए क्या ठहरेगा?
वह उनके लिए सुन्दर और प्रतापी मुकुट ठहरेगा, न्याय करने बैठने वालों के लिए न्याय करनेवाली आत्मा और जो चड़ाई करते हुए शत्रुओं को नगर के फाटक से हटा देते हैं उनके लिए वह बल ठहरेगा।
Isaiah 28:6
उस दिन यहोवा अपनी प्रजा के बचे हुए लोगों के लिए क्या ठहरेगा?
वह उनके लिए सुन्दर और प्रतापी मुकुट ठहरेगा, न्याय करने बैठने वालों के लिए न्याय करनेवाली आत्मा और जो चड़ाई करते हुए शत्रुओं को नगर के फाटक से हटा देते हैं उनके लिए वह बल ठहरेगा।
Isaiah 28:7-10
दाखमधु और मदिरा के कारण कौन डगमगाते और लड़खड़ाते हैं?
बचे हुए लोग, याजक और नबी मदिरा और दाखमधु के कारण डगमगाते और लड़खड़ाते हैं।
याजक और नबी किसमें डगमगा और लड़खड़ा जाते हैं?
वे दर्शन पाते हुए भी भटक जाते और न्याय में भूल करते हैं।
Isaiah 28:11
यहोवा अपनी प्रजा से कैसे बातें करेगा?
वह अपने लोगों से परदेशी होठों और विदेशी भाषावालों के द्वारा बातें करेगा।
Isaiah 28:12
पहले क्या हुआ था जब यहोवा ने उनसे बात की?
उन्होंने सुनना न चाहा।
Isaiah 28:13-14
अब ये लोग जब यहोवा का वचन सुनेंगे तो क्या परिणाम होगा?
वे ठोकर खाकर चित्त गिरेंगे और घायल हो जाएंगे और फंदे में फंसकर पकड़े जाएंगे।
Isaiah 28:15
यरूशलेम के लोगों के हाकिमों ने क्या कहा?
उन्होंने कहा कि उन्होंने मृत्यु से वाचा बांधी है और अधोलोक से प्रतिज्ञा कराई है कि जब विपत्ति आए तो इनके पास न आएगी। क्योंकि उन्होंने झूठ की शरण ली और मिथ्या की आड़ में छिपे हुए हैं।
Isaiah 28:16
प्रभु यहोवा सिय्योन में क्या रखेगा?
वह सिय्योन में एक नींव का पत्थर रखेगा, एक परखा हुआ पत्थर, कोने का अनमोल और अति दृढ़ नींव योग्य पत्थर।
जो कोई नींव के योग्य पत्थर पर विश्वास करे तो क्या होगा?
जो कोई विश्वास रखे वह उतावली न करेगा
Isaiah 28:17
झूठ के शरणस्थान और छिपने के स्थान का क्या होगा?
झूठ का शरणस्थान ओलों से बह जाएगा और उनके छिपने का स्थान जल से डूब जाएगा।
Isaiah 28:18-21
यरूशलेम के लोगों ने मृत्यु से जो वाचा बांधी है और जो प्रतिज्ञा अधोलोक से कराई है उसका क्या होगा?
वह वाचा और प्रतिज्ञा टूट जाएगी और विपत्ति बाढ़ के समान बढ़ जाएगी।
Isaiah 28:22-29
यशायाह क्या बताता है कि ठट्ठा करने वालों का क्या परिणाम होगा?
उसने उन्हें चेतावनी दी कि वे ठट्ठा न करे अथवा उनके बन्धन कसे जाएंगे।
Isaiah 29
Isaiah 29:1-2
अरीएल क्या है?
अरीएल वह नगर है जिसमें दाऊद छावनी किए हुए रहा।
Isaiah 29:3
यहोवा अरीएल को क्या करेगा?
वह अरीएल को संकट में डालेगा और गिराकर भूमि पर डाला जाएगा।
Isaiah 29:4
यहोवा अरीएल को क्या करेगा?
वह अरीएल को संकट में डालेगा और गिराकर भूमि पर डाला जाएगा।
Isaiah 29:5-6
अरीएल को भूमि पर डाले जाने में कितना समय लगेगा?
ऐसा अचानक होगा।
Isaiah 29:7-9
अरीएल और उसके गढ़ के विरुद्ध कौन लड़ेगा?
जातियों की सारी भीड़ अरीएल से युद्ध करेगी।
Isaiah 29:10-12
यहोवा ने अरीएल पर क्या डाल दिया है?
उसने उन्हें भारी नींद में डाल दिया है।
उन्हें भारी नींद में डालना क्या करेगा?
यह उनकी नबीरुपी आँखों को बन्द कर देगा और उनके दर्शीरुपी सिरों पर पर्दा डालेगा।
Isaiah 29:13
प्रभु की इन लोगों के विरुद्ध क्या शिकायत है?
प्रभु ने कहा,"ये लोग मुंह से मेरा आदर करते हुए समीप आते परन्तु अपना मन मुझ से दूर रखते हैं और केवल मनुष्यों की आज्ञा सुन-सुनकर मेरा भय मानते हैं।"
Isaiah 29:14-16
क्योंकि उनका मन प्रभु से दूर है और उसका आदर नहीं करते, प्रभु उनके साथ क्या करेगा?
वह उनके बुद्धिमानों की बुद्धि नष्ट करेगा और प्रवीणों की प्रवीणता जाती रहेगी।
Isaiah 29:17
थोड़े दिनों के बीतने पर लबानोन को क्या होगा?
लबानोन फलदायी बारी बन जाएगा और फलदायी बारी जंगल बन जाएगा।
Isaiah 29:18
उस समय बहरे और अन्धे क्या करेंगे?
उस समय बहरे पुस्तक की बातें सुनने लगेंगे और अंधे जिन्हें कुछ नहीं सूझता, वे देखने लगेंगे।
Isaiah 29:19
नम्र और दरिद्र लोग क्या करेंगे?
नम्र लोग यहोवा के कारण आनन्दित होंगे और दरिद्र लोग इस्राएल के पवित्र के कारण मगन होंगे।
Isaiah 29:20-22
जो लोग अनर्थ करने से प्रेम करते हैं उन्हें क्या होगा?
वे सब मिट जाएंगे।
Isaiah 29:23
याकूब का घराना कब यहोवा के नाम को पवित्र ठहराएगा?
जब उसके सन्तान यहोवा का काम देखेंगे तब वे उसके नाम को पवित्र ठहराएंगे।
Isaiah 29:24
उस समय जिनका मन भटका हो और जो कुढ़कुढ़ाते हैं उनका क्या होगा?
जिनका मन भटका हो वे बुद्धि प्राप्त करेंगे और जो कुढ़कुढ़ाते हैं वे शिक्षा ग्रहण करेंगे।
Isaiah 30
Isaiah 30:1
यहोवा ने क्या कहा बलवा करने वाले लड़के क्या करते हैं?
वे युक्ति करते हैं परन्तु यहोवा की ओर से नहीं और वाचा तो बांधते हैं परन्तु आत्मा के सिखाए नहीं, इस प्रकार पाप पर पाप बढ़ते हैं।
Isaiah 30:2
बलवा करने वाले किसकी शरण में जाते हैं?
वे फ़िरौन की रक्षा में रहने और मिस्र की छाया में शरण के लिए मिस्र जाते हैं।
Isaiah 30:3-6
फ़िरौन की रक्षा और मिस्र की छाया में शरण, बलवा करने वाले लड़कों के लिए क्या सिद्ध होगी?
फ़िरौन का शरणस्थान उनकी लज्जा का और मिस्र की छाया में शरण लेना उनकी निन्दा का कारण होगा।
Isaiah 30:7
बलवा करने वाले लड़कों के लिए मिस्र की सहायता कितनी सहायक होगी?
मिस्र की सहायता व्यर्थ और निकम्मी होगी।
Isaiah 30:8
यहोवा क्यों चाहता है कि यशायाह इसको उनके सामने पत्थर पर खोदे और पुस्तक में लिखे?
यहोवा चाहता है कि वह भविष्य के लिये वरन् सदा के लिए साक्षी बनी रहे।
Isaiah 30:9
बलवा करने वाले क्या नहीं सुनते?
वे यहोवा की शिक्षा नहीं सुनेगे।
Isaiah 30:10-14
बलवा करने वाले लड़के क्या सुनना चाहते हैं?
वे चिकनी-चुपड़ी बातें और धोखा देने वाली नबूवत सुनना चाहते हैं।
Isaiah 30:15
यहोवा क्या कहता है कि किस प्रकार बलवा करने वाले लड़कों का किसमें उद्धार और वीरता है?
यहोवा कहता है कि लौट आने और शान्त रहने और भरोसा रखने में उनकी वीरता और उद्धार है।
Isaiah 30:16
यहोवा को बलवा करने वाले लड़कों ने क्या उत्तर दिया?
उन्होंने कहा,"नहीं, हम तो घोड़ों पर चढ़कर भागेंगे*" और "हम तेज़ सवारी पर चलेंगे।"
बलवा करने वाले लड़कों के घोड़ों पर भागने और तेज घोड़ों पर सवार होने की बात सुनकर यहोवा ने क्या प्रतिक्रिया की?
यहोवा ने कहा कि यदि बलवा करने वाले लड़के भागेंगे तो उनका पीछा करने वाले उससे भी तेज़ होंगे।
Isaiah 30:17
यहोवा ने क्या कहा कि एक ही की धमकी से कितने भागेंगे?
यहोवा ने कहा कि एक ही की धमकी से एक हज़ार भागेंगे।
Isaiah 30:18-19
यहोवा किस लिए विलम्ब कर रहा है?
वह इसलिए विलम्ब करता है कि उन पर अनुग्रह करे और इसलिए ऊँचा उठेगा कि उन पर दया करे।
जो लोग यहोवा पर आशा लगाए रहते हैं उनका क्या होगा?
वे धन्य होंगे।
Isaiah 30:20-21
चाहे यहोवा उन्हें विपत्ति की रोटी और दुःख का जल भी दे तोभी उनके उपदेशक फिर क्या न करेंगे?
उनके उपदेशक फिर नहीं छिपेंगे बल्कि वे अपनी आँखों से अपने उपदेशकों को देखते रहेंगे।
Isaiah 30:22-25
बलवा करने वाले लड़के अपनी खुदी हुई मूरतों और सोने की ढली हुई मूरतों से क्या करेंगे?
वे उन्हें अशुद्ध करेंगे और फेंक देंगे।
Isaiah 30:26-29
उस महासंहार के समय जब गुम्मट गिर पड़ेंगे यहोवा अपनी प्रजा के साथ क्या करेगा?
उस समय यहोवा अपनी प्रजा के घाव बांधेगा और उनकी चोट को चंगा करेगा।
Isaiah 30:30
यहोवा अपनी प्रतापीवाणी किस प्रकार सुनाएगा और अपना भुजबल किस प्रकार दिखाएगा?
वह उन्हें अपना क्रोध भड़का कर, आग की लौ से भस्म करता हुआ और प्रचण्ड आंधी और अति वर्षा और ओलों के साथ दिखाएगा।
Isaiah 30:31
यहोवा की प्रतापीवाणी और भुजबल किसके विरुद्ध उठेंगे?
वे अश्शूर के विरुद्ध उठेंगे। अश्शूर यहोवा के शब्द की शक्ति से नष्ट हो जाएगा और वह उसे सोटे से मारेगा।
Isaiah 30:32
यहोवा के सोटे के प्रत्येक वार के साथ -साथ क्या होगा?
तब तब साथ ही डफ और वीणा बजेंगी जब जब यहोवा अश्शूर को दण्ड देगा।
Isaiah 30:33
अश्शूर के राजा के लिए क्या तैयार किया गया है?
अश्शूर के राजा के लिए जलने की स्थान(तोपेत) तैयार किया गया है?
जलने की स्थान(तोपेत) को क्या अथवा कौन सुलगाएगा?
यहोवा की सांस उसको सुलगाएगी।
Isaiah 31
Isaiah 31:1
जो सहायता पाने के लिए मिस्र को जाते हैं उन पर हाय क्यों है?
उन पर हाय इसलिए है क्योंकि वे रथों और सवारों पर भरोसा करते हैं पर इस्राएल के पवित्र की ओर दृष्टि नहीं करते और न ही यहोवा की खोज करते हैं।
Isaiah 31:2
यहोवा किसके विरुद्ध उठेगा?
वह कुकर्मियों के घराने पर और अनर्थकारियों के सहायकों पर भी चढ़ाई करेगा।
Isaiah 31:3-4
सहायता करनेवाले और सहायता चाहनेवाले को क्या होगा?
दोनों एक संग नष्ट हो जाएंगे।
Isaiah 31:5
यहोवा यरूशलेम के लिए क्या करेगा?
वह यरूशलेम की रक्षा करेगा, उसे बचाएगा और उसका उद्धार करेगा।
Isaiah 31:6-7
यशायाह इस्राएल के लोगों को क्या करने के लिए कहता है?
वह कहता है कि इस्राएली यहोवा की ओर फिरें जिसके विरुद्ध उन्होंने भारी बलवा किया है।
Isaiah 31:8-9
जब अश्शूर तलवार से गिराया जाएगा तो उसके जवान क्या करने के लिए मजबूर किए जाएंगे?
अश्शूर के जवानों को कड़ी मेहनत करने के लिए मजबूर किया जाएगा।
Isaiah 32
Isaiah 32:2-3
धर्मी राजा और न्यायप्रिय राजकुमार कैसे होंगे?
वे मानो आँधी से छिपने का स्थान और बौछार से आड़ होंगे, या निर्जल देश में जल के झरने व तप्त भूमि में बड़ी चट्टान की छाया।
Isaiah 32:4-5
जब राजा धर्म से राज्य करेगा और राजकुमार न्याय से हुकूमत करेगा तो उतावले और तुतलाने वाले क्या करेंगे?
उतावलों के मन ज्ञान की बातें समझेंगे और तुतलाने वालों की जीभ फुर्ती से और साफ़ बोलेगी* मूढ़ फिर उदार न कहलाएगा और न कंजूस दानी कहा जाएगा।
Isaiah 32:6
मूढ़ क्या करता है?
मूढ़ तो मूढ़ता की ही बातें बोलता है और मन में अनर्थ ही गढ़ता रहता है कि वह अधर्म के काम करे और यहोवा के विरुद्ध झूठ कहे।
Isaiah 32:7
छली क्या करता है?
छली की चालें बुरी होती हैं। वह दुष्ट युक्तियाँ निकालता है कि दरिद्र को अपनी झूठी बातों में लूटे।
Isaiah 32:8
उदार मनुष्य को क्या होगा?
उदार मनुष्य अपनी उदारता में स्थिर रहेगा।
Isaiah 32:9
सुखी स्त्रियों से क्यों कहा गया था कि वह यशायाह की वचनों को सुने?
उन्हें यशायाह की वचनों को सुनने को कहा गया क्योंकि वर्ष भर से कुछ ही अधिक समय में वह विकल हो जाएंगी; तोड़ने को दाखें न होंगी और न किसी भाँति के फल हाथ लगेंगे।
Isaiah 32:10-13
सुखी स्त्रियों से क्यों कहा गया था कि वह यशायाह की वचनों को सुने?
उन्हें यशायाह की वचनों को सुनने को कहा गया क्योंकि वर्ष भर से कुछ ही अधिक समय में वह विकल हो जाएंगी; तोड़ने को दाखें न होंगी और न किसी भाँति के फल हाथ लगेंगे।
Isaiah 32:14
राजभवन और कोलाहल से भरा नगर का क्या होगा?
राजभवन त्यागा जाएगा, कोलाहल से भरा नगर सुनसान हो जाएगा।
Isaiah 32:15-16
विनाश कब तक रहेंगा?
जब तक आत्मा ऊपर से उंडेला न जाए और जंगल फलदायक बारी न बने और फलदायक बारी फिर वन न गिनी जाए।
Isaiah 32:17-19
धर्म का फल और परिणाम क्या होगा?
धर्म का फल शान्ति और उसका परिणाम सदा का चैन और निश्चिन्त रहना होगा।
Isaiah 32:20
कौन धन्य होगा?
धन्य हैं वे जो सब जलाशयों के पास बीज बोते और बैलों और गधों को स्वतंत्रता से चराते हैं।
Isaiah 33
Isaiah 33:1-2
जब नाश करने वाला और विश्वासघात करने वाला नाश करना और विश्वासघात करना बंद कर चुकेंगे तो उन्हें क्या होगा?
नाश करने वाले का नाश किया जाएगा और विश्वासघात करने वाले के साथ विश्वासघात किया जाएगा।
Isaiah 33:3-4
यहोवा के उठने पर क्या हुआ?
यहोवा के उठने पर अन्यजातियाँ तितर-बितर हो गईं।
Isaiah 33:5
यहोवा सिय्योन को किस से परिपूर्ण कर देगा?
यहोवा सिय्योन को न्याय और धर्म से परिपूर्ण कर देगा।
Isaiah 33:6-7
उनके दिनों में यहोवा क्या होगा?
उद्धार, बुद्धि, ज्ञान की बहुतायत उनके दिनों का आधार होंगी और यहोवा का भय उनका धन होगा।
Isaiah 33:8-9
उनके शूरवीर क्यों चिल्ला रहे हैं और उनके संधि के दूत क्यों बिलख-बिलख कर रो रहे हैं?
वे चिल्लाए और रोये क्योंकि राजमार्ग सुनसान पड़े हैं, यात्री अब उन पर नहीं चलते। वाचा टाल दी गई, नगरों को कुछ न जाना और मनुष्य को कुछ न समझा गया।
Isaiah 33:10
यहोवा के उठने का क्या परिणाम होगा?
वह अपना प्रताप दिखाएगा और महान ठहरेगा।
Isaiah 33:11
सिय्योन में उनका क्या होगा जिन में सूखी घास का गर्भ ठहरेगा और भूसी उत्पन्न होगी?
लोग फूँके हुए चूने के सामान हो जाएँगे, और कटे हुए कँटीली झाड़ियों के समान आग में जलाए जाएँगे।
Isaiah 33:12-13
सिय्योन में उनका क्या होगा जिन में सूखी घास का गर्भ ठहरेगा और भूसी उत्पन्न होगी?
लोग फूँके हुए चूने के सामान हो जाएँगे, और कटे हुए कँटीली झाड़ियों के समान आग में जलाए जाएँगे।
Isaiah 33:14
सिय्योन के पापियों की क्या प्रतिक्रिया है?
सिय्योन के पापी थरथरा गए हैं; भक्तिहीनों को कँपकँपी लगी है।
Isaiah 33:15
सिय्योन के लोगों में से कौन उस आग में बना रह सकता है जो कभी न बुझेगी?
जो धर्म से चलता और सीधी बातें बोलता, जो अन्धेर के लाभ से घृणा करता, जो घूस नहीं लेता, जो खून की बातें सुनने से कान बन्द करता और बुराई देखने में आँखें मूँद लेता है।
धार्मिकता से चलनेवाला और सीधी बातें बोलनेवाला कहाँ अपना निवास स्थान बनाएगा?
जो धार्मिकता से चलता और सीधी बातें बोलता है, वह ऊँचे स्थानों में निवास करेगा।
Isaiah 33:16-21
धार्मिकता से चलनेवाला और सीधी बातें बोलनेवाला कहाँ अपना निवास स्थान बनाएगा?
जो धार्मिकता से चलता और सीधी बातें बोलता है, वह ऊँचे स्थानों में निवास करेगा।
Isaiah 33:22
यहोवा कौन है और वह क्या करेगा?
यहोवा हमारा न्यायी, हमारा हाकिम, हमारा राजा है वही हमारा उद्धार करेगा।
Isaiah 33:23-24
जब बड़ी लूट बांटी गई तब इसे बांटने वालों में कौन भागी होंगे?
तब लंगड़े भी लूट के भागी हुए।
Isaiah 34
Isaiah 34:1
किसे सुनने के लिए निकट आना चाहिए और ध्यान से सुनना चाहिए?
राज्य-राज्य के लोग, पृथ्वी भी और जो कुछ उसमें है , जगत और जो कुछ उसमें उत्पन्न होता है सभी को निकट आकर ध्यान से सुनना चाहिए।
Isaiah 34:2-3
राज्य-राज्य के लोग, पृथ्वी भी और जो कुछ उसमें है , जगत और जो कुछ उसमें उत्पन्न होता है सभी को निकट आकर ध्यान से क्यों सुनना चाहिए?
वह ऐसा इसलिए करें क्योंकि यहोवा सब जातियों पर क्रोधित हुआ है और उनकी सारी सेना पर उसकी जलजलाहट भड़की हुई है।
यहोवा ने सब जातियों और उनकी सारी सेना को क्या किया है?
उसने उनको पूरी तरह से सत्यानाश किया। उसने उनका संहार होने के लिए उन्हें छोड़ दिया है।
Isaiah 34:4
आकाश और उसके गणों को क्या होगा?
आकाश के सारे गण जाते रहेंगे और आकाश कागज़ के समान लपेटा जाएगा ; सारे गण धुंधले होकर जाते रहेंगे।
Isaiah 34:5
यहोवा की तलवार के आकाश में पीकर तृप्त होने के बाद वह क्या करेगा?
तब वह न्याय करने को एदोम पर और जिन पर यहोवा का श्राप है उन पर पड़ेगी।
Isaiah 34:6-8
बोस्रा और एदोम में यहोवा का क्या है?
बोस्रा नगर में यहोवा का एक यज्ञ और एदोम देश में बड़ा संहार हुआ है।
Isaiah 34:9
एदोम की भूमि को क्या होगा?
एदोम की नदियाँ राल में और उसकी मिट्टी गन्धक में बदल जाएगी। उसकी भूमि जलती हुई राल बन जाएगी। वह युग-युग तक उजाड़ पड़ा रहेगा और कोई उसमें से होकर कभी न चलेगा।
Isaiah 34:10
एदोम की भूमि को क्या होगा?
एदोम की नदियाँ राल में और उसकी मिट्टी गन्धक में बदल जाएगी। उसकी भूमि जलती हुई राल बन जाएगी। वह युग-युग तक उजाड़ पड़ा रहेगा और कोई उसमें से होकर कभी न चलेगा।
Isaiah 34:11-16
सामान्य रूप में, एदोम में किसका बसेरा होगा?
एदोम में धनेश पक्षी और साही का बसेरा होगा।
Isaiah 34:17
पक्षी और जन्तुओं का एदोम में कब तक वास रहेगा?
वह सर्वदा उन्हीं का बना रहेगा और वे पीढ़ी से पीढ़ी तक उसमें बसे रहेंगे।
Isaiah 35
Isaiah 35:1
मरूभूमि का क्या होगा?
वह मगन होकर केसर के समान फूलेगी।
Isaiah 35:2-3
मरुभूमि को क्या दिया जाएगा?
उसकी शोभा लबानोन की सी होगी और वह कर्मेल और शारोन के तुल्य तेजोमय हो जाएगी।
जंगल और निर्जल देश और मरूभूमि क्या देखेंगे?
वे यहोवा की शोभा और हमारे परमेश्वर का तेज देखेंगे।
Isaiah 35:4
घबराने वालों को हियाव क्यों बांधना चाहिए और क्यों डरना नहीं चाहिए?
क्योंकि उनका परमेश्वर बदला लेने और प्रतिफल देने को आ रहा है। वह आकर उनका उद्धार करेगा।
Isaiah 35:5
जब उनका परमेश्वर आएगा तो क्या-क्या होगा?
तब अन्धों की आँखें खोली जाएंगी। बहरो के कान भी खोले जाएंगे। लंगड़े चौकड़ियाँ भरेंगे। गूंगे जयजयकार करेंगे। जंगल में जल के सोते फूट निकलेंगे और मरुभूमि में नदियाँ बहने लगेंगी। मृगतृष्णा ताल बन जाएगी और सूखी भूमि में से सोते फूटेंगे। जिस स्थान में सियार बैठा करते हैं उसमें घास, नरकट और सरकंडे होंगे।
Isaiah 35:6
जब उनका परमेश्वर आएगा तो क्या-क्या होगा?
तब अन्धों की आँखें खोली जाएंगी। बहरो के कान भी खोले जाएंगे। लंगड़े चौकड़ियाँ भरेंगे। गूंगे जयजयकार करेंगे। जंगल में जल के सोते फूट निकलेंगे और मरुभूमि में नदियाँ बहने लगेंगी। मृगतृष्णा ताल बन जाएगी और सूखी भूमि में से सोते फूटेंगे। जिस स्थान में सियार बैठा करते हैं उसमें घास, नरकट और सरकंडे होंगे।
Isaiah 35:7
जब उनका परमेश्वर आएगा तो क्या-क्या होगा?
तब अन्धों की आँखें खोली जाएंगी। बहरो के कान भी खोले जाएंगे। लंगड़े चौकड़ियाँ भरेंगे। गूंगे जयजयकार करेंगे। जंगल में जल के सोते फूट निकलेंगे और मरुभूमि में नदियाँ बहने लगेंगी। मृगतृष्णा ताल बन जाएगी और सूखी भूमि में से सोते फूटेंगे। जिस स्थान में सियार बैठा करते हैं उसमें घास, नरकट और सरकंडे होंगे।
Isaiah 35:8
उस समय राजमार्ग का क्या नाम होगा?
उस राजमार्ग का नाम पवित्र मार्ग होगा।
राजमार्ग पर कौन चलने पाएगा और कौन नहीं?
कोई अशुद्ध जन उसपर चलने न पाएगा और मूर्ख उस पर नहीं भटकेंगे। कोई सिंह या हिंसक जन्तु उस पर चलने न पाएगा। उस राजमार्ग पर पवित्रता से चलने वाले चलेंगे। छुड़ाए हुए उस पर चलेंगे।
Isaiah 35:9
राजमार्ग पर कौन चलने पाएगा और कौन नहीं?
कोई अशुद्ध जन उसपर चलने न पाएगा और मूर्ख उस पर नहीं भटकेंगे। कोई सिंह या हिंसक जन्तु उस पर चलने न पाएगा। उस राजमार्ग पर पवित्रता से चलने वाले चलेंगे। छुड़ाए हुए उस पर चलेंगे।
Isaiah 35:10
यहोवा के छुड़ाए हुओं को लौटकर आने के बाद क्या होगा?
उनके सिर पर सदा का आनन्द होगा, वे हर्ष और आनन्द पाएंगे और शोक और लम्बी सांस का लेना जाता रहेगा।
Isaiah 36
Isaiah 36:1
हिजकिय्याह राजा के चौदहवें वर्ष में क्या हुआ?
अश्शूर के राजा सन्हेरीब ने यहूदा के सब गढ़वाले नगरों पर चढ़ाई करके उनको ले लिया।
Isaiah 36:2
अश्शूर के राजा ने लाकीश से राजा हिजकिय्याह के पास यरूशलेम में किसे भेजा?
अश्शूर के राजा ने रबशाके को भेजा।
रबशाके कहाँ रुका?
वह उत्तरी जलकुण्ड की नाली के पास धोबियों के खेत की सड़क पर जाकर खड़ा हुआ।
Isaiah 36:3-5
रबशाके को मिलने कौन गया?
हिल्किय्याह का पुत्र एलयाकीम, शेब्ना जो मंत्री था और आसाप का पुत्र योआह जो इतिहास का लेखक था, ये तीनों उससे मिलने को बाहर निकल गए।
Isaiah 36:6-7
रबशाके क्या कहता है कि मिस्र का राजा, फ़िरौन उस पर भरोसा करनेवाले के लिए किस के समान है?
रबशाके ने कहा कि फ़िरौन उस कुचले हुए नरकट के समान है जिस पर यदि कोई टेक लगाए तो वह उसके हाथ में चुभकर छेद कर देगा।
Isaiah 36:8-9
रबशाके ने क्या कहा यदि हिजकिय्याह अश्शूर के राजा के साथ वाचा बांध लेता है तो अश्शूर का राजा क्या करेगा?
उसने कहा कि यदि हिजकिय्याह अश्शूर के राजा के साथ वाचा बांध ले तो वह उसे दो हज़ार घोड़े देगा।
Isaiah 36:10
रबशाके ने क्या बताया कि किसने उसे यहूदा पर चढ़ाई करके उजाड़ने के लिए कहा है?
रबशाके के कहा कि यहोवा ने उससे कहा है कि रबशाके पर चढ़ाई करके उसे उजाड़ दे।
Isaiah 36:11
एलयाकीम, शेबना और योआह ने रबशाके को उनसे अरामी भाषा में बात करने के लिए क्यों कहा?
वे नहीं चाहते थे कि शहरपनाह पर बैठे लोग उनकी बातें सुने और समझे।
Isaiah 36:12
एलयाकीम, शेबना और योआह ने रबशाके को उनसे अरामी भाषा में बात करने के लिए क्यों कहा?
वे नहीं चाहते थे कि शहरपनाह पर बैठे लोग उनकी बातें सुने और समझे।
Isaiah 36:13
रबशाके ने एल्याकीम, शेबना और योआह की अरामी भाषा में बात करने की प्रार्थना पर क्या उत्तर दिया?
उसने खड़े होकर यहूदी भाषा में ऊंचे स्वर से कहा।
संक्षेप में रबशाके ने क्या कहा कि हिजकिय्याह के सम्बन्ध में अश्शूर के राजा ने क्या कहा?
उसने कहा कि हिजकिय्याह उन्हें धोखा देने नहीं देना क्योंकि हिजकिय्याह उन्हें बचाने में सक्षम नहीं होगा और यहोवा पर भरोसा न करने को कहा।
Isaiah 36:14
संक्षेप में रबशाके ने क्या कहा कि हिजकिय्याह के सम्बन्ध में अश्शूर के राजा ने क्या कहा?
उसने कहा कि हिजकिय्याह उन्हें धोखा देने नहीं देना क्योंकि हिजकिय्याह उन्हें बचाने में सक्षम नहीं होगा और यहोवा पर भरोसा न करने को कहा।
Isaiah 36:15
संक्षेप में रबशाके ने क्या कहा कि हिजकिय्याह के सम्बन्ध में अश्शूर के राजा ने क्या कहा?
उसने कहा कि हिजकिय्याह उन्हें धोखा देने नहीं देना क्योंकि हिजकिय्याह उन्हें बचाने में सक्षम नहीं होगा और यहोवा पर भरोसा न करने को कहा।
Isaiah 36:16
अश्शूर के राजा ने क्या कहा कि यदि यहूदी उसे भेंट भेजकर प्रसन्न करें और उसके पास निकल आएं तो क्या होगा?
उसने कहा कि तब वे अपनी-अपनी दाखलता और अंजीर के वृक्ष के फल खा पाएंगे, अपने कुण्ड का पानी पीएंगे, जब तक वह आकर उन्हें ऐसे देश में न ले जाए जो उनके देश के समान हो, अनाज और नए दाखमधु का देश, रोटी और दाख के बारियों का देश।
Isaiah 36:17-20
अश्शूर के राजा ने क्या कहा कि यदि यहूदी उसे भेंट भेजकर प्रसन्न करें और उसके पास निकल आएं तो क्या होगा?
उसने कहा कि तब वे अपनी-अपनी दाखलता और अंजीर के वृक्ष के फल खा पाएंगे, अपने कुण्ड का पानी पीएंगे, जब तक वह आकर उन्हें ऐसे देश में न ले जाए जो उनके देश के समान हो, अनाज और नए दाखमधु का देश, रोटी और दाख के बारियों का देश।
Isaiah 36:21
रबशाके की बातों पर क्या प्रतिक्रिया हुई?
वे चुप रहे और उसके उत्तर में एक बात भी न कही क्योंकि राजा ने ऐसी ही आज्ञा दी थी कि उसको उत्तर न देना।
Isaiah 36:22
एलयाकीम, शेबना और योआह ने रबशाके की बातें सुनने के बाद क्या किया?
वे हिजकिय्याह के पास वस्त्र फाड़े हुए गए और रबशाके के कही हुईं सारी बातें कह सुनाई।
Isaiah 37
Isaiah 37:1
जब हिजकिय्याह ने एलयाकीम, शेबना और योआह ने समाचार सुना तो उसने क्या किया?
हिजकिय्याह अपने वस्त्र फाड़ और टाट ओढ़कर यहोवा के भवन में गया। उसने एलयाकीम, शेबना और और याजकों के पुरनियों को यशायाह नबी के पास भेजा।
Isaiah 37:2-3
जब हिजकिय्याह ने एलयाकीम, शेबना और योआह ने समाचार सुना तो उसने क्या किया?
हिजकिय्याह अपने वस्त्र फाड़ और टाट ओढ़कर यहोवा के भवन में गया। उसने एलयाकीम, शेबना और और याजकों के पुरनियों को यशायाह नबी के पास भेजा।
Isaiah 37:4-5
हिजकिय्याह ने यशायाह को क्या करने के लिए कहा?
हिजकिय्याह ने यशायाह को यहोवा से उन बचे हुओं के लिए जो रह गए थे प्रार्थना करने के लिए कहा।
Isaiah 37:6
यशायाह ने हिजकिय्याह के कर्मचारियों को अपने स्वामी से क्या कहने के लिए कहा?
यशायाह का संदेश हिजकिय्याह को अश्शूर के राजा, रबशाके के सेवक के शब्दों से डरना नहीं था। यहोवा उसके मन में प्रेरणा उत्पन्न करेगा जिससे वह कुछ समाचार सुनकर अपने देश को लौट जाए और अपने ही देश में तलवार से मारा जाएगा।
Isaiah 37:7-9
यशायाह ने हिजकिय्याह के कर्मचारियों को अपने स्वामी से क्या कहने के लिए कहा?
यशायाह का संदेश हिजकिय्याह को अश्शूर के राजा, रबशाके के सेवक के शब्दों से डरना नहीं था। यहोवा उसके मन में प्रेरणा उत्पन्न करेगा जिससे वह कुछ समाचार सुनकर अपने देश को लौट जाए और अपने ही देश में तलवार से मारा जाएगा।
Isaiah 37:10-13
जब अश्शूर के राजा ने कूश के राजा तिर्हाका के उससे लड़ने के लिए निकलने के विषय में सुना तो उसने हिजकिय्याह को क्या सन्देश भेजा?
अश्शूर के राजा ने हिजकिय्याह के पास दूतों को यह कहकर भेजा कि तेरा परमेश्वर जिस पर तू भरोसा करता है यह कहकर तुझे धोखा न देने पाए कि यरूशलेम अश्शूर के राजा के वश में नहीं पड़ेगा।
Isaiah 37:14
हिजकिय्याह ने अश्शूर के राजा की पत्री को लेकर पढ़ने के बाद क्या किया?
उसने यहोवा के भवन में जाकर उस पत्री को यहोवा के सामने फैला दिया और यहोवा से प्रार्थना की।
Isaiah 37:15-16
हिजकिय्याह ने अश्शूर के राजा की पत्री को लेकर पढ़ने के बाद क्या किया?
उसने यहोवा के भवन में जाकर उस पत्री को यहोवा के सामने फैला दिया और यहोवा से प्रार्थना की।
Isaiah 37:17-19
हिजकिय्याह ने यहोवा से क्या करने की प्रार्थना की?
पहले, हिजकिय्याह ने यहोवा को सन्हेरीब के सब वचनों को कान लगाकर सुनने और आँख खोलकर देखने की प्रार्थना की। फिर, उसने यहोवा से यरूशलेम को सन्हेरीब के हाथों से बचाने की प्रार्थना की।
Isaiah 37:20
हिजकिय्याह ने यहोवा से क्या करने की प्रार्थना की?
पहले, हिजकिय्याह ने यहोवा को सन्हेरीब के सब वचनों को कान लगाकर सुनने और आँख खोलकर देखने की प्रार्थना की। फिर, उसने यहोवा से यरूशलेम को सन्हेरीब के हाथों से बचाने की प्रार्थना की।
हिजकिय्याह ने परमेश्वर को यरूशलेम को सन्हेरीब के हाथों से बचाने के लिए क्या प्रेरणा दी?
हिजकिय्याह चाहता था कि परमेश्वर यरूशलेम को बचा ले जिससे पृथ्वी के राज्य-राज्य के लोग जान लें कि केवल वह ही यहोवा है।"
Isaiah 37:21-22
यहोवा ने हिजकिय्याह की प्रार्थना का क्या उत्तर दिया?
यहोवा ने उसका उत्तर यशायाह के द्वारा भेजा।
Isaiah 37:23-25
यहोवा के हिजकिय्याह को दिए सन्देश में क्या कहा कि सन्हेरीब ने क्या गलत किया है?
यहोवा ने कहा कि सन्हेरीब ने इस्राएल के पवित्र के विरुद्ध नामधराई और निन्दा की, बड़ा बोल बोला और घमण्ड किया है।
Isaiah 37:26-27
यहोवा ने प्राचीनकाल में क्या ठान लिया और किसकी तैयारी की थी?
उसने यह ठान लिया था कि वह गढ़वाले नगरों (सन्हेरीब) को खण्डहर ही खण्डहर कर दे।
Isaiah 37:28
यहोवा सन्हेरीब के विषय में और क्या जानता है?
यहोवा उसका बैठना, कूच करना, लौट आना और यहाँ तक कि यहोवा पर उसका क्रोध भड़काना भी जानता है।
Isaiah 37:29-32
सन्हेरीब के यहोवा के विरुद्ध क्रोध का क्या परिणाम हुआ?
जिस मार्ग से सन्हेरीब आया था यहोवा ने उसे उसी मार्ग से लौटा दिया।
Isaiah 37:33
यहोवा ने अश्शूर के राजा के विषय में यरूशलेम से सम्बंधित क्या कहा?
यहोवा ने कहा कि अश्शूर का राजा यरूशलेम में प्रवेश करने या उस पर एक तीर भी मारने ना पाएगा और न वह ढाल लेकर इसके सामने आने या इसके विरुद्ध दमदमा बाँधने पाएगा।
Isaiah 37:34
यहोवा ने अश्शूर के राजा के विषय में यरूशलेम से सम्बंधित क्या कहा?
यहोवा ने कहा कि अश्शूर का राजा यरूशलेम में प्रवेश करने या उस पर एक तीर भी मारने ना पाएगा और न वह ढाल लेकर इसके सामने आने या इसके विरुद्ध दमदमा बाँधने पाएगा।
Isaiah 37:35
यहोवा ने यरूशलेम को बचाने और उसकी रक्षा करने का क्या कारण बताया?
यहोवा ने कहा कि वह अपने निमित्त और अपने दास दाऊद के निमित्त यरूशलेम को बचाएगा और इसकी रक्षा करेगा।
Isaiah 37:36-37
यहोवा के दूत ने क्या किया?
उसने निकलकर अश्शूरियों की छावनी में एक लाख पचासी हज़ार पुरुषों को मारा।
Isaiah 37:38
जब अश्शूर का राजा सन्हेरीब लौट गया और नीनवे में रहने लगा तो उसे क्या हुआ?
वहां जब वह अपने देवता निस्रोक के मन्दिर में दण्डवत् कर रहा था तो उसके पुत्र अद्रम्मेलेक और शेरेसर ने उसे तलवार से मार दिया।
Isaiah 38
Isaiah 38:1-2
उन दिनों हिजकिय्याह को क्या हुआ?
वह ऐसा रोगी हुआ कि मरने पर था।
यशायाह ने हिजकिय्याह को क्या बताया?
यशायाह ने बताया कि*“यहोवा यह कहता है, अपने घराने के विषय जो आज्ञा देनी हो वह दे, क्योंकि तू न बचेगा मर ही जाएगा।”
Isaiah 38:3-4
हिजकिय्याह ने यशायाह के द्वारा मिले सन्देश को सुनने के बाद क्या किया?
उसने यहोवा से प्रार्थना करके उससे विनती करके स्मरण करने को कहा कि किस प्रकार वह सच्चाई और खरे मन से अपने को उसके सम्मुख जानकर चलता आया और जो यहोवा की दृष्टि में उचित था करता आया है। और वह बिलख बिलखकर रोया।
Isaiah 38:5
यहोवा ने यशायाह को हिजकिय्याह से क्या कहने के लिए कहा?
यहोवा ने यशायाह को हिजकिय्याह से कहने के लिए कहा कि उसने उसकी प्रार्थना सुनी और उसके आँसू देखे हैं। यहोवा ने कहा कि वह उसकी आयु 15 वर्ष और बढ़ा देगा और अश्शूर के राजा से यहोवा उसके और यरूशलेम की रक्षा करके बचाएगा।
Isaiah 38:6-7
यहोवा ने यशायाह को हिजकिय्याह से क्या कहने के लिए कहा?
यहोवा ने यशायाह को हिजकिय्याह से कहने के लिए कहा कि उसने उसकी प्रार्थना सुनी और उसके आँसू देखे हैं। यहोवा ने कहा कि वह उसकी आयु 15 वर्ष और बढ़ा देगा और अश्शूर के राजा से यहोवा उसके और यरूशलेम की रक्षा करके बचाएगा।
Isaiah 38:8-9
यहोवा ने क्या कहा कि वह अपने वचन को पूरा करने के लिए हिजकिय्याह को क्या चिन्ह देगा?
उसने कहा कि धूप की छाया जो आहाज की धूपघड़ी में ढल गई है वह दस अंश पीछे की ओर लौटा देगा।
Isaiah 38:10
हिजकिय्याह की लिखी प्रार्थना में उसने क्या कहा कि अपनी आयु के बीच में ही उसे क्या होगा?
उसने कहा कि अपनी आयु के बीच में ही वह अधोलोक के फाटकों में प्रवेश करेगा।
Isaiah 38:11-15
अपनी लिखित प्रार्थना के आरम्भ में हिजकिय्याह ने यहोवा से सम्बंधित क्या कहा?
उसने कहा कि वह यहोवा को जीवितों की भूमि में फिर न देखने पाएगा।
Isaiah 38:16
हिजकिय्याह ने यहोवा से अपनी कड़वाहट और दुःख के विषय में क्या कहा?
हिजकिय्याह ने कहा कि प्रभु द्वारा दिए गए कष्ट उसके लिए अच्छा और लाभदायक था कि उसने इतना दुःख सहा।
Isaiah 38:17-19
हिजकिय्याह ने यहोवा से अपनी कड़वाहट और दुःख के विषय में क्या कहा?
हिजकिय्याह ने कहा कि प्रभु द्वारा दिए गए कष्ट उसके लिए अच्छा और लाभदायक था कि उसने इतना दुःख सहा।
हिजकिय्याह ने क्या कहा कि यहोवा ने उसके पापों के साथ क्या किया है?
उसने कहा कि यहोवा ने उसके पापों को अपनी पीठ के पीछे फेंक दिया है।
Isaiah 38:20
हिजकिय्याह यहोवा के दिए उद्धार का आनन्द किस प्रकार मनाएगा?
उसने कहा वे जीवन भर यहोवा के भवन में तारवाले बाजों पर अपने रचे हुए गीत गाते रहेंगे।
Isaiah 38:21-22
यशायाह हिजकिय्याह को ठीक होने के लिए क्या करने के लिए कहता है ?
उसने कहा, "अंजीरों की एक टिकिया बनाकर हिजकिय्याह के फोड़े पर बांधी जाए तभी वह ठीक होगा।
Isaiah 39
Isaiah 39:1
किसने हिजकिय्याह को भेंट और पत्री भेजी?
बलदान के पुत्र मरोदक बलदान ने जो बाबेल का राजा था हिजकिय्याह को पत्री और भेंट भेजी।
Isaiah 39:2
हिजकिय्याह ने उन्हें जो मरोदक बलदान से पत्री और भेंट लेकर आए थे क्या दिखाया?
हिजकिय्याह ने उन्हें अपने अनमोल पदार्थों का भण्डार और चांदी, सोना, सुगन्ध द्रव्य, उत्तम तेल, और अपने हथियारों का सब घर और अपने भण्डारों में जो वस्तुएं थीं वे सब उनको दिखलाईं। हिजकिय्याह ने उन्हें अपने घर और राज्य में सब कुछ दिखाया।
Isaiah 39:3
यशायाह ने हिजकिय्याह से क्या पूछा?
उसने पूछा कि वे मनुष्य क्या कह गए, वे कहाँ से आए थे, और उन्होंने हिजकिय्याह के भवन में क्या-क्या देखा है।
Isaiah 39:4
यशायाह ने हिजकिय्याह से क्या पूछा?
उसने पूछा कि वे मनुष्य क्या कह गए, वे कहाँ से आए थे, और उन्होंने हिजकिय्याह के भवन में क्या-क्या देखा है।
Isaiah 39:5
यशायाह ने हिजकिय्याह से क्या कहा, बाबेल को ले जाया जाएगा?
यहोवा ने हिजकिय्याह से कहा कि जो कुछ उसके पुरखाओं का रखा हुआ उसके भवन में है वह सब बाबेल को ले जाया जाएगा।
Isaiah 39:6-7
यशायाह ने हिजकिय्याह से क्या कहा, बाबेल को ले जाया जाएगा?
यहोवा ने हिजकिय्याह से कहा कि जो कुछ उसके पुरखाओं का रखा हुआ उसके भवन में है वह सब बाबेल को ले जाया जाएगा।
Isaiah 39:8
हिजकिय्याह ने यहोवा के वचन के विषय में जो यशायाह ने उसे बताए क्यों सोचा की वे भले हैं ?
उसने सोचा कि वे भले हैं क्योंकि उसके दिनों में तो शान्ति और सच्चाई बनी रहेगी।
Isaiah 40
Isaiah 40:2
परमेश्वर किस प्रकार अपनी प्रजा को शान्ति देने के लिए कहता है?
वह कहता है यरूशलेम से शान्ति की बातें करो, और उससे कहो कि उसकी कठिन सेवा पूरी हो गई है, उसके अधर्म क्षमा किए गए है, यहोवा के हाथों से वह उसके सब पापों का दूना दण्ड पा चुकी है।
Isaiah 40:3
एक आवाज़ क्या पुकारती है?
यह पुकारती है कि,"जंगल में यहोवा का मार्ग सुधारो, हमारे परमेश्वर के लिए अराबा में एक राजमार्ग चौरस करो।"
Isaiah 40:4
इस्राएल में भूमि का क्या होगा?
हरेक तराई भर दी जाए और हर एक पहाड़ और पहाड़ी गिरा दी जाए ; जो टेढ़ा है वह सीधा और ऊँचा-नीचा है वह चौरस किया जाएगा।
Isaiah 40:5-7
किस पर यहोवा का तेज प्रगट होगा?
सब प्राणियों पर यहोवा का तेज प्रगट होगा।
Isaiah 40:8
क्या सदा अटल रहेगा?
हमारे परमेश्वर का वचन सदैव अटल रहेगा।
Isaiah 40:9
यरूशलेम और यहूदा के नगरों को क्या शुभ समाचार सुनाया जाना था?
शुभ समाचार यह था कि ,"अपने परमेश्वर को देखो।"
Isaiah 40:10-14
प्रभु यहोवा किस प्रकार आता है?
वह विजयी योद्धा के समान आ रहा है।
जब यहोवा आता है तो अपने साथ क्या लाता है?
जो मज़दूरी देने को है वह उसके पास है और जो बदला देने का है वह उसके हाथ में है।
Isaiah 40:15-21
जातियां यहोवा के सम्मुख किसके तुल्य हैं?
यहोवा के लिए जातियां तो डोल में की एक बूँद के और पलड़ों पर की धूल के तुल्य हैं।
Isaiah 40:22
परमेश्वर कहाँ विराजमान है?
परमेश्वर पृथ्वी के घेरे के ऊपर आकाशमंडल पर विराजमान है।
Isaiah 40:23-25
परमेश्वर पृथ्वी के अधिकारियों के साथ क्या करता है?
परमेश्वर बड़े-बड़े हाकिमों को तुच्छ कर देता है और पृथ्वी के अधिकारियों को शून्य के समान कर देता है।
Isaiah 40:26-27
यहोवा गणों के साथ क्या करता है?
वह इन्हें सिरजता, नाम ले लेकर बुलाता है, वह ऐसा सामर्थी और अत्यंत बली है कि उनमें से कोई बिना आए नहीं रहता।
Isaiah 40:28
यहोवा कौन है और कैसा है?
यहोवा सनातन परमेश्वर और पृथ्वी भर का सिरजनहार है। वह न थकता, न श्रमित होता है और उसकी बुद्धि अगम है।
Isaiah 40:29-30
यहोवा थके हुओं को और शक्तिहीनों को क्या देता है?
यहोवा थके हुओं को बल देता है और शक्तिहीनों को बहुत सामर्थ देता है।
Isaiah 40:31
यहोवा की बात जोहने वालों का क्या होगा?
जो यहोवा की बाट जोहते हैं वे नया बल प्राप्त करेंगे; वे उकाबों के समान उड़ेंगे, वे दौड़ेंगे और श्रमित न होंगे, चलेंगे और थकेंगे नहीं।
Isaiah 41
Isaiah 41:1-3
यहोवा किस कारण कहता है कि, "एक दूसरे के समीप आएं"?
यहोवा आपस में न्याय के लिए कहता है कि हम एक दूसरे के समीप आएं।
Isaiah 41:4
कौन आदि से पीढ़ियों को बुलाता आया है?
यहोवा ने यह काम किया है।
Isaiah 41:5
द्वीपों की क्या प्रतिक्रिया है जिन्होंने देखा है और डरते हैं और दूर देश जो कांप उठे और निकट आ गए हैं?
वे एक-दूसरे की सहायता करते हैं और मूर्ति बनाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।
Isaiah 41:6
द्वीपों की क्या प्रतिक्रिया है जिन्होंने देखा है और डरते हैं और दूर देश जो कांप उठे और निकट आ गए हैं?
वे एक-दूसरे की सहायता करते हैं और मूर्ति बनाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।
Isaiah 41:7
द्वीपों की क्या प्रतिक्रिया है जिन्होंने देखा है और डरते हैं और दूर देश जो कांप उठे और निकट आ गए हैं?
वे एक-दूसरे की सहायता करते हैं और मूर्ति बनाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।
Isaiah 41:8
यहोवा इस्राएल को क्या कहकर पुकारता है?
यहोवा इस्राएल को अपना दास, चुने हुए याकूब और अपने मित्र अब्राहम के वंश कहकर पुकारता है।
Isaiah 41:9
यहोवा इस्राएल को क्या कहकर पुकारता है?
यहोवा इस्राएल को अपना दास, चुने हुए याकूब और अपने मित्र अब्राहम के वंश कहकर पुकारता है।
यहोवा क्या कहता है कि वह इस्राएल के लिए क्या कर रहा है?
यहोवा कहता है कि उसने इस्राएल को पृथ्वी के दूर-दूर के छोर बुलाया है।
Isaiah 41:10
यहोवा इस्राएल को क्या नहीं करने के लिए कहता है और क्यों?
यहोवा इस्राएल से कहता है कि मत डर क्योंकि यहोवा उनके संग है और चिंता मत कर क्योंकि वह उनका परमेश्वर है।
यहोवा और क्या कहता है कि वह इस्राएल के लिए क्या करेगा ?
यहोवा कहता है कि वह उसे दृढ़ करेगा और उनकी सहायता करेगा और अपने धर्ममय दाहिने हाथ से उसे सम्भाले रहेगा।
Isaiah 41:11-15
वे जो इस्राएल से क्रोधित हैं और झगड़ते हैं उनका क्या होगा?
वे सब लज्जित होंगे और उनके मुंह काले होंगे और वे नाश होकर मिट जाएँगे।
Isaiah 41:16
इस्राएल तब क्या करेगा जब वे अपने से युद्ध करने वालों और झगड़ा करनेवालों को फटकेंगे ?
इस्राएल यहोवा के कारण मगन होगा और इस्राएल के पवित्र के कारण बड़ाई मारेगा।
Isaiah 41:17
जब दीन और दरिद्र लोग जल ढूंढेंगे तो यहोवा क्या करेगा?
यहोवा कहता है कि वह उनकी विनती सुनेगा और मुंडे टीलों से नदियाँ और मैदान के बीच में सोते बहाएगा, वह जंगल को ताल और निर्जल देश को सोते ही सोते कर देगा। वह उन्हें न त्यागेगा।
Isaiah 41:18-20
जब दीन और दरिद्र लोग जल ढूंढेंगे तो यहोवा क्या करेगा?
यहोवा कहता है कि वह उनकी विनती सुनेगा और मुंडे टीलों से नदियाँ और मैदान के बीच में सोते बहाएगा, वह जंगल को ताल और निर्जल देश को सोते ही सोते कर देगा। वह उन्हें न त्यागेगा।
Isaiah 41:21
यहोवा ने मूर्तियों की आराधना करने वालों को क्या कहा?
वह कहता है कि वह अपना मुकद्दमा लड़े, अपने मूरतों के लिए सबसे उत्तम प्रमाण दे।
Isaiah 41:22-23
यहोवा क्या कहता है कि मूरतों की आराधना करने वालों को क्या प्रमाण प्रस्तुत करने के लिए कहता है कि हम जान पाएं कि वे आराधना योग्य हैं या नहीं?
यहोवा कहता है कि वे हमें बताए कि भविष्य में क्या होगा, पूर्वकाल में क्या हुआ जिससे वह सोचकर यह जान सकें।
Isaiah 41:24
मूरतों और उन्हें चुनने वालों का मूल्यांकन परमेश्वर ने कैसे किया है?
यहोवा कहता है कि मूरतें कुछ नहीं हैं और उनसे कुछ नहीं बनता जो कोई उन्हें चाहता है वह घृणित है।
Isaiah 41:25
मूरतों की आराधना करने वालों में से किसने इस बात को पहले बताया था कि वह एक को उत्तर दिशा से उभारेगा जो हाकिमों को कीच के समान लताड़ देगा?
मूरतों की आराधना करने वालों में से किसी ने भी इस बात को पहले नहीं बताया था और कोई भी उनकी बातों का सुननेवाला नहीं।
Isaiah 41:26
मूरतों की आराधना करने वालों में से किसने इस बात को पहले बताया था कि वह एक को उत्तर दिशा से उभारेगा जो हाकिमों को कीच के समान लताड़ देगा?
मूरतों की आराधना करने वालों में से किसी ने भी इस बात को पहले नहीं बताया था और कोई भी उनकी बातों का सुननेवाला नहीं।
Isaiah 41:27
यहोवा ने उसके विषय में जिसे उसने उत्तर दिशा से उभारा क्या कहा?
उसने पहले सिय्योन से कहा, "देख उन्हें देख;' उसने यरूशलेम को एक शुभसमाचार देनेवाला भेजा।
Isaiah 41:28
इस अध्याय में मूरतों की आराधना करने वालों को यहोवा ने क्या अन्तिम शब्द कहे?
यहां उनके शब्द हैं: "मैंने देखने पर भी किसी को न पाया, उनमें कोई मंत्री नहीं जो मेरे पूछने पर कुछ उत्तर दे सके। सुनो, उन सभों के काम व्यर्थ हैं; उनके काम तुच्छ हैं और उनकी ढली हुई मूर्तियाँ वायु और मिथ्या हैं।
Isaiah 41:29
इस अध्याय में मूरतों की आराधना करने वालों को यहोवा ने क्या अन्तिम शब्द कहे?
यहां उनके शब्द हैं: "मैंने देखने पर भी किसी को न पाया, उनमें कोई मंत्री नहीं जो मेरे पूछने पर कुछ उत्तर दे सके। सुनो, उन सभों के काम व्यर्थ हैं; उनके काम तुच्छ हैं और उनकी ढली हुई मूर्तियाँ वायु और मिथ्या हैं।
Isaiah 42
Isaiah 42:1-2
यहोवा क्या कहता है कि उसने अपने दास के लिए क्या किया है?
यहोवा कहता है कि वह उसका चुना हुआ है जिससे उसका जी प्रसन्न है और यहोवा ने उस पर अपना आत्मा रखा है।
यहोवा क्या कहता है कि उसका दास जाति-जाति के लिए प्रगट करेगा?
यहोवा कहता है कि उसका दास जाति-जाति के लिए न्याय प्रगट करेगा।
Isaiah 42:3-4
यहोवा का दास कुचले हुए नरकट और टिमटिमाती बत्ती के साथ क्या नहीं करेगा?
यहोवा कहता है कि उसका दास कुचले हुए नरकट को न तोड़ेगा और न टिमटिमाती बत्ती को बुझाएगा।
Isaiah 42:5-6
यहोवा अपने बारे में क्या कहता है?
परमेश्वर वह है जो आकाश का सृजनेवाला और ताननेवाला है और जो उपज सहित पृथ्वी का फैलानेवाला और उस पर के लोगों को सांस और उस पर के चलनेवाले लोगों को आत्मा देने वाला है।
Isaiah 42:7
यहोवा क्या चाहता है कि उसका चयनित दास अंधों और बन्दियों के लिए करे?
यहोवा चाहता है कि उसका दास अंधों की आँखें खोले, बन्दियों को बन्दीगृह से निकाले और जो अंधियारे में बैठे हैं उनको कालकोठरी से निकाले।
Isaiah 42:8
यहोवा क्या दूसरे को न देगा?
यहोवा अपनी महिमा और स्तुति वह खुदी हुई मूरतों को न देगा।
यहोवा किस प्रकार मूरतों के प्रति अपनी विषमता दिखाता है?
खुदी हुई मूरतों के विपरीत यहोवा के द्वारा प्रगट की बातें घटित हुईं हैं।
Isaiah 42:9-12
यहोवा किस प्रकार मूरतों के प्रति अपनी विषमता दिखाता है?
खुदी हुई मूरतों के विपरीत यहोवा के द्वारा प्रगट की बातें घटित हुईं हैं।
अपनी महिमा और प्रगट करने के लिए यहोवा क्या करेगा?
उसने कहा वह अब नई बातें बताएगा। वह उनके होने से पहले उन्हें सुनाएगा।
Isaiah 42:13-15
यहोवा अपने शत्रुओं का क्या करेगा?
वह उन्हें अपनी सामर्थ्य दिखाएगा।
Isaiah 42:16
यहोवा अन्धों के लिए क्या करेगा?
वह उन्हें ऐसे मार्ग से ले चलेगा जिन्हें वे नहीं जानते; ऐसे पथों पर चलाएगा जिन्हें वे नहीं जानते। उनके आगे वह अंधियारे को उजाला करेगा और टेढ़े मार्गों को सीधा करेगा और वह उन्हें न त्यागेगा।
Isaiah 42:17
जो खुदी हुई मूरतों पर भरोसा रखते हैं और उन्हें कहते हैं 'तुम हमारे ईश्वर हो' उनको क्या होगा?
उन्हें पीछे हटना और अत्यंत लज्जित होना पड़ेगा।
Isaiah 42:18-19
बहरों और अन्धों को क्या करने की आज्ञा दी गई?
बहरों को सुनने और अन्धों को देखने की आज्ञा दी थी कि वे देख सकें।
Isaiah 42:20-21
यहोवा ने उन्हें सुनने और देखने की आज्ञा क्यों दी?
उसने उन्हें सुनने और देखने की आज्ञा दी क्योंकि वे बहुत सी बातों पर दृष्टि तो करते हैं परन्तु उन्हें देखते नहीं; कान तो खुले हैं परन्तु सुनते नहीं।
Isaiah 42:22-23
यहोवा क्या कहता है कि लोगों की स्थिति क्या है?
यहोवा कहता है कि लोग लुट गए हैं वह सब के सब गड्ढों में फंसे हुए और कालकोठरियों में बन्द किए हुए हैं; उन्हें छुड़ाने वाला कोई नहीं।
Isaiah 42:24
किसने याकूब को लुटवाया और इस्राएल को लुटेरों के वश में कर दिया?
यहोवा ने उन्हें सौंप दिया था।
यहोवा ने याकूब को क्यों लुटवाया और क्यों इस्राएल को लुटेरों के वश में कर दिया?
यहोवा ने उन्हें सौप दिया था क्योंकि उन्होंने यहोवा के विरुद्ध पाप किया था जिसके मार्ग पर उन्होंने चलना न चाहा और न उसकी व्यवस्था को माना।
Isaiah 42:25
क्या इस्राएल समझा कि किसने उस पर युद्ध का बल चलाया और क्यों उसने ऐसा किया?
नहीं! क्रोध की आग उनके चारों ओर लग गई तो भी वे न समझे, वे जल भी गया तो भी वे न चेता गए।
Isaiah 43
Isaiah 43:1
सामान्य रूप में यहोवा ने याकूब, इस्राएल को क्या करने के लिए कहा?
उसने याकूब, इस्राएल, को न डरने को कहा।
Isaiah 43:2
यहोवा ने क्या कहा कि वह इस्राएल की रक्षा के लिए करेगा?
यहोवा ने कहा, न ही नदियां इस्राएल को डुबा सकेगी और न ही आग से उसे आँच लगेगी, और उसकी लौ उसे न जला सकेगी।
Isaiah 43:3-4
यहोवा ने इस्राएल की छुड़ौती में और उसके बदले क्या दिया?
यहोवा ने इस्राएल की छुड़ौती में मिस्र को और उसके बदले में कूश और सबा को दिया है।
Isaiah 43:5-9
यहोवा ने क्या कहा कि वह इस्राएल के वंश के साथ क्या करेगा?
यहोवा ने कहा कि वह उसके वंश को पूर्व से ले आएगा और पश्चिम से भी इकट्ठा करेगा।
Isaiah 43:10
यहोवा ने उन्हें उनके वंश को पूर्व और पश्चिम से इकट्ठा कर लाने और पुत्रों को दूर-दूर से और पुत्रियों को पृथ्वी के छोर से लाने की बात पहले से क्यों बताई?
यहोवा ने ऐसा किया कि वे समझकर उसकी प्रतीति करें और यह जान लें की वही परमेश्वर है।
यहोवा के अतिरिक्त कोई परमेश्वर या उद्धारकर्ता है?
यहोवा से पहले कोई परमेश्वर न हुआ और न उसके बाद कोई होगा। वही यहोवा है और उसे छोड़कर कोई उद्धारकर्ता नहीं।
Isaiah 43:11-12
यहोवा के अतिरिक्त कोई परमेश्वर या उद्धारकर्ता है?
यहोवा से पहले कोई परमेश्वर न हुआ और न उसके बाद कोई होगा। वही यहोवा है और उसे छोड़कर कोई उद्धारकर्ता नहीं।
Isaiah 43:13
परमेश्वर के हाथ से कौन हमें छुड़ा सकता है?
कोई भी हमें परमेश्वर के हाथ से छुड़ा नहीं सकता।
Isaiah 43:14-15
किसके निमित्त यहोवा ने बाबेल को भेजा है और उसके सब रहनेवालों को भगोड़ों की दशा में ले आएगा, कि उनके आनन्द को विलाप में बदल दे?
यहोवा ने ऐसा इस्राएल के निमित्त किया।
Isaiah 43:16
यहोवा कौन सी बीती बातों का स्मरण न करने के लिए कहता है जो उसने की थीं?
यहोवा ने समुन्द्र में मार्ग और प्रचण्ड धारा में पथ बनाया। वह रथों और घोड़ों को शूरवीरों समेत सेना को निकाल लाया। वे तो एक संग वहीं रह गए और फिर नहीं उठ पाए। वे बुझ गए, सन की बत्ती समान बुझ गए थे।
Isaiah 43:17-18
यहोवा कौन सी बीती बातों का स्मरण न करने के लिए कहता है जो उसने की थीं?
यहोवा ने समुन्द्र में मार्ग और प्रचण्ड धारा में पथ बनाया। वह रथों और घोड़ों को शूरवीरों समेत सेना को निकाल लाया। वे तो एक संग वहीं रह गए और फिर नहीं उठ पाए। वे बुझ गए, सन की बत्ती समान बुझ गए थे।
Isaiah 43:19-21
यहोवा ने क्या कहा कि कौन सी नई बातें जंगल और निर्जल देश वह करने वाला है?
यहोवा ने कहा कि वह जंगल में एक मार्ग बनाएगा और निर्जल देश में नदियाँ बहाएगा।
Isaiah 43:22
ये लोग, इस्राएल जिसे यहोवा ने खुद सृजा है यहोवा के लिए क्या करने में नाकामयाब रहे हैं?
इस्राएल ने यहोवा से प्रार्थना नहीं की। वे होमबलि के लिए मेम्ने नहीं लाए और न मेलबलि चढ़ाकर उसकी महिमा की।
Isaiah 43:23
ये लोग, इस्राएल जिसे यहोवा ने खुद सृजा है यहोवा के लिए क्या करने में नाकामयाब रहे हैं?
इस्राएल ने यहोवा से प्रार्थना नहीं की। वे होमबलि के लिए मेम्ने नहीं लाए और न मेलबलि चढ़ाकर उसकी महिमा की।
Isaiah 43:24
इस्राएल ने यहोवा के साथ क्या किया?
इस्राएल ने अपने पापों के कारण यहोवा पर बोझ लाद दिया है और अपने अधर्म के कामों से उसे थका दिया है।
Isaiah 43:25-26
यहोवा ने इस्राएल के अपराधों को क्यों मिटा दिया और उनका स्मरण न रखा?
यहोवा ने ऐसा अपने नाम के निमित्त किया।
Isaiah 43:27
यहोवा ने पवित्रस्थान के हाकिमों को अपवित्र क्यों ठहराया; और क्यों याकूब का सत्यानाश और इस्राएल को निन्दित होने दिया?
यहोवा ने ऐसा इसलिए किया क्योंकि उनका मूलपुरुष पापी हुआ और जो उसके और उनके बीच बिचवई हुए, वे उससे बलवा करते चले हैं।
Isaiah 43:28
यहोवा ने पवित्रस्थान के हाकिमों को अपवित्र क्यों ठहराया; और क्यों याकूब का सत्यानाश और इस्राएल को निन्दित होने दिया?
यहोवा ने ऐसा इसलिए किया क्योंकि उनका मूलपुरुष पापी हुआ और जो उसके और उनके बीच बिचवई हुए, वे उससे बलवा करते चले हैं।
Isaiah 44
Isaiah 44:3-6
यहोवा ने याकूब को क्या कहा कि वह उसकी वंश पर उण्डेलने वाला है?
यहोवा ने कहा कि वह उसके वंश पर अपनी आत्मा उण्डेलेगा।
Isaiah 44:7-8
यहोवा को किस प्रकार सिद्ध किया जा सकता है कि उसके अतिरिक्त कोई और परमेश्वर है?
उसे यह सिद्ध करने के लिए उसे जब से उसने प्राचीनकाल में मनुष्यों को ठहराया तब से उसके समान प्रचार करके या होने वाली बातों को पहले से ही प्रगट करना होगा।
Isaiah 44:9-10
मूरतें खोदनेवालों के सम्बन्ध में यहोवा क्या कहता है?
यहोवा कहता है कि वे व्यर्थ हैं, और जिन वस्तुओं में वे लाभ ढूंढते हैं उन से कुछ लाभ न होगा और उन्हें लज्जित होना पड़ेगा।
Isaiah 44:11-13
कारीगर और उसके संगियां जिन्होंने देवता या निष्फल मूरत ढाली है उनके साथ क्या होगा?
कारीगर और उसके संगियां जिन्होंने देवता या निष्फल मूरत ढाली है वे सबके सब लज्जित होंगे।
Isaiah 44:14
बढ़ई किस प्रकार मूरत बनाना आरम्भ करता है?
वह देवदार को काटता है, या वन के वृक्षों में से जाति जाति के बांजवृक्ष चुनता है।
Isaiah 44:15
मनुष्य काटी हुई लकड़ी का क्या करता है?
तब वह मनुष्य के ईंधन के काम आती है, और कुछ को वह सुलगाकर तापता है, उस पर रोटी बनाता है, एक भाग पर मांस पकाकर खाता है और बचे हुए भाग को लेकर देवता अर्थात् एक मूरत खोद कर बनाता है, तब वह उसके सामने प्रणाम और दण्डवत् करता है।
Isaiah 44:16-18
मनुष्य काटी हुई लकड़ी का क्या करता है?
तब वह मनुष्य के ईंधन के काम आती है, और कुछ को वह सुलगाकर तापता है, उस पर रोटी बनाता है, एक भाग पर मांस पकाकर खाता है और बचे हुए भाग को लेकर देवता अर्थात् एक मूरत खोद कर बनाता है, तब वह उसके सामने प्रणाम और दण्डवत् करता है।
Isaiah 44:19-20
क्योंकि जो मूरतों को बनाते और दण्डवत् करते हैं उनकी बुद्धि ऐसी है कि वे बूझ नहीं सकते, देख नहीं सकते, वे कौन से दो प्रश्न वे अपने आप से नहीं पूछते?
सबसे पहले, वे अपने आप से यह नहीं पूछते कि क्या उन्हें लकड़ी के दूसरे हिस्से को पूजा करने के लिए घिनौनी वस्तु बनानी चाहिए। दूसरा, वे अपने आप से यह नहीं पूछते कि क्या उन्हें काठ के टुकड़े को प्रणाम करना उचित है।
Isaiah 44:21
याकूब और इस्राएल को यहोवा ही एक मात्र परमेश्वर है और मूरत कुछ नहीं यह क्यों स्मरण रखने को कहा गया?
उन्हें यह स्मरण रखना है क्योंकि यहोवा ने उन को रचा है, वे उसके दास हैं और यहोवा उन को न भूलेगा। और यहोवा ने उनके पापों और अपराधों को मिटा दिया है।
Isaiah 44:22
याकूब और इस्राएल को यहोवा ही एक मात्र परमेश्वर है और मूरत कुछ नहीं यह क्यों स्मरण रखने को कहा गया?
उन्हें यह स्मरण रखना है क्योंकि यहोवा ने उन को रचा है, वे उसके दास हैं और यहोवा उन को न भूलेगा। और यहोवा ने उनके पापों और अपराधों को मिटा दिया है।
Isaiah 44:23-24
आकाश, पहाड़ों, वनों और वन के सब वृक्षों को गाने की आज्ञा क्यों दी गई है?
उन्हें गाने की आज्ञा इसलिए दी गई क्योंकि यहोवा ने याकूब को छुड़ा लिया है और इस्राएल में महिमावान होगा।
Isaiah 44:25
यहोवा झूठे लोगों के चिन्हों और भावी कहलाने वालों को क्या करता है?
वह झूठे लोगों के चिन्हों को व्यर्थ कर देता है और भावी कहलाने वालों को बावला कर देता है।
Isaiah 44:26-27
यहोवा अपने दास और दूतों के लिए क्या करता है?
वह अपने दास के वचन को पूरा करता है और अपने दूतों की युक्ति को सफल करता है।
यहोवा यरूशलेम और यहूदा के नगरों के विषय में क्या कहता है?
वह कहता है कि यरूशलेम फिर बसाई जाएगी और यहूदा के नगर फिर बनाए जाएंगे और वह उनके खण्डहरों को सुधारेगा।
Isaiah 44:28
यहोवा कुस्रू के विषय में क्या कहता है और वह क्या करेगा?
यहोवा ने कुस्रू के विषय में कहा, "वह मेरा ठहराया हुआ चरवाहा है, और मेरी इच्छा पूरी करेगा यरूशलेम के विषय कहता है, ‘वह बसाई जाएगी,’ और मन्दिर के विषय कि ‘तेरी नींव डाली जाएगी।’ ”
Isaiah 45
Isaiah 45:1-2
इस अध्याय में परमेश्वर का अभिषिक्त कौन है?
इस अध्याय में परमेश्वर कहता है कि कुस्रू उसका अभिषिक्त है।
यहोवा ने कुस्रू का हाथ क्यों थामा?
यहोवा ने कुस्रू का हाथ इसलिए थामा ताकि यहोवा उसके सामने जातियों को दबा सके और राजाओं की कमर ढीली हो और उसके सामने फाटकों को ऐसा खोले कि वे फाटक बन्द न किए जाएं।
Isaiah 45:3
यहोवा कुस्रू के आगे-आगे क्यों चलेगा, क्यों ऊँची भूमि को चौरस करेगा, पीतल के किवाड़ों को तोड़ेगा लोहे के बेड़ों के टुकड़े करेगा और क्यों अंधकार और गुप्त स्थानों में गढ़ा हुआ धन उसे देगा?
यहोवा यह करेंगा जिससे कि कुस्रू यह जाने कि वह इस्राएल का परमेश्वर यहोवा है जो उसे नाम लेकर बुलाता है।
Isaiah 45:4
किसके निमित्त यहोवा कुस्रू को नाम लेकर बुलाता है?
अपने दास याकूब और अपने चुने हुए इस्राएल के निमित्त यहोवा कुस्रू को नाम लेकर बुलाता है।
क्या कुस्रू यहोवा को जानता था?
नहीं, कुस्रू यहोवा को नहीं जानता था।
Isaiah 45:5
क्या कुस्रू यहोवा को जानता था?
नहीं, कुस्रू यहोवा को नहीं जानता था।
क्या यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर है?
नहीं, यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर नहीं है।
Isaiah 45:6
क्या यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर है?
नहीं, यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर नहीं है।
Isaiah 45:7
उजियाले का बनानेवाला कौन है और अंधियारे का सृजनहारकौन है और कौन शान्ति का दाता और विपत्ति का रचने वाला है?
यहोवा ही इन सभों का कर्ता है।
Isaiah 45:8
किसने उद्धार उत्पन्न किया?
यहोवा ने उद्धार उत्पन्न किया।
Isaiah 45:9-12
अपने रचनेवाले से झगड़ने वाले की यहोवा किन चीज़ों से तुलना करता है?
वह उनकी तुलना मिट्टी और कुम्हार से करता है, क्या मिट्टी कुम्हार से कहेगी ,"तू यह क्या करता है?", या क्या कारीगर का बनाया हुआ कार्य उसके विषय कहेगा, ‘उसके हाथ नहीं है’?
Isaiah 45:13
कुस्रू यहोवा के लिए क्या करेगा?
वह यहोवा के नगर को फिर बसाएगा और उसके बन्दियों को बिना दाम या बदला लिए छोड़ देगा।
Isaiah 45:14-15
क्या यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर है?
नहीं, यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर नहीं है।
Isaiah 45:16
कौन लज्जित होकर चलेंगे?
वे जो मूर्तियों को गढ़ते हैं लज्जित होकर चलेंगे।
Isaiah 45:17
इस्राएल का उद्धार कब तक के लिए होगा?
यहोवा इस्राएल का उद्धार अनन्तकाल के लिए करेगा।
Isaiah 45:18-19
क्या यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर है?
नहीं, यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर नहीं है।
यहोवा ने पृथ्वी को क्यों रचा?
उसने उसे बसने के लिए रचा है।
Isaiah 45:20
कौन अज्ञान हैं?
वे जो खोदी हुई मूरतें लिए फिरते हैं और ऐसे देवता से जिससे उद्धार नहीं हो सकता, प्रार्थना करते हैं, वे अज्ञान हैं।
Isaiah 45:21
क्या यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर है?
नहीं, यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर नहीं है।
Isaiah 45:22
क्या यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर है?
नहीं, यहोवा को छोड़ कर कोई और परमेश्वर नहीं है।
Isaiah 45:23
यहोवा ने किसकी शपथ खाई है?
यहोवा ने अपनी ही शपथ खाई है।
Isaiah 45:24
लोग क्या कहेंगे?
लोग कहेंगे कि यहोवा ही में धर्म और शक्ति है।
Isaiah 45:25
इस्राएल के वंश के साथ क्या होगा?
इस्राएल के सारे वंश के लोग यहोवा ही के कारण धर्मी ठहरेंगे, और उसकी महिमा करेंगे।
Isaiah 46
Isaiah 46:1-2
बेल और नबो क्या हैं?
वे प्रतिमाएँ है।
बेल और नबो को कौन उठाता है?
बेल और नबो की प्रतिमाएँ पशुओं पर लदी हैं।
Isaiah 46:3
याकूब के घराने को कौन उठाता है?
यहोवा याकूब के घराने को उठाता है।
यहोवा कब से याकूब के घराने को लिए फिरता आया है और कब तक उठाएगा?
यहोवा उन को उनकी उत्पत्ति से ही और जन्म से ही लिए फिरता आया है और उनके बाल पकने के समय तक उन्हें उठाए रहेगा।
Isaiah 46:4-5
यहोवा कब से याकूब के घराने को लिए फिरता आया है और कब तक उठाएगा?
यहोवा उन को उनकी उत्पत्ति से ही और जन्म से ही लिए फिरता आया है और उनके बाल पकने के समय तक उन्हें उठाए रहेगा।
Isaiah 46:6
लोग सोने और चांदी के साथ क्या करते हैं?
वे सुनार को मज़दूरी देकर उससे देवता बनवाते हैं।
Isaiah 46:7-8
क्या वह देवता उत्तर दे सकता है या उद्धार कर सकता है?
नहीं, वह न तो उत्तर दे सकता है और न ही विपत्ति से उद्धार कर सकता है।
Isaiah 46:9
यहोवा की तुलना किससे की जा सकती है? उसके तुल्य कौन है?
यहोवा ही परमेश्वर है और कोई नहीं। उसके तुल्य कोई भी नहीं है।
Isaiah 46:10-11
यहोवा परमेश्वर को मूरतों से क्या अलग करता है?
यहोवा अन्त की बात आदि से और अब तक नहीं हुई उस को बताता आया है यही तथ्य उसे मूरतों से अलग करता है।
Isaiah 46:12
यहोवा कठोर मनवालों के लिए क्या कर रहा है जो धर्म से दूर हैं?
यहोवा अपनी धार्मिकता समीप लाने पर है। वह सिय्योन का उद्धार करेगा और इस्राएल को महिमा देगा।
Isaiah 46:13
यहोवा कठोर मनवालों के लिए क्या कर रहा है जो धर्म से दूर हैं?
यहोवा अपनी धार्मिकता समीप लाने पर है। वह सिय्योन का उद्धार करेगा और इस्राएल को महिमा देगा।
Isaiah 47
Isaiah 47:1-4
कौन अब कोमल और सुकुमार नहीं कहलाएगा?
बाबेल की कुमारी बेटी अब फिर कोमल और सुकुमार नहीं कहलाएगी।
Isaiah 47:5
कसदियों की बेटी अब क्या नहीं कहलाएगी?
कसदियों की कुमारी बेटी अब फिर राज्य-राज्य की स्वामिनी न कहलाएगी।
Isaiah 47:6-8
यहोवा कसदियों से क्यों नाराज़ था?
हालाँकि यहोवा ने अपने लोगों को कसदियों के हाथों में दे दिया था, परन्तु उन्होंने उन पर कुछ दया न दिखाई और बूढ़ों पर उन्होंने अत्यन्त भारी जूआ रख दिया जिस कारण यहोवा कसदियों से नाराज़ था।
Isaiah 47:9
कसदियों की बेटी को एक दिन अचानक क्या होगा?
कसदियों की बेटी के एक ही दिन में अचानक लड़के जाते रहेंगे और वह विधवा हो जाएगी।
Isaiah 47:10
कसदियों की बेटी ने किस पर भरोसा रखा है?
कसदियों की बेटी ने अपनी दुष्टता पर भरोसा रखा।
Isaiah 47:11-13
क्या कसदियों के बेटी पर से विपत्ति और विनाश बचा नहीं सकता?
कसदियों के बेटी के मंत्र उसे आनेवाले विपत्ति और विनाश से बचा नहीं सकता।
Isaiah 47:14
ज्योतिषी जो नक्षत्रों को ध्यान से देखते और नए-नए चाँद को देखकर होनहार बताते हैं उनका क्या होगा?
ज्योतिषी जो नक्षत्रों को ध्यान से देखते और नए-नए चाँद को देखकर होनहार बताते हैं वे भूसे के समान होकर आग से भस्म हो जाएंगे।
Isaiah 47:15
कसदियों की पुत्री को कौन बचाएगा?
उसका बचानेवाला कोई न रहेगा।
Isaiah 48
Isaiah 48:1-2
याकूब का घराना क्या कहलाता है और वे किस से उत्पन्न हुए हैं?
वे इस्राएली कहलाते हैं और यहूदा से उत्पन्न हुए हैं।
इस्राएल क्या सच्चाई और धर्म से नहीं कर रहा?
इस्राएल यहोवा के नाम की शपथ खाते हैं और उसकी चर्चा भी करते हैं पर सच्चाई और धर्म से नहीं करते।
Isaiah 48:3
यह जानते हुए की इस्राएल हठीला है, यहोवा ने क्या किया?
यहोवा ने होनेवाली बातों को प्राचीनकाल से ही बताया था और उनकी चर्चा उसके मुंह से निकली, उसने अचानक उन्हें प्रगट किया और वे सचमुच हो गईं।
Isaiah 48:4
यह जानते हुए की इस्राएल हठीला है, यहोवा ने क्या किया?
यहोवा ने होनेवाली बातों को प्राचीनकाल से ही बताया था और उनकी चर्चा उसके मुंह से निकली, उसने अचानक उन्हें प्रगट किया और वे सचमुच हो गईं।
Isaiah 48:5-8
इन बातों को इस्राएल को उनके होने से पहले ही बताकर यहोवा क्या रोकना चाहता था?
यहोवा चाहता था कि इस्राएल यह न कहे कि, "यह मेरे देवता का काम है", या "मेरी खोदी और ढली हुई मूर्तियों की आज्ञा से यह हुआ।"
Isaiah 48:9
यहोवा अपने क्रोध के करने में विलम्ब क्यों करेगा और क्यों अपने आप को इस्राएल को काट डालने से रोकेगा?
वह ऐसा अपने नाम के निमित्त करेगा।
Isaiah 48:10-13
यहोवा ने इस्राएल को कैसे निर्मल किया?
यहोवा ने उसे दुःख की भट्टी में डालकर निर्मल किया है।
Isaiah 48:14
यहोवा ने किन्हें बुलाया और किस लिए?
यहोवा ने सब राष्ट्र मित्रों को बाबेल के विरुद्ध अपनी इच्छा पूरी करने के लिए इकट्ठा किया।
Isaiah 48:15-17
यहोवा ने किन्हें बुलाया और किस लिए?
यहोवा ने सब राष्ट्र मित्रों को बाबेल के विरुद्ध अपनी इच्छा पूरी करने के लिए इकट्ठा किया।
Isaiah 48:18-19
यदि इस्राएल ने यहोवा की आज्ञाएं मानी होतीं तो क्या हुआ होता?
यदि उन्होंने यहोवा की आज्ञाओं का पालन किया होता तो उनकी शान्ति नदी के समान और उनका धर्म समुद्र की लहरों के समान होता।
Isaiah 48:20-21
पृथ्वी के छोर तक किस बात का प्रचार करते हुए जाना है?
उन्हें इस बात का प्रचार करते हुए जाना है कि, "यहोवा ने अपने दास याकूब को छुड़ा लिया है।"
Isaiah 48:22
यहोवा ने क्या कहा किनके लिए कोई शान्ति नहीं?
यहोवा ने कहा दुष्टों के लिए कोई शान्ति नहीं।
Isaiah 49
Isaiah 49:1
यहोवा ने अपने दास इस्राएल के लिए क्या किया?
यहोवा ने माता के गर्भ से ही उसको नाम से बुलाया। उसने इस्राएल के मुंह को चोखी तलवार के समान बनाया और अपने हाथ की आड़ में उसे छिपा के रखा, उसने इस्राएल को चमकीला तीर बनाकर अपने तर्कश में गुप्त रखा।
Isaiah 49:2
यहोवा ने अपने दास इस्राएल के लिए क्या किया?
यहोवा ने माता के गर्भ से ही उसको नाम से बुलाया। उसने इस्राएल के मुंह को चोखी तलवार के समान बनाया और अपने हाथ की आड़ में उसे छिपा के रखा, उसने इस्राएल को चमकीला तीर बनाकर अपने तर्कश में गुप्त रखा।
Isaiah 49:3
यहोवा इस्राएल के द्वारा क्या करने वाला था?
यहोवा इस्राएल के द्वारा अपनी महिमा प्रगट करेगा।
Isaiah 49:4
इस्राएल यहोवा पर किस के सम्बन्ध में भरोसा कर रहा है?
इस्राएल कहता है कि उसका न्याय यहोवा के पास है और उसके परिश्रम का फल यहोवा के पास है।
Isaiah 49:5
इस्राएल का यहोवा के दास के रूप में क्या कार्य है?
इस्राएल का कार्य याकूब को यहोवा की ओर लौटा लाना है और इस्राएल को उसके पास इकट्ठा करना है।
Isaiah 49:6
यहोवा के दास के लिए क्या हलकी सी बात है?
यहोवा के दास के लिए याकूब के गोत्रों का उद्धार करना और उसके रक्षित लोगों को लौटा ले आना हलकी सी बात है।
यहोवा अपने दास के लिए और क्या करेगा?
वह उसे जाति-जाति के लिए ज्योति ठहराएगा कि उसका उद्धार पृथ्वी के एक छोर से दूसरे छोर तक फ़ैल जाए।
Isaiah 49:7
जो मनुष्यों से तुच्छ जाना जाता है, जिससे जातियों को घृणा है और जो अधिकारीयों का दास है उसका क्या होगा?
राजा उसे देखकर खड़े हो जाएंगे और हाकिम दण्डवत् करेंगे।
Isaiah 49:8-9
यहोवा कब अपने दास की सहायता करेगा और उसकी सुनेगा?
यहोवा ने अपनी प्रसन्नता के समय अपने दास की सुनी और उद्धार करने के दिन उसकी सहायता की है।
यहोवा के दास को किस उद्देश्य से लोगों के लिये एक वाचा ठहराया गया है?
उसे इसलिए वाचा ठहराया गया है कि देश को स्थिर करे और उजड़े हुए स्थानों को उनके अधिकारियों के हाथों में दे दे।
Isaiah 49:10-12
बन्दियों की अगुवाई कौन करेगा?
वह जो बन्दियों पर दया करता है वही उनका अगुवा होगा।
Isaiah 49:13
आकाश, पृथ्वी और पहाड़ों को मगन होकर और गला खोलकर जयजयकार क्यों करना चाहिए?
उन्हें मगन होकर और गला खोलकर जयजयकार इसलिए करना चाहिए क्योंकि यहोवा ने अपनी प्रजा को शान्ति दी है और अपने दीन लोगों पर दया की है।
Isaiah 49:14
जब सिय्योन ने शिकायत की कि ; "यहोवा ने मुझे त्याग दिया है, मेरा प्रभु मुझे भूल गया है*" तब यहोवा ने क्या उत्तर दिया?
यहोवा का सिय्योन को उत्तर था, "क्या कोई माता अपने दूधपीते बच्चे को भूल सकती है कि वह अपने जन्माए हुए लड़के पर दया न करे? हां, वह तो भूल सकती है परन्तु मैं नहीं भूल सकता।
Isaiah 49:15
जब सिय्योन ने शिकायत की कि ; "यहोवा ने मुझे त्याग दिया है, मेरा प्रभु मुझे भूल गया है*" तब यहोवा ने क्या उत्तर दिया?
यहोवा का सिय्योन को उत्तर था, "क्या कोई माता अपने दूधपीते बच्चे को भूल सकती है कि वह अपने जन्माए हुए लड़के पर दया न करे? हां, वह तो भूल सकती है परन्तु मैं नहीं भूल सकता।
Isaiah 49:16
यहोवा सिय्योन के प्रति अपनी चिंता के सबूत के रूप में क्या देता है?
यहोवा सबूत के रूप में यह बताता है: " देख, मैंने तेरा चित्र अपनी हथेलियों पर खोदकर बनाया है ; तेरी शहरपनाह सदैव मेरी दृष्टि के सामने बनी रहती है। तेरे लड़के फुर्ती से आ रहे हैं और खण्डहर बनानेवाले और उजाड़ने वाले तेरे बीच से निकले जा रहे हैं। अपनी आँखें चारों ओर उठाकर देख, वे सब इकट्ठे होकर तेरे पास आ रहे हैं।
Isaiah 49:17
यहोवा सिय्योन के प्रति अपनी चिंता के सबूत के रूप में क्या देता है?
यहोवा सबूत के रूप में यह बताता है: " देख, मैंने तेरा चित्र अपनी हथेलियों पर खोदकर बनाया है ; तेरी शहरपनाह सदैव मेरी दृष्टि के सामने बनी रहती है। तेरे लड़के फुर्ती से आ रहे हैं और खण्डहर बनानेवाले और उजाड़ने वाले तेरे बीच से निकले जा रहे हैं। अपनी आँखें चारों ओर उठाकर देख, वे सब इकट्ठे होकर तेरे पास आ रहे हैं।
Isaiah 49:18-19
यहोवा सिय्योन के प्रति अपनी चिंता के सबूत के रूप में क्या देता है?
यहोवा सबूत के रूप में यह बताता है: " देख, मैंने तेरा चित्र अपनी हथेलियों पर खोदकर बनाया है ; तेरी शहरपनाह सदैव मेरी दृष्टि के सामने बनी रहती है। तेरे लड़के फुर्ती से आ रहे हैं और खण्डहर बनानेवाले और उजाड़ने वाले तेरे बीच से निकले जा रहे हैं। अपनी आँखें चारों ओर उठाकर देख, वे सब इकट्ठे होकर तेरे पास आ रहे हैं।
Isaiah 49:20
सिय्योन के नाश के समय के दौरान पैदा हुए पुत्र क्या कहेंगे?
वे कहेंगे कि, "यह स्थान हमारे लिए छोटा है, हमें और स्थान दे कि उसमें रहें।"
Isaiah 49:21
सिय्योन अपने आप से क्या पूछेगी?
वह पूछेगी, "किसने इनको मेरे लिए जन्माया?" और "इनको किसने पाला?" और अंत में, "ये कहाँ से आए थे?"
Isaiah 49:22-23
कौन सिय्योन के पुत्र पुत्रियों को लौटा लाएगा?
जाति-जाति के लोग उसे लौटा लाएंगे।
Isaiah 49:24
क्या वीर के हाथ से शिकार छीना जा सकता है या दुष्ट के बन्दी छुड़ाए जा सकते हैं?
हाँ, वीर के बन्दी उससे छीन लिए जाएंगे और दुष्ट का शिकार उसके हाथ से छुड़ा लिया जाएगा; क्योंकि यहोवा सिय्योन के विरोधियों का विरोध करेगा और उसके बाल-बच्चों का उद्धार करेगा।
Isaiah 49:25
क्या वीर के हाथ से शिकार छीना जा सकता है या दुष्ट के बन्दी छुड़ाए जा सकते हैं?
हाँ, वीर के बन्दी उससे छीन लिए जाएंगे और दुष्ट का शिकार उसके हाथ से छुड़ा लिया जाएगा; क्योंकि यहोवा सिय्योन के विरोधियों का विरोध करेगा और उसके बाल-बच्चों का उद्धार करेगा।
Isaiah 49:26
यहोवा सिय्योन पर अंधेर करनेवालों के साथ क्या करेगा?
यहोवा अंधेर करनेवालों को उन्हीं का मांस खिलाएगा।
सब प्राणी क्या जान लेंगे?
वे जान लेंगे कि सिय्योन का उद्धारकर्ता और छुड़ानेवाला, याकूब का शक्तिमान यहोवा ही है।
Isaiah 50
Isaiah 50:1
सिय्योन को क्यों बेचा गया था और उसकी माँ क्यों छोड़ दी गई?
सिय्योन को उसके पापों के कारण बेचा गया था और अपने ही अपराधों के कारण उसकी माता छोड़ दी गई थी।
Isaiah 50:2
यहोवा की एक डांट से क्या होता है?
यहोवा की एक डांट से समुन्द्र को सुखा देता है और महानदों को रेगिस्तान बना देता है। वह आकाश को मानो शोक का काला कपड़ा पहनाता और टाट को उनका ओढ़ना बना देता है।
Isaiah 50:3
यहोवा की एक डांट से क्या होता है?
यहोवा की एक डांट से समुन्द्र को सुखा देता है और महानदों को रेगिस्तान बना देता है। वह आकाश को मानो शोक का काला कपड़ा पहनाता और टाट को उनका ओढ़ना बना देता है।
Isaiah 50:4
यहोवा ने अपने दास को क्या दिया है?
यहोवा ने उसे शिष्य के समान सीखनेवालों की जीभ दी है।
यहोवा का दास उसकी दी हुई जीभ से क्या करता है?
यहोवा का दास उसकी जीभ से थके हुओं को अपने वचन के द्वारा सम्भालता है।
Isaiah 50:5
क्योंकि यहोवा का दास विरोध करने वाला और पीछे हटने वाला नहीं था उसने क्या किया?
उसने मारनेवालों को अपनी पीठ और गलमोछ नोचने वालों की ओर अपने गाल किए; अपमानित होने और थूकने से उसने अपना मुंह न छिपाया।
Isaiah 50:6
क्योंकि यहोवा का दास विरोध करने वाला और पीछे हटने वाला नहीं था उसने क्या किया?
उसने मारनेवालों को अपनी पीठ और गलमोछ नोचने वालों की ओर अपने गाल किए; अपमानित होने और थूकने से उसने अपना मुंह न छिपाया।
Isaiah 50:7-8
यहोवा का दास क्यों कहता है कि वह लज्जित नहीं हुआ?
यहोवा का दास कहता है कि वह लज्जित नहीं हुआ क्योंकि यहोवा उसकी सहायता करता है।
Isaiah 50:9
जो लोग यहोवा के दास पर दोष लगाते हैं उनका क्या होगा?
वे सब कपड़े के समान पुराने हो जाएंगे; उनको कीड़े खा जाएंगे।
Isaiah 50:10
वह जो यहोवा का भय मानता, उसके दास की बातें सुनता, जो अंधियारे में चलता हो और उसके पास ज्योति न हो उसे क्या करना चाहिए?
उसे यहोवा के नाम का भरोसा रखना चाहिए और उस पर आशा लगाए रहनी चाहिए।
Isaiah 50:11
यहोवा का दास आग जलाने वालों और अग्निबाणों को कमर में बांधते हैं क्या करेगा?
यहोवा के दास की ओर से उनकी यह दशा होगी कि वे संताप में पड़े रहेंगे।
Isaiah 51
Isaiah 51:1
यहोवा ने धार्मिकता पर चलनेवालों को किस पर ध्यान देने को कहा?
यहोवा ने कहा कि वे जिस चट्टान में से खोदे गए और जिस खदान में से निकाले गए, उस पर ध्यान दे।
Isaiah 51:2-5
यहोवा ने अब्राहम को क्या किया?
यहोवा ने उसे बुलाया, आशीष दी और उसे बढ़ा दिया।
Isaiah 51:6
आकाश, पृथ्वी और उसके रहनेवालों को क्या होगा?
आकाश धुंए के समान लोप हो जाएगा, पृथ्वी कपड़े के समान पुरानी हो जाएगी और उसके रहनेवाले मखियों के समान जाते रहेंगे।
क्या सर्वदा ठहरेगा और उसका कभी अन्त न होगा?
जो उद्धार यहोवा करेगा वह सर्वदा रहेगा और उसके धर्म का अन्त कभी न होगा।
Isaiah 51:7-8
यह कथन किसके लिए कहा गया है: "मनुष्यों की नामधराई से मत डरो और उनके निन्दा करने से विस्मित न हो"?
धर्म के जाननेवाले जिनके मन में यहोवा की व्यवस्था है यह कथन उनसे कहा गया है।
Isaiah 51:9
अजगर को किसने छेदा, समुन्द्र के जल को सुखा डाला और उसकी गहराई में अपने छुड़ाए हुओं के लिए पार जाने का मार्ग निकाला था?
यहोवा की भुजा ने यह सब किया।
Isaiah 51:10
अजगर को किसने छेदा, समुन्द्र के जल को सुखा डाला और उसकी गहराई में अपने छुड़ाए हुओं के लिए पार जाने का मार्ग निकाला था?
यहोवा की भुजा ने यह सब किया।
Isaiah 51:11-13
यहोवा के छुड़ाए हुए लोग जब सिय्योन में आएंगे तो किसका अन्त हो जाएगा और वे क्या प्राप्त करेंगे?
वे हर्ष और आनन्द प्राप्त करेंगे और शोक और सिसकियों का अन्त हो जाएगा।
Isaiah 51:14-16
बन्दी के लिए यहोवा क्या करेगा?
यहोवा उसे स्वतंत्र करने के लिए शीघ्रता करेंगा।
Isaiah 51:17
यरूशलेम ने यहोवा के हाथ से क्या पिया है?
उन्होंने यहोवा की जलजलाहट के कटोरे से पिया है; उन्होंने कटोरे का लड़खड़ा देनेवाला मद पूरा का पूरा ही पी लिया है।
Isaiah 51:18-22
जितने लड़कों को यरूशलेम ने जन्म दिया उनमें से कौन उसकी अगुवाई करने के लिए जन्मा?
उनमें से कोई न रहा जो उसकी अगुवाई करके ले चले।
Isaiah 51:23
लड़खड़ा देनेवाले मद के कटोरे को यरूशलेम के हाथ से लेने के बाद यहोवा उसे किसके हाथ में देगा?
वह उसे यरूशलेम को दुःख देनेवाले के हाथ में दे देगा।
Isaiah 52
Isaiah 52:1-3
यरूशलेम को फिर कभी क्या न होगा?
उसके बीच फिर कभी खतनारहित और अशुद्ध लोग प्रवेश न करने पाएंगे।
Isaiah 52:4
किसने यरूशलेम पर अत्याचार किया था?
अश्शूरियों ने यरूशलेम पर अत्याचार किया था।
Isaiah 52:5
उस दिन यहोवा की प्रजा उसका नाम क्यों जान लेगी?
वह यहोवा का नाम इसलिए जान लेगी क्योंकि उसके नाम की निन्दा लगातार दिन भर होती रहती है।
Isaiah 52:6-7
उस दिन यहोवा की प्रजा उसका नाम क्यों जान लेगी?
वह यहोवा का नाम इसलिए जान लेगी क्योंकि उसके नाम की निन्दा लगातार दिन भर होती रहती है।
Isaiah 52:8
यहोवा की सिय्योन में वापसी कौन देखेगा?
सिय्योन के पहरूए यहोवा को सिय्योन लौटता साक्षात देखेंगे।
Isaiah 52:9
यरूशलेम के खण्डहरों को एक साथ उमंग में जयजयकार क्यों करनी चाहिए?
उन्हें ऐसा इसलिए करना चाहिए क्योंकि यहोवा ने अपनी प्रजा को शान्ति दी है; उसने यरूशलेम को छुड़ा लिया है। यहोवा ने सारी जातियों के सामने अपनी पवित्र भुजा प्रगट की है।
Isaiah 52:10
यरूशलेम के खण्डहरों को एक साथ उमंग में जयजयकार क्यों करनी चाहिए?
उन्हें ऐसा इसलिए करना चाहिए क्योंकि यहोवा ने अपनी प्रजा को शान्ति दी है; उसने यरूशलेम को छुड़ा लिया है। यहोवा ने सारी जातियों के सामने अपनी पवित्र भुजा प्रगट की है।
Isaiah 52:11
यहोवा के पात्रों को ढोनेवालों को क्या करना है?
उन्हें वहां से निकल जाना है बिना किसी अशुद्ध वस्तु को छुए और अपने को शुद्ध करना है।
Isaiah 52:12
यहोवा की प्रजा को उतावली से क्यों नहीं निकलने और क्यों भागते हुए नहीं चलने की आवश्यकता क्यों नहीं है?
यहोवा की प्रजा को उतावली से नहीं निकलने और भागते हुए नहीं चलने की आवश्यकता है क्योंकि यहोवा उनके आगे-आगे उनकी अगुवाई करता हुआ चलेगा और इस्राएल का परमेश्वर उनके पीछे भी रक्षा करता चलेगा।
Isaiah 52:13
यहोवा का दास क्या करेगा?
वह बुद्धि से काम करेगा, वह ऊंचा, महान और अति महान हो जाएगा।
Isaiah 52:14
यहोवा के दास के रूप को क्या हुआ?
उसका रूप यहाँ तक बिगड़ा हुआ था कि वह मनुष्य का सा न जान पड़ता था।
Isaiah 52:15
यहोवा के दास के कारण राजा क्या करेंगे?
उसके कारण राजा शान्त रहेंगे।
Isaiah 53
Isaiah 53:2
यहोवा का दास किस प्रकार बड़ा हुआ?
वह यहोवा के सामने अंकुर के समान और ऐसी जड़ के समान उगा जो निर्जल भूमि में फूट निकले।
यहोवा का दास किस प्रकार दिखता था?
उसकी न तो कोई सुन्दरता थी कि हम उसको देखते और न उसका रूप ही हमें ऐसा दिखाई पड़ा कि हम उसको चाहते।
Isaiah 53:3
यहोवा का दास लोगों के द्वारा किस प्रकार अपनाया गया?
वह तुच्छ जाना जाता और मनुष्यों का त्यागा हुआ था और लोगों ने उसका मूल्य न जाना।
Isaiah 53:4
यहोवा के दास ने हमारे लिए क्या किया?
उसने हमारे रोगों को सहा और दुखों को उठा लिया।
Isaiah 53:5
यहोवा का दास क्यों घायल किया और कुचला गया?
वह हमारे अपराधों के कारण घायल किया गया और हमारे अधर्म के कामों के कारण कुचला गया।
दास को दी गई ताड़ना और घावों से हमें क्या मिला?
उसको दी गई ताड़ना से हमें शान्ति मिली और उसके घावों से हमें चंगाई मिली।
Isaiah 53:6-7
हम किस प्रकार भेड़ों के समान हैं?
हम भेड़ों के समान भटक गए थे; हम में से हरेक ने अपना-अपना मार्ग लिया था।
Isaiah 53:8
यहोवा के दास को किस प्रकार सताया गया?
अत्याचार करके और दोष लगाकर उसे सताया गया।
यहोवा के दास को जीवतों के बीच में से क्यों उठा लिया गया?
अपने लोगों के अपराधों के कारण उस पर मार पड़ी।
Isaiah 53:9
क्या यहोवा के दास ने कोई अपराध किया था?
नहीं। उसने किसी भी प्रकार का कोई उपद्रव नहीं किया था और न ही कभी उसके मुंह से कोई छल की बात निकली थी।
Isaiah 53:10-11
यहोवा के दास का कुचला जाना उसको क्यों भाया?
यह यहोवा को भाया क्योंकि उसके हाथ से यहोवा की इच्छा पूरी हो जाएगी।
Isaiah 53:12
यहोवा अपने दास को महान लोगों के संग भाग क्यों देगा?
यहोवा अपने दास को अपना भाग देगा क्योंकि उसने अपना प्राण मृत्यु के लिए उंडेल दिया और अपराधियों के संग गिना गया। उसने बहुतों के पाप का बोझ उठा लिया और अपराधियों के लिए विनती करता है।
Isaiah 54
Isaiah 54:1-2
यहोवा क्यों कहता है कि बाँझ स्त्री को जयजयकार करना चाहिए?
वह कहता है कि उसको जयजयकार करना चाहिए क्योंकि त्यागी हुई के लड़के सुहागिन के लड़कों से अधिक होंगे।
Isaiah 54:3-4
सिय्योन का वंश क्या करेगा?
उसका वंश जाति-जाति का अधिकारी होगा और उजड़े हुए नगरों को फिर से बसाएगा।
Isaiah 54:5-6
सिय्योन का पति कौन है?
सेनाओं का यहोवा, सिय्योन का कर्ता, उसका पति है।
Isaiah 54:7-8
यहोवा ने इस्राएल को क्या किया?
उसने इस्राएल को क्षण भर के लिए छोड़ दिया था।
यहोवा इस्राएल के लिए क्या करेगा?
बड़ी दया करके अब वह उसे फिर एकत्र करेगा।
Isaiah 54:9
यहोवा ने इस्राएल के सम्बन्ध में क्या शपथ खाई?
यहोवा ने शपथ खाई कि फिर कभी इस्राएल पर क्रोध न करेगा और न उसे धमकी देगा।
Isaiah 54:10-13
इस्राएल से कभी क्या नहीं हटेगा और न टलेगा?
यहोवा की करुणा उस पर से कभी न हटेगी और उसकी शान्तिदायक वाचा उस पर से कभी न टलेगी।
Isaiah 54:14
इस्राएल किससे बचेगी?
इस्राएल अंधेर से और भयभीत होने से बचेगी।
Isaiah 54:15-16
जो लोग इस्राएल के विरुद्ध भीड़ लगाएंगे उनका क्या होगा?
जितने इस्राएल के विरुद्ध भीड़ लगाएंगे वे उसके कारण गिरेंगे।
Isaiah 54:17
जितने लोग मुद्दई होकर इस्राएल पर नालिश करें उनका क्या होगा?
उन सभों को इस्राएल दोषी ठहराएगा।
Isaiah 55
Isaiah 55:1
जिनके पास रुपया न हो उन्हें क्या खरीदने के लिए कहा गया है?
उन्हें दाखमधु और दूध बिन रुपये और बिना दाम ही आकर लेने के लिए कहा गया है।
Isaiah 55:2
प्यासों को क्या खाने के लिए कहा गया है?
उन्हें उत्तम वस्तुएं खाने के लिए कहा गया है।
Isaiah 55:3
यहोवा ने किसे राज्य-राज्य के लोगों के लिए साक्षी और प्रधान और आज्ञा देनेवाला ठहराया है?
यहोवा ने दाऊद को ठहराया है।
Isaiah 55:4
यहोवा ने किसे राज्य-राज्य के लोगों के लिए साक्षी और प्रधान और आज्ञा देनेवाला ठहराया है?
यहोवा ने दाऊद को ठहराया है।
Isaiah 55:5
ऐसी जातियां जो इस्राएल को नहीं जानती क्यों उसके पास दौड़ी आएंगी?
वे इस्राएल के पास इसलिए दौड़ी आएंगी क्योंकि वे इस्राएल के परमेश्वर यहोवा और इस्राएल के पवित्र के निमित्त यह करेंगी क्योंकि उसने उन्हें शोभायमान किया है।
Isaiah 55:6
इस्राएल को यहोवा की खोज में क्यों रहना चाहिए और क्यों उसे पुकारना चाहिए?
जब तक यहोवा मिल सकता है तब तक उसकी खोज में रहें और जब तक वह निकट है उसे पुकारें।
Isaiah 55:7
दुष्ट और अनर्थकारी क्या करेगा?
दुष्ट अपनी चालचलन और अनर्थकारी अपने सोच-विचार छोड़ें।
यहोवा उसकी ओर फिरने वाले के साथ क्या करेगा?
यहोवा उस पर दया करेगा और पूरी रीति से उसको क्षमा करेगा।
Isaiah 55:8
यहोवा के विचार और गति इस्राएल के विचार और गति एक से क्यों नहीं हैं?
ऐसा इसलिए है क्योंकि यहोवा की और उनकी गति और सोच-विचार में आकाश और पृथ्वी का अन्तर है।
Isaiah 55:9-10
यहोवा के विचार और गति इस्राएल के विचार और गति एक से क्यों नहीं हैं?
ऐसा इसलिए है क्योंकि यहोवा की और उनकी गति और सोच-विचार में आकाश और पृथ्वी का अन्तर है।
Isaiah 55:11
यहोवा के मुख से निकले वचन का क्या होगा?
जो यहोवा की इच्छा है उसे वह पूरा करेगा और जिस काम के लिए यहोवा ने उसे भेजा है उसे वह सफ़ल करेगा।
Isaiah 55:12
कौन सा चिन्ह है जो सदा के लिए होगा और कभी न मिटेगा?
वह चिन्ह यह है : इस्राएल आनन्द और शान्ति के साथ पहुँचाया जाएगा। उनके आगे-आगे पहाड़ और पहाड़ियां गला खोलकर जयजयकार करेंगी। मैदान के सब वृक्ष आनन्द के मारे ताली बजाएँगे। भटकटैयों के बदले सनौवर उगेंगे; और बिच्छू के पेड़ों के बदले मेंहदी उगेगी।
Isaiah 55:13
कौन सा चिन्ह है जो सदा के लिए होगा और कभी न मिटेगा?
वह चिन्ह यह है : इस्राएल आनन्द और शान्ति के साथ पहुँचाया जाएगा। उनके आगे-आगे पहाड़ और पहाड़ियां गला खोलकर जयजयकार करेंगी। मैदान के सब वृक्ष आनन्द के मारे ताली बजाएँगे। भटकटैयों के बदले सनौवर उगेंगे; और बिच्छू के पेड़ों के बदले मेंहदी उगेगी।
Isaiah 56
Isaiah 56:1
यहोवा ने क्यों न्याय का पालन और धर्म के काम करने के लिए कहा?
उसने ऐसा इसलिए कहा क्योंकि वह शीघ्र उनका उद्धार करेगा और उसका धर्मी होना प्रगट होगा।
Isaiah 56:2
यहोवा ने क्यों न्याय का पालन और धर्म के काम करने के लिए कहा?
उसने ऐसा इसलिए कहा क्योंकि वह शीघ्र उनका उद्धार करेगा और उसका धर्मी होना प्रगट होगा।
Isaiah 56:3
जो परदेशी और खोजे यहोवा से मिल गए हैं उन्हें क्या नहीं कहना चाहिए?
परदेशी न कहें कि ,"यहोवा हमें अपनी प्रजा से अलग करेगा" और खोजे न कहें कि,"हम तो सूखे वृक्ष हैं।"
Isaiah 56:4
जो खोजे यहोवा के विश्राम दिन को मानते हैं, उसे प्रसन्न करते और उसकी वाचा का पालन करते हैं उनके लिए वह क्या करेगा?
यहोवा अपने भवन और शहरपनाह के भीतर उनको ऐसा नाम देगा जो पुत्र-पुत्रियों से कहीं उतम होगा।
Isaiah 56:5
जो खोजे यहोवा के विश्राम दिन को मानते हैं, उसे प्रसन्न करते और उसकी वाचा का पालन करते हैं उनके लिए वह क्या करेगा?
यहोवा अपने भवन और शहरपनाह के भीतर उनको ऐसा नाम देगा जो पुत्र-पुत्रियों से कहीं उतम होगा।
Isaiah 56:6
परदेशी जो यहोवा के साथ इच्छा से मिले हुए हैं कि उसकी सेवा-टहल करें और यहोवा के नाम से प्रीति रखें और उसके दास हो जाएं जो विश्रामदिन को अपवित्र करने से बचे रहते और उसकी वाचा का पालन करते हैं उनके लिए वह क्या करेगा?
उनको वह पवित्र पर्वत ले आकर अपने प्रार्थना के भवन में आनन्दित करेगा; उनके होमबलि और मेलबलि उसकी वेदी पर ग्रहण किए जाएँगे।
Isaiah 56:7-9
परदेशी जो यहोवा के साथ इच्छा से मिले हुए हैं कि उसकी सेवा-टहल करें और यहोवा के नाम से प्रीति रखें और उसके दास हो जाएं जो विश्रामदिन को अपवित्र करने से बचे रहते और उसकी वाचा का पालन करते हैं उनके लिए वह क्या करेगा?
उनको वह पवित्र पर्वत ले आकर अपने प्रार्थना के भवन में आनन्दित करेगा; उनके होमबलि और मेलबलि उसकी वेदी पर ग्रहण किए जाएँगे।
Isaiah 56:10
किसकी तुलना गूंगे कुत्तों से की गई है?
उनकी पहरुओं की तुलना गूंगे कुत्तों से की गई है।
Isaiah 56:11-12
उनके पहरुओं और चरवाहों ने क्या किया है?
उन सभों ने अपने-अपने लाभ के लिए अपना-अपना मार्ग लिया है।
Isaiah 57
Isaiah 57:1
जब धर्मी जन नष्ट होता है तो कोई किस बात की चिन्ता नहीं करता या सोचता नहीं?
वे इस बात कि चिन्ता नहीं करते या नहीं सोचते कि धर्मी जन इसलिए उठा लिया गया कि आनेवाली आपत्ति से बच जाए और वह शान्ति में पहुँच जाए।
Isaiah 57:2
जब धर्मी जन नष्ट होता है तो कोई किस बात की चिन्ता नहीं करता या सोचता नहीं?
वे इस बात कि चिन्ता नहीं करते या नहीं सोचते कि धर्मी जन इसलिए उठा लिया गया कि आनेवाली आपत्ति से बच जाए और वह शान्ति में पहुँच जाए।
Isaiah 57:3
कौन केवल हंसी उड़ाता और मुंह खोलकर जीभ निकालता है?
जादूगरनी के पुत्र, व्यभिचारी और व्यभिचारिणी की सन्तान ऐसा करते हैं।
Isaiah 57:4
कौन केवल हंसी उड़ाता और मुंह खोलकर जीभ निकालता है?
जादूगरनी के पुत्र, व्यभिचारी और व्यभिचारिणी की सन्तान ऐसा करते हैं।
Isaiah 57:5
इन पाखण्डी और झूठे के वंश कहलाए जाने वाले के वंश ने और क्या किया ?
वे सब हरे वृक्षों के तले देवताओं के कारण कामातुर होते थे। उन्होंने चट्टानों की दरारों के बीच अपने बाल-बच्चों का वध किया।
Isaiah 57:6-7
वे किसकी आराधना करते हैं?
वे नालों के चिकने पत्थरों की आराधना करते हैं।
Isaiah 57:8-12
अन्धेर करने वालों और बलवा करने वालों ने यहोवा के सम्बन्ध में क्या किया?
उन्होंने यहोवा को त्याग दिया।
Isaiah 57:13-14
यहोवा इन अधर्मी और बलवा करने वालों के दोहाई देने पर इन्हें क्या बताएगा?
यहोवा उन्हें बताएगा कि जिन मूर्तियों को उन्होंने जमा किया है वे ही उन्हें छुड़ाएं।
इन अधर्मी और बलवा करने वालों को क्या होगा?
वे सब के सब वायु की एक ही फूंक से उड़ जाएंगे।
जो यहोवा की शरण लेगा उसे क्या होगा?
जो यहोवा की शरण लेगा वह देश का अधिकारी होगा और उसके पवित्र पर्वत का भी अधिकारी होगा।
Isaiah 57:15
यहोवा के ऊँचे और पवित्र स्थान में उसके साथ कौन निवास करता है?
जो खेदित और नम्र हैं वे यहोवा के ऊँचे और पवित्र स्थान में उसके साथ निवास करता है।
Isaiah 57:16
यदि यहोवा मनुष्य पर सदा मुकद्दमा लड़ता रहेगा तो क्या होगा?
मनुष्य की आत्मा यहोवा के सामने मूर्छित हो जाएगी।
Isaiah 57:17
यहोवा मनुष्य से क्यों क्रोधित होगा?
यहोवा मनुष्य के लोभ के पाप के कारण उनसे क्रोधित होगा।
Isaiah 57:18
यद्यपि यहोवा ने मनुष्य की चाल देखा है, फिर भी वह मनुष्य के लिए क्या करने जा रहा है?
यहोवा ने कहा कि वह उन्हें चंगा करेगा।
Isaiah 57:19-20
यद्यपि यहोवा ने मनुष्य की चाल देखा है, फिर भी वह मनुष्य के लिए क्या करने जा रहा है?
यहोवा ने कहा कि वह उन्हें चंगा करेगा।
Isaiah 57:21
किसके लिए कोई शान्ति नहीं है?
दुष्टों के लिए कोई शान्ति नहीं है।
Isaiah 58
Isaiah 58:1
यहोवा ने याकूब के घराने को क्या जताने के लिए आज्ञा दी?
उसने आज्ञा दिया कि याकूब के घराने को उसका अपराध और पाप जता दे।
Isaiah 58:2
याकूब के घराने ने यहोवा की खोज कैसे की?
वे प्रतिदिन उसके पास उसकी गति जानने की इच्छा ऐसे रखते हैं कि मानो वे धर्मी हों और परमेश्वर के नियमों को नहीं टाला।
Isaiah 58:3
याकूब के घराने ने उपवास रखने और दुःख उठाने सम्बन्धी क्या शिकायत की?
उनकी शिकायत थी कि उन्होंने उपवास रखा और दुःख उठाया पर यहोवा ने उनकी कोई सुधि न ली और न ध्यान दिया।
यहोवा ने क्या कहा कि याकूब के घराने ने अपने उपवास के दिन में किया?
यहोवा ने कहा कि उनके उपवास के दिन उन्होंने अपनी ही इच्छा पूरी की और अपने सेवकों से कठिन कामों को कराया।
Isaiah 58:4-5
यहोवा ने क्या कहा कि याकूब के घराने का उपवास करने का कारण न था?
यहोवा ने कहा कि याकूब के घराने उनकी प्रार्थना ऊपर सुनाई देने के लिए उपवास नहीं कर रहे थे।
Isaiah 58:6
यहोवा किस उपवास से प्रसन्न होता है?
जिस उपवास से यहोवा प्रसन्न होता है वह यह है कि अन्याय से बने हुए दासों, और अन्धेर सहनेवालों का जूआ तोड़कर उनको छुड़ा लेना, अपनी रोटी भूखों को बांट देना, अनाथ और मरे-मारे फिरते हुओं को अपने घर ले आना, किसी को नंगा देखकर वस्त्र पहनाना और अपने जाति भाइयों से अपने को न छिपाना।
Isaiah 58:7-8
यहोवा किस उपवास से प्रसन्न होता है?
जिस उपवास से यहोवा प्रसन्न होता है वह यह है कि अन्याय से बने हुए दासों, और अन्धेर सहनेवालों का जूआ तोड़कर उनको छुड़ा लेना, अपनी रोटी भूखों को बांट देना, अनाथ और मरे-मारे फिरते हुओं को अपने घर ले आना, किसी को नंगा देखकर वस्त्र पहनाना और अपने जाति भाइयों से अपने को न छिपाना।
Isaiah 58:9
यदि याकूब का घराना अन्धेर करना और ऊँगली उठाना और दुष्ट बातें बोलना छोड़ दे, उदारता से भूखों की सहायता करे और दीन-दुखियों को संतुष्ट करे तो यहोवा क्या करेगा?
यदि वे ऐसा करेंगे तो अंधियारे में उनका प्रकाश चमकेगा, और उनका घोर अंधकार दोपहर का सा उजियाला हो जाएगा।
Isaiah 58:10-14
यदि याकूब का घराना अन्धेर करना और ऊँगली उठाना और दुष्ट बातें बोलना छोड़ दे, उदारता से भूखों की सहायता करे और दीन-दुखियों को संतुष्ट करे तो यहोवा क्या करेगा?
यदि वे ऐसा करेंगे तो अंधियारे में उनका प्रकाश चमकेगा, और उनका घोर अंधकार दोपहर का सा उजियाला हो जाएगा।
Isaiah 59
Isaiah 59:1
क्या यहोवा हमारा उद्धार कर सकता है? क्या वह हमें सुनता है?
यहोवा का हाथ ऐसा छोटा नहीं हो गया कि उद्धार न कर सके; न वह ऐसा बहरा हो गया है कि सुन न सके।
Isaiah 59:2
यहोवा ने याकूब के घराने कि क्यों न सुनी या क्यों उनका उद्धार नहीं किया?
उनके अधर्म के कामों ने उनको परमेश्वर से अलग कर दिया है और उनके पापो के कारण यहोवा ने अपना मुंह उनसे ऐसा छुपा लिया है कि वह उनकी नहीं सुनता।
Isaiah 59:3
याकूब के घराने ने कौन सा पाप किया जिसने उसे यहोवा से अलग कर दिया?
उन पापों में से कुछ जो उन्हें यहोवा से अलग करते थे वह यह है: उन्होंने अपने हाथ हत्या से अपवित्र कर दिए थे। वे मुँह से झूठ और उनके जीभ से कुटिल बातें निकलती थी। वे दुष्ट और बेईमान थे। उत्पात का उन्हें गर्भ रहता।
Isaiah 59:4-7
याकूब के घराने ने कौन सा पाप किया जिसने उसे यहोवा से अलग कर दिया?
उन पापों में से कुछ जो उन्हें यहोवा से अलग करते थे वह यह है: उन्होंने अपने हाथ हत्या से अपवित्र कर दिए थे। वे मुँह से झूठ और उनके जीभ से कुटिल बातें निकलती थी। वे दुष्ट और बेईमान थे। उत्पात का उन्हें गर्भ रहता।
Isaiah 59:8-14
टेढ़े पथ पर चलने वालों का क्या होगा?
जो कोई टेढ़े पथ पर चले वह शान्ति न पाएगा।
Isaiah 59:15
जो बुराई से भागता है उसका क्या होता है?
वह शिकार हो जाता है।
यहोवा को क्या अप्रसन्न करता है?
यहोवा ने बुरा माना क्योंकि न्याय जाता रहा।
Isaiah 59:16
जब यहोवा ने देखा कि कोई विनती करनेवाला नहीं है तब यहोवा ने क्या किया?
जब यहोवा ने देखा कि कोई विनती करनेवाला नहीं है तब उसने अपने ही भुजबल से उद्धार किया।
Isaiah 59:17
फिर यहोवा ने क्या किया?
उसने धार्मिकता को झिलम के समान पहन लिया और उसके सिर पर उद्धार का टोप रखा गया। उसने बदला लेने का वस्त्र धारण किया और जलजलाहट को बागे के समान पहन लिया। उनके कर्मों के अनुसार उसने उनको फल दिया, अपने द्रोहियों पर उसने अपना क्रोध भड़काया, और अपने शत्रुओं को उनका बदला दिया, द्वीपवासियों को भी दण्ड देकर प्रतिफल दिया।
Isaiah 59:18
फिर यहोवा ने क्या किया?
उसने धार्मिकता को झिलम के समान पहन लिया और उसके सिर पर उद्धार का टोप रखा गया। उसने बदला लेने का वस्त्र धारण किया और जलजलाहट को बागे के समान पहन लिया। उनके कर्मों के अनुसार उसने उनको फल दिया, अपने द्रोहियों पर उसने अपना क्रोध भड़काया, और अपने शत्रुओं को उनका बदला दिया, द्वीपवासियों को भी दण्ड देकर प्रतिफल दिया।
Isaiah 59:19
यहोवा द्वारा उनके किए का फल उनको देने का क्या परिणाम होगा?
तब पश्चिम की ओर के लोग यहोवा के नाम का और पूर्व की ओर उसकी महिमा का भय मानेंगे।
Isaiah 59:20
छुड़ानेवाला किसके पास आएगा?
याकूब में जो अपराध से मन फिराते हैं उनके लिए सिय्योन में एक छुड़ानेवाला आएगा।
Isaiah 59:21
यहोवा ने उनके साथ क्या वाचा बांधी है?
यह वाचा बांधी है: यहोवा की आत्मा जो तुझ पर ठहरा है, और मेरे वचन जो तेरे मुंह में डाले हैं अब से लेकर सर्वदा तक वे तेरे मुंह से और तेरे पुत्रों और पोतों के मुंह से कभी न हटेंगे।
Isaiah 60
Isaiah 60:2
चाहे पृथ्वी पर घोर अन्धियारा छा जाए, यहोवा इस्राएल के लिए क्या करेगा?
उसके ऊपर यहोवा उदय होगा और उसका तेज उस पर प्रगट होगा।
Isaiah 60:3-4
इस्राएल के प्रकाश के लिए कौन आया?
जाति-जाति उसके पास प्रकाश के लिए और राजा उनके आरोहण के प्रताप की ओर आएंगे।
Isaiah 60:5-8
इस्राएल क्यों देखेगा और उसका मुख क्यों चमकेगा, उसका हृदय क्यों थरथराएगा और आनन्द से भर जाएगा?
ऐसा इस लिया होगा क्योंकि समुन्द्र का सारा धन और जाति जाति की धन सम्पत्ति उस को मिलेगी।
Isaiah 60:9
इस्राएल के पुत्रों को दूर से पहुँचाने में कौन अगुवाई करेगा?
तर्शीश के जहाज़ पहले आएंगे।
Isaiah 60:10
कौन यहोवा की शहरपनाह को उठाएंगे और उनकी सेवा-टहल करेंगे?
परदेशी लोग उसकी शहरपनाह को उठाएंगे और उनके राजा उसकी सेवा-टहल करेंगे।
Isaiah 60:11
उसके फाटक सदैव क्यों खुले रहेंगे?
उसके फाटक सदैव खुले रहेंगे ताकि जाति-जाति की धन-सम्पत्ति उसके पास पहुंचाए जाएं।
Isaiah 60:12-14
जो जाति और राज्य के लोग उसकी सेवा न करें उनको क्या होगा?
वे नष्ट हो जाएंगे और उनका पूरी रीति से सत्यानाश हो जाएगा।
Isaiah 60:15-17
यहोवा, यहोवा के नगर को क्या बनाएगा?
वह उसे सदा के घमण्ड का और पीढ़ी-पीढ़ी के हर्ष का कारण बनाएगा।
Isaiah 60:18
सिय्योन में फिर कभी क्या चर्चा न सुनाई पड़ेगी?
उनकी भूमि में फिर कभी उपद्रव या उनके सीमा के भीतर कभी उत्पात या अन्धेर की चर्चा न सुनाई पड़ेगी।
Isaiah 60:19
देश को क्या ज्योंति देगा?
यहोवा उनके लिए सदैव की ज्योति होगा।
Isaiah 60:20
देश को क्या ज्योंति देगा?
यहोवा उनके लिए सदैव की ज्योति होगा।
Isaiah 60:21
यहोवा के लोग कब तक उस देश के अधिकारी होंगे?
वे सर्वदा देश के अधिकारी होंगे।
Isaiah 60:22
यहोवा को यह सब पूरा करने में कितना समय लगेगा?
यहोवा ठीक समय पर शीघ्रता से यह सब पूरा करेगा।
Isaiah 61
Isaiah 61:1-4
प्रभु यहोवा का आत्मा उस पर क्यों है?
प्रभु यहोवा का आत्मा उस पर है क्योंकि और उसने उसका अभिषेक किया है।
यहोवा ने उसे क्या करने के लिए अभिषेक किया है?
यहोवा ने उसे सुसमाचार सुनाने के लिये अभिषेक किया है।
पहली तीन चीज़ क्या थी जो यहोवा ने उसे करने भेजा था?
यहोवा ने उसे इसलिए भेजा कि खेदित मन के लोगों को शान्ति दे, बन्दियों के लिए स्वतंत्रता का और कैदियों के लिए छुटकारे का प्रचार करे।
Isaiah 61:5
परदेशी सिय्योन में क्या करेंगे?
परदेशी आ खड़े होंगे और सिय्योन में जो हैं उनकी भेड़-बकरियां चराएंगे और विदेशी लोग उनके हल चलानेवाले और दाख की बारी के माली होंगे।
Isaiah 61:6-7
सिय्योन में जो होंगे वे क्या कहलाएंगे?
वे यहोवा के याजक; परमेश्वर के सेवक कहलाएंगे।
Isaiah 61:8-9
यहोवा किससे प्रीति रखता है और किससे घृणा करता है?
यहोवा न्याय से प्रीति रखता है और अन्याय और डकैती से घृणा करता है।
Isaiah 61:10
यहोवा ने उसके लिए क्या किया है?
यहोवा ने उसे उद्धार के वस्त्र पहनाए और धार्मिकता की चद्दर ओढ़ा दी है।
Isaiah 61:11
यहोवा सब जातियों के सामने क्या बढ़ाएगा?
यहोवा सब जातियों के सामने धार्मिकता और धन्यवाद को बढ़ाएगा।
Isaiah 62
Isaiah 62:1-3
सिय्योन की धार्मिकता और महिमा कौन देखेगा?
जाति-जाति के लोग उसकी धार्मिकता और राजा उसकी महिमा देखेंगे।
Isaiah 62:4-5
सिय्योन और उसकी भूमि फिर क्या न कहलाएगी?
सिय्योन फिर "त्यागी हुई" न कहलाएगी और उसकी भूमि फिर "उजड़ी हुई" न कहलाएगी।
सिय्योन को क्यों कहा जाएगा कि "मैं तुझसे प्रसन्न हूँ" और उसकी भूमि "सुहागिन" है?
वह ऐसा इसलिए कहलाई जाएगी क्योंकि यहोवा उस से प्रसन्न है और उसकी भूमि सुहागिन होगी।
Isaiah 62:6
यरूशलेम की शहरपनाह पर पहरुए क्यों बैठे हैं?
वे इसलिए बैठे है कि वे यहोवा को स्मरण कराते रहें जब तक वह यरूशलेम को स्थिर करके उसकी प्रशंसा पृथ्वी पर न फैला दे तब तक वे उसे चैन न लेने दें।
Isaiah 62:7
यरूशलेम की शहरपनाह पर पहरुए क्यों बैठे हैं?
वे इसलिए बैठे है कि वे यहोवा को स्मरण कराते रहें जब तक वह यरूशलेम को स्थिर करके उसकी प्रशंसा पृथ्वी पर न फैला दे तब तक वे उसे चैन न लेने दें।
Isaiah 62:8-10
यहोवा ने अपने दाहिने हाथ और बलवन्त भुजा की शपथ क्यों खाई है?
उसने यह शपथ खाई है कि वह भविष्य में यरूशलेम के शत्रुओं को उसका अन्न नहीं खाने देगा, और न परदेशी उसका नया दाखमधु पीने पाएंगे।
Isaiah 62:11-12
यहोवा ने पृथ्वी के छोर तक किस आज्ञा का प्रचार किया है?
यहोवा ने यह प्रचार किया है: "सिय्योन की बेटी से कहो ,'देख, तेरा उद्धारकर्ता आता है! देख, जो मज़दूरी उसको देनी है वह उसके पास है और उसका काम उसके सामने है।' "
Isaiah 63
Isaiah 63:1-3
एदोम देश से जो आता है उसने क्या पहना है और वह कैसे आता है?
उसने लाल वस्त्र पहने हैं और वह झूमता चला आता है।
एदोम से आने वाला झूमता क्यों चला आता है?
वह झूमता चला इसलिय आता है क्योंकि वह अति बलवान है।
एदोम से आने वाला अपने विषय में क्या कहता है?
वह कहता है कि यह वही है जो धार्मिकता से बोलता है और उद्धार करने की शक्ति रखता है।
Isaiah 63:4
एदोम से आनेवाला क्या खोज रहा था?
वह बदला लेने का दिन और अपनी छुड़ाई प्रजा का वर्ष जो आ पहुंचा था खोज रहा था।
Isaiah 63:5
क्या एदोम से आनेवाले की सहायता करने के लिए कोई था?
नहीं। उसकी सहायता करनेवाला कोई नहीं था।
Isaiah 63:6
एदोम से आनेवाले ने लोगों को क्या किया?
उसने क्रोध में आकर देश-देश के लोगों को लताड़ा, अपनी जलजलाहट से उन्हें मतवाला कर दिया और उनके लहू को भूमि पर बहा दिया।
Isaiah 63:7-8
यहोवा ने क्यों और कैसे इस्राएल के घराने पर दया जताई?
उसने अपनी दया के कारण उन पर करुणा की और अपनी उनसे वाचा के कारण उनकी भलाई की।
Isaiah 63:9
प्राचीनकाल में क्या हुआ जब यहोवा के लोगों ने कष्ट उठाया?
उनके सारे संकट में यहोवा ने भी दुःख उठाया।
प्राचीनकाल में किसने इस्राएल को बचाया?
उसके सम्मुख रहनेवाले दूत ने प्राचीनकाल में उनका उद्धार किया।
Isaiah 63:10-15
वह क्यों उनका शत्रु हो गया?
वह उनका शत्रु हो गया क्योंकि उन्होंने बलवा किया और उसके पवित्र आत्मा को खेदित किया।
Isaiah 63:16
प्राचीनकाल से यहोवा का क्या नाम है?
प्राचीनकाल से उसका नाम "हमारा छुड़ानेवाला" है।
Isaiah 63:17-19
इस्राएल के घराने की क्या शिकायत या प्रश्न था?
उनकी शिकायत या प्रश्न यह था कि, "हे यहोवा, तू क्यों हमें अपने मार्गों से भटका देता है और हमारे मन ऐसे कठोर करता है कि हम तेरा भय नहीं मानते?"
Isaiah 64
Isaiah 64:2-3
क्या होगा यदि यहोवा का नाम उसके शत्रुओं पर प्रगट हो?
जाति-जाति के लोग उसके प्रताप से कांप उठेंगे।
Isaiah 64:4-5
प्राचीनकाल से ही क्या किसी ने यहोवा को छोड़ कोई परमेश्वर देखा या सुना जो अपनी बाट जोहने वालों के लिए काम करे?
नहीं, किसी ने यहोवा को छोड़कर ऐसा कोई परमेश्वर न देखा न सुना जो अपनी बाट जोहने वालों के लिए काम करे।
Isaiah 64:6
इस्राएल के धार्मिकता के काम किसके समान हैं?
वे सब के सब मैले चिथड़ों के समान हैं।
Isaiah 64:7
यहोवा से प्रार्थना करने वाला कोई क्यों नहीं था जो उससे लिपटा रहे?
ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि यहोवा ने उनसे अपना मुंह छिपा लिया था और उन्हें उनकी बुराइयों के वश में छोड़ दिया था।
Isaiah 64:8-9
लेखक यहोवा और इस्राएल के लोगों की तुलना किससे करता है?
यहोवा की तुलना कुम्हार से और इस्राएल के लोगों की तुलना मिट्टी से की गई है।
Isaiah 64:10-11
यहोवा का पवित्र नगर क्या बन गया है?
यहोवा का पवित्र नगर जंगल और यरूशलेम उजड़ गया है।
Isaiah 64:12
लेखक के यहोवा से कौन से दो प्रश्न हैं?
वे दो प्रश्न ये हैं, "हे यहोवा, क्या इन बातों के होते हुए भी तू अपने आप को रोके रहेगा?" और "क्या तू हम लोगों को इस घोर दुर्दशा में रहने देगा?"
Isaiah 65
Isaiah 65:1
जो यहोवा को पूछते भी न थे और न ही उसके खोजी थे यहोवा उनसे क्या चाहता था?
यहोवा ने कहा कि जो उसको पूछते भी न थे वे उसके खोजी हैं; जो उसे ढूँढ़ते भी न थे वे उसे पा लिए।
Isaiah 65:2
हठीली जाति के लोग किसके पीछे चलते थे?
वह अपनी युक्तियों के अनुसार बुरे मार्गों में चलते थे।
Isaiah 65:3
ये लोग किस तरह से यहोवा के विरुद्ध निरंतर अपराध कर रहे हैं?
वे यहोवा के विरुद्ध निरंतर अपराध करते क्योंकि वे उसके सामने ही बारियों में बलि चढ़ाते और ईटों पर धूप जलाते। वे कब्र के बीच बैठते और छिपे हुए स्थानों में रात बिताते; जो सूअर का माँस खाते, और घृणित वस्तुओं का रस अपने बर्तनों में रखते।
Isaiah 65:4-5
ये लोग किस तरह से यहोवा के विरुद्ध निरंतर अपराध कर रहे हैं?
वे यहोवा के विरुद्ध निरंतर अपराध करते क्योंकि वे उसके सामने ही बारियों में बलि चढ़ाते और ईटों पर धूप जलाते। वे कब्र के बीच बैठते और छिपे हुए स्थानों में रात बिताते; जो सूअर का माँस खाते, और घृणित वस्तुओं का रस अपने बर्तनों में रखते।
Isaiah 65:6
यहोवा ने हठीले लोगों को क्या किया और क्या करेगा?
यहोवा उनसे निश्चय ही बदला लेगा वरन् उनके और उनके पुरखाओं के अधर्म के कामों का बदला भी उनकी गोद में भर देगा।
Isaiah 65:7-8
यहोवा ने हठीले लोगों को क्या किया और क्या करेगा?
यहोवा उनसे निश्चय ही बदला लेगा वरन् उनके और उनके पुरखाओं के अधर्म के कामों का बदला भी उनकी गोद में भर देगा।
Isaiah 65:9-11
यहोवा अपने चुने हुए लोगों के लिए क्या करेगा?
उसके चुने हुए उसके वारिस होंगे।
Isaiah 65:12
जो लोग यहोवा को त्याग देते हैं वह उनका क्या करेगा?
वह उन्हें गिनगिन कर तलवार का कौर बनाएगा और वे सब घात होने के लिए झुकेंगे।
Isaiah 65:13
यहोवा के दासों का क्या होगा?
वे खाएँगे, पीएँगे, आनन्द करेंगे और हर्ष के मारे जयजयकार करेंगे।
जो यहोवा को त्यागेंगे उनको और क्या होगा?
वे भूखे और प्यासे रहेंगे। वे लज्जित होंगे, शोक से चिल्लाएंगे और खेद के मारे हाय-हाय करेंगे।
Isaiah 65:14-16
यहोवा के दासों का क्या होगा?
वे खाएँगे, पीएँगे, आनन्द करेंगे और हर्ष के मारे जयजयकार करेंगे।
जो यहोवा को त्यागेंगे उनको और क्या होगा?
वे भूखे और प्यासे रहेंगे। वे लज्जित होंगे, शोक से चिल्लाएंगे और खेद के मारे हाय-हाय करेंगे।
Isaiah 65:17
यहोवा क्या उत्पन्न करने जा रहा है?
यहोवा नया आकाश और नई भूमि उत्पन्न करने जा रहा है।
Isaiah 65:18-20
यहोवा के दासों की नए आकाश और नई भूमि पर क्या प्रतिक्रिया होगी?
जो यहोवा उत्पन्न करने पर है, उसके कारण वे हर्षित होंगे और सदा सर्वदा मगन रहेंगे।
Isaiah 65:21
लोग नए यरूशलेम में क्या करेंगे?
वे घर बनाकर उसमें बसेंगे, वे दाख की बारियाँ लगाकर उनका फल खाएँगे।
Isaiah 65:22-23
लोगों की आयु कितनी होगी?
उनकी आयु वृक्षों सी होगी।
Isaiah 65:24
नए आकाश और नई पृथ्वी में यहोवा कब अपनी प्रजा की सुनेगा और कब उनको उत्तर देगा?
उनके पुकारने से पहले वह उनको उत्तर देगा और उनके मांगते ही वह उनकी सुन लेगा।
Isaiah 65:25
यहोवा के पवित्र पर्वत पर पशुओं में क्या भिन्न होगा?
वे न तो किसी को कोई दुःख देंगे और न किसी की हानि करेंगे। भेड़िया और मेम्ना एक साथ चरा करेंगे, और सिंह बैल के समान भूसा खाएगा।
Isaiah 66
Isaiah 66:2
आकाश और पृथ्वी किसकी बनाई हुईं हैं?
ये सब वस्तुएं यहोवा के ही हाथ की बनाई हुई हैं।
यहोवा किस प्रकार के मनुष्य की ओर दृष्टि करेगा?
यहोवा उसी की ओर दृष्टि करेगा जो दीन और खेदित मन का हो और उसका वचन सुनकर थरथराता हो।
Isaiah 66:3-4
यहोवा मनुष्य का कपट दिखाने के लिए क्या उदाहरण देता है?
यहोवा कहता है, वह जो बैल का बलि करता है वह मनुष्य के मार डालनेवाले के समान है; जो भेड़ का चढ़ानेवाला है वह उसके समान है जो कुत्ते का गला काटता है; जो अन्नबलि चढ़ाता है वह मानो सूअर का लहू चढ़ानेवाले के समान है; और जो लोबान जलाता है, वह उसके समान है जो मूरत को धन्य कहता है।
Isaiah 66:5
जो यहोवा का वचन सुनकर थरथराते हैं उनके भाई उनके साथ क्या करेंगे?
उनके भाई उनसे बैर रखेंगे और यहोवा के नाम के निमित्त उनको अलग किया जाएगा।
Isaiah 66:6-9
नगर और मन्दिर से सुनाई देनेवाला शब्द किसका है?
नगर से कोलाहल की धूम सुनाई देता है, वह यहोवा का शब्द है, जो अपने शत्रुओं को उनकी करनी का फल दे रहा है।
Isaiah 66:10
यरूशलेम से प्रेम रखनेवाले सब उसके साथ आनन्द क्यों करें और क्यों मगन हों?
यरूशलेम से प्रेम रखनेवाले सब उसके साथ आनन्द करें और मगन हों जिससे वे उसके शान्तिरूपी स्तन से ढूध पीकर तृप्त हों और दूध पीकर उसकी महिमा की बहुतायत से अत्यंत सुखी हों।
Isaiah 66:11
यरूशलेम से प्रेम रखनेवाले सब उसके साथ आनन्द क्यों करें और क्यों मगन हों?
यरूशलेम से प्रेम रखनेवाले सब उसके साथ आनन्द करें और मगन हों जिससे वे उसके शान्तिरूपी स्तन से ढूध पीकर तृप्त हों और दूध पीकर उसकी महिमा की बहुतायत से अत्यंत सुखी हों।
Isaiah 66:12-15
यहोवा यरूशलेम के ऊपर क्या बहाने वाला है?
यहोवा यरूशलेम के ऊपर शान्ति को नदी के समान और जाति-जाति के धन को नदी की बाढ़ के समान समृद्धि बहा देगा।
Isaiah 66:16-17
यहोवा सब प्राणियों का न्याय करने के लिए क्या प्रयोग करेगा?
वह सब प्राणियों का न्याय आग से और अपनी तलवार से करेगा।
Isaiah 66:18
यहोवा सारी जातियों और भिन्न-भिन्न भाषाएँ बोलने वालों को क्यों इकट्ठा करेगा?
यहोवा सारी जातियों और भिन्न-भिन्न भाषाएँ बोलने वालों को इसलिए इकट्ठा करेगा ताकि वे आकर उसकी महिमा देखेंगे और वे बचे हुओं को उन जातियों के पास भेजेगा जिन्होंने न तो उसका समाचार सुना है और न महिमा देखी है ताकि वे जाति-जाति में उसकी महिमा का वर्णन करें।
Isaiah 66:19
यहोवा सारी जातियों और भिन्न-भिन्न भाषाएँ बोलने वालों को क्यों इकट्ठा करेगा?
यहोवा सारी जातियों और भिन्न-भिन्न भाषाएँ बोलने वालों को इसलिए इकट्ठा करेगा ताकि वे आकर उसकी महिमा देखेंगे और वे बचे हुओं को उन जातियों के पास भेजेगा जिन्होंने न तो उसका समाचार सुना है और न महिमा देखी है ताकि वे जाति-जाति में उसकी महिमा का वर्णन करें।
Isaiah 66:20-22
यहोवा को भेंट स्वरूप चढ़ाए जाने के रूप में किसे दिया जाएगा?
सब जातियों में से इस्राएल के भाइयों को यहोवा को भेंट स्वरूप चढाया जाएगा।
Isaiah 66:23
लोग एक नए चाँद से दूसरे नए चाँद और एक विश्राम दिन से दूसरे विश्राम दिन तक क्या करेंगे?
तब तक समस्त प्राणी यहोवा के सामने दण्डवत् करने को आया करेंगे।
Isaiah 66:24
जिन लोगों ने यहोवा से बलवा किया था उनके शवों का क्या होगा?
कीड़े उन्हें खाएंगे और आग उन्हें नष्ट करेंगे।