हिन्दी, हिंदी (Hindi): translationQuestions

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James

James 1

James 1:1

याकूब ने यह पत्री किसे लिखी ?

याकूब ने यह पत्री उन बारह गोत्रों को लिखी जो तितर-बितर हो गए थे।

James 1:2

परीक्षाओं का सामना करते समय, याकूब क्या कहता है कि उसके पाठकों का रवैया कैसा होना चाहिए?

याकूब कहता है कि परीक्षाओं का सामना करते समय इसे पूरे आनन्द की बात समझो।

James 1:3-4

हमारे विश्वास की परीक्षा से क्या उत्पन्न होता है?

हमारे विश्वास की परीक्षा से धीरज उत्पन्न होता है।

James 1:5

जरूरत पड़ने पर हमें परमेश्वर से क्या माँगना चाहिए?

जरूरत पड़ने पर हमें परमेश्वर से बुद्धि माँगनी चाहिए।

James 1:6

सन्देह करने वाला कैसा होता है?

जो सन्देह करता है, वह समुद्र की लहर के समान है, जो हवा में बहती और उछलती है।

James 1:7-9

सन्देह के साथ माँगने वाले को क्या प्राप्त करने की अपेक्षा करनी चाहिए?

जो कोई सन्देह के साथ माँगता है उसे प्रभु से कुछ भी प्राप्त होने की अपेक्षा नहीं करनी चाहिए।

James 1:10

धनवान को दीन क्यों होना चाहिए?

धनवान को दीन होना चाहिए क्योंकि वह फूलों की तरह ही मिट जाएगा।

James 1:11

धनवान की तुलना किससे की जा सकती है?

धनवान की तुलना घास के उस फूल से की जा सकती है जो सूख जाता है, झड़ जाता है और मिट जाता है।

James 1:12-13

जो विश्वास की परीक्षा में स्थिर रहते हैं वे क्या प्राप्त करेंगे?

जो विश्वास की परीक्षा में स्थिर रहते हैं उन्हें जीवन का मुकुट प्राप्त होगा।

James 1:14

किस कारण व्यक्ति की बुराई के द्वारा परीक्षा की जाती है?

व्यक्ति की अपनी ही बुरी इच्छाएँ बुराई के द्वारा उसकी परीक्षा का कारण बनती हैं।

James 1:15-16

पाप के बढ़ने का परिणाम क्या है?

पाप के बढ़ने का परिणाम मृत्यु है?

James 1:17

रोशनी के पिता से क्या उतरता है?

हर एक अच्छा वरदान और हर एक उत्तम दान ज्योतियों के पिता की ओर से ही मिलता है।

James 1:18

परमेश्वर ने हमें जीवन देने के लिए किस माध्यम से चुना?

परमेश्वर ने हमें सत्य के वचन के द्वारा जीवन देने का चुनाव किया।

James 1:19-21

हमारे सुनने, बोलने और भावनाओं के बारे में याकूब हमें क्या करने के लिए कहता है?

याकूब हमें सुनने के लिए तत्पर, बोलने में धीर और क्रोध करने में धीमा होने के लिए कहता है।

James 1:22-25

याकूब कैसे कहता है कि हम अपने आप को धोखा दे सकते हैं?

याकूब कहता है कि हम वचन को सुनकर और इस पर न चलकर अपने आप को धोखा दे सकते हैं।

James 1:26

हमें सच्ची धार्मिक करने के लिए किसे नियंत्रित करना चाहिए?

हमें सच्ची धार्मिक करने के लिए अपनी जीभ को नियंत्रित करना चाहिए।

James 1:27

परमेश्वर के सामने शुद्ध और निर्मल धर्म क्या है?

परमेश्वर के सामने शुद्ध और निर्मल धर्म यह है कि अनाथों और विधवाओं की सुधि लेना और अपने आप को संसार के भ्रष्टाचार से बचाना।

James 2

James 2:1-2

विश्वासियों का क्या रवैया नहीं होना चाहिए?

उनमें पक्षपात का रवैया नहीं होना चाहिए।

James 2:3

विश्वासी उस धनी व्यक्ति से क्या कह रहे हैं जो उनकी सभा में आता है?

वे उसे सबसे अच्छी जगह पर सामने आने के लिए कह रहे हैं।

विश्वासी एक कंगाल आदमी से क्या कह रहे हैं जो उनकी सभा में आता है?

वे उसे दूर खड़े रहने या किसी खराब जगह पर खड़े होने के लिए कह रहे हैं।

James 2:4

विश्वासी अपने पक्षपात के कारण क्या बन गए हैं?

वे कुविचारों के न्यायी बन गए हैं।

James 2:5

कंगालों के लिए परमेश्वर के चुनाव के बारे में याकूब क्या कहता है?

याकूब कहता है कि परमेश्वर ने कंगालों को विश्वास में धनी होने और राज्य के वारिस होने के लिए चुना है।

James 2:6-7

याकूब क्या कहता है कि धनवान लोग क्या कर रहे हैं?

याकूब कहता है कि धनवान भाइयों पर ज़ुल्म कर रहे हैं और परमेश्वर के नाम की निन्दा करते रहे हैं।

James 2:8-9

पवित्रशास्त्र की शाही व्यवस्था क्या है?

शाही व्यवस्था यह है कि, "तू अपने पड़ोसी से अपने समान प्रेम रख"।

James 2:10-12

जो कोई परमेश्वर की व्यवस्था की एक बात को ही तोड़ता है, वह किस बात का दोषी है?

जो कोई परमेश्वर की व्यवस्था की एक बात को तोड़ता है, वह सारी व्यवस्था को तोड़ने का दोषी है।

James 2:13

जिन्होंने दया नहीं की उन्हें क्या मिलेगा?

जिन्होंने दया नहीं की है उन लोगों के लिए न्याय दया के बिना आता है

James 2:14-15

याकूब उन लोगों के बारे में क्या कहता है जो विश्वास करने का दावा करते हैं, परन्तु जरूरतमंदों की मदद नहीं करते हैं?

याकूब कहता है कि जो लोग विश्वास करने का दावा करते हैं परन्तु ज़रूरतमंदों की मदद नहीं करते हैं, उनका विश्वास ऐसा होता है जो उन्हें बचा नहीं सकता है।

James 2:16

क्या यह एक कंगाल व्यक्ति की मदद करता है यदि हम उन्हें गर्म और भरे रहने के लिए कहें, परन्तु उन्हें कुछ न दें?

नहीं, यदि हम उन्हें गर्म रहने या उन्हें खाने के लिए कुछ नहीं देते हैं, तो यह एक कंगाल व्यक्ति की मदद नहीं करता है।

James 2:17

विश्वास अपने आप में क्या है, यदि इसमें कर्म नहीं हैं?

यदि इसमें कोई कर्म नहीं है तो विश्वास अपने आप में मरा हुआ है।

James 2:18

याकूब कैसे कहता है कि हमें अपना विश्वास दिखाना चाहिए?

याकूब कहता है कि हमें अपने कर्मों के द्वारा अपना विश्वास दिखाना चाहिए।

James 2:19-20

दुष्टात्माएँ और वे जो विश्वास करने का दावा करते हैं, दोनों क्या विश्वास करते हैं?

जो लोग विश्वास करने का दावा करते हैं और दुष्टात्माएँ दोनों विश्वास करते हैं कि एक ही परमेश्वर है

James 2:21

अब्राहम ने अपने कर्मों के द्वारा अपना विश्वास कैसे प्रदर्शित किया?

अब्राहम ने अपने कर्मों से अपने विश्वास का प्रदर्शन किया जब उसने इसहाक को वेदी पर चढ़ाया।

James 2:22

अब्राहम का विश्वास कैसे सिद्ध हुआ?

अब्राहम का विश्वास उसके कर्मों के द्वारा सिद्ध हुआ।

James 2:23-24

अब्राहम के विश्वास और कर्मों के द्वारा पवित्रशास्त्र का कौन-सा वचन पूरा हुआ?

पवित्रशास्त्र का वह वचन पूरा हुआ जो कहता है कि, "अब्राहम ने परमेश्वर पर विश्वास किया, और यह उसके लिये धार्मिकता गिनी गई"।

James 2:25

राहाब ने अपने कर्मों से अपना विश्वास कैसे प्रदर्शित किया?

राहाब ने अपने कर्मों से अपना विश्वास प्रदर्शित किया जब उसने दूतों का स्वागत किया और उन्हें दूसरे रास्ते से विदा किया।

James 2:26

आत्मा के बिना देह क्या है?

आत्मा के बिना एक देह मरी हुई है।

James 3

James 3:1

याकूब क्यों कहता है कि बहुतों को उपदेशक नहीं बनना चाहिए?

बहुतों को उपदेशक नहीं बनना चाहिए क्योंकि उनका न्याय और भी सख्ती से किया जायेगा।

James 3:2

कौन चूक जाता है, और कितने तरीकों से?

हम सभी बहुत से तरीकों से चूक जाते हैं।

कौन सा व्यक्ति अपनी पूरी देह को नियंत्रित करने के योग्य है?

जो व्यक्ति अपने शब्दों में चूक नहीं जाता है वह अपनी पूरी देह को भी नियंत्रित करने के योग्य है।

James 3:3

वह कौन सी छोटी सी चीज है जो एक बड़े जहाज को चलाने में योग्य है कि यहाँ माँझी उसे ले जाना चाहता है?

एक छोटा पतवार एक बड़े जहाज को चलाने में सक्षम है।

James 3:4-5

कौन सी छोटी सी चीज वन में एक बड़ी आग लगा सकती है?

एक छोटी सी आग वन बड़ी आग लगाने के योग्य है।

James 3:6-7

पापी जीभ पूरी देह को क्या कर सकती है?

पापी जीभ पूरी देह को कलंक लगाने में योग्य है।

James 3:8

मनुष्यों में से कोई भी किसे वश में नहीं कर पाया है?

मनुष्यों में से कोई भी जीभ को वश में नहीं कर पाया है।

James 3:9-10

लोग परमेश्वर और मनुष्यों के साथ अपनी जीभ से किन दो तरीकों से व्यवहार करते हैं?

एक ही जीभ से, वे परमेश्वर की स्तुति करते हैं और पुरुषों को श्राप देते हैं।

James 3:11-12

एक ही सोता कौन सी दो चीजें प्रदान नहीं कर सकता है?

एक ही सोता मीठा और खरा दोनों तरह का पानी नहीं दे सकता।

James 3:13

एक व्यक्ति ज्ञान और समझ का प्रदर्शन कैसे करता है?

नम्रता से किए गए अपने कार्यों से व्यक्ति ज्ञान और समझ का प्रदर्शन करता है।

James 3:14

संसारिक, शारीरिक और शैतानी बुद्धि कैसे प्रकट होती है?

जो मन में कड़वी डाह और विरोध रखते हैं, उनका ज्ञान संसारिक, शारीरिक और शैतानी है।

James 3:15

किस प्रकार का ज्ञान व्यक्ति को ईर्ष्या और विरोध और झूठ बोलने का कारण बनता है?

सांसारिक, शारीरिक और शैतानी ज्ञान के कारण व्यक्ति ईर्ष्यालु और विरोधी होता है, और झूठ बोलता है।

James 3:16

ईर्ष्या और विरोध का क्या परिणाम होता है?

ईर्ष्या और विरोध अशांति और हर बुरे काम का कारण बनता है।

James 3:17-18

कौन-से व्यवहार ऊपर से दिए गए ज्ञान को दर्शाते हैं?

जो व्यक्ति शांतिप्रिय, कोमल, मृदुभाव, दया और अच्छे फल से परिपूर्ण, पक्षपात रहित और कपट-रहित होता है, उसके पास ऊपर से दिया गया ज्ञान होता है।

James 4

James 4:1-2

याकूब क्या कहता है कि विश्वासियों के बीच झगड़े और विवाद का स्रोत क्या है?

स्रोत वे बुरी इच्छाएँ हैं जो उनके अंदर युद्ध करती हैं।

James 4:3

विश्वासी परमेश्वर से वह क्यों नहीं पाते जो वे माँगते हैं?

वे इसलिए नहीं पाते हैं क्योंकि वे अपनी बुरी इच्छाओं से माँगते हैं ताकि वे उन्हें अपने भोग-विलास में उड़ा सकें।

James 4:4-5

यदि कोई व्यक्ति संसार का मित्र बनने का निश्चय करता है, तो उस व्यक्ति का परमेश्वर से क्या सम्बन्ध है?

जो व्यक्ति संसार का मित्र बनने का निश्चय कर लेता है, वह अपने आप को परमेश्वर का बैरी बना लेता है।

James 4:6

परमेश्वर किसका विरोध करता है, और किस पर अनुग्रह करता है?

परमेश्वर अभिमानियों का विरोध करता है, परन्तु नम्रों पर अनुग्रह करता है।

James 4:7

जब एक विश्वासी अपने आप को परमेश्वर के अधीन कर लेता है और शैतान का सामना करता है तो शैतान क्या करेगा?

शैतान भाग जाएगा।

James 4:8-10

परमेश्वर उनके लिए क्या करेगा, जो उसके निकट आते हैं?

परमेश्वर उनके निकट आएगा जो उसके निकट आते हैं।

James 4:11-12

याकूब विश्वासियों से क्या नहीं करने के लिए कहता है?

याकूब विश्वासियों से कहता है कि वे एक दूसरे की निन्दा न करें।

James 4:13-14

भविष्य के कामों के बारे में याकूब हमें क्या परामर्श देता है?

याकूब के अनुसार हमारी मानसिकता होनी चाहिए कि हम कहें "यदि प्रभु चाहे तो हम जीवित रहेंगे, और यह या वह काम करेंगे।"

James 4:15

भविष्य में क्या होगा, इस बारे में याकूब विश्वासियों से क्या कहता है?

याकूब विश्वासियों को यह कहने के लिए कहता है कि यदि प्रभु चाहे, तो हम जीवित रहेंगे और यह या वह काम करेंगे।

James 4:16

याकूब उन लोगों के बारे में क्या कहता है जो अपनी डींग मारने पर घमण्ड करते हैं?

याकूब कहता है कि जो अपनी डींग मारने पर घमण्ड करते हैं वे बुराई कर रहे हैं।

James 4:17

यदि कोई भलाई करना जानता है, परन्तु नहीं करता है, तो यह क्या है?

यदि कोई भलाई करना जानता है, परन्तु नहीं करता है तो यह पाप है।

James 5

James 5:3

अंत के दिनों में धनवानों ने जिनके बारे में याकूब बात कर रहा है, क्या किया है जो उनके विरुद्ध गवाही देगा?

धनवानों का धन बिगड़ गया है।

James 5:4-5

इन धनवानों ने अपने मजदूरों के साथ कैसा व्यवहार किया है?

इन धनवानों ने अपने मजदूरों की उनकी मजदूरी नहीं दी है।

James 5:6

इन धनवानों ने धर्मी मनुष्य के साथ कैसा व्यवहार किया है?

इन धनवानों ने धर्मी मनुष्य को दोषी ठहराया और उसे मार डाला।

James 5:7

याकूब क्या कहता है कि प्रभु के आगमन के प्रति विश्वासी का व्यवहार क्या होना चाहिए?

विश्वासियों को धीरज धर के प्रभु के आगमन की प्रतीक्षा करनी चाहिए।

James 5:8-9

जब वे धीरज धर के प्रभु के आगमन की प्रतीक्षा करते हैं तो विश्वासियों को अपने हृदय को दृढ़ क्यों करना चाहिए?

उन्हें अपने हृदयों को दृढ़ करना चाहिए क्योंकि प्रभु का आगमन निकट है।

James 5:10

पुराने नियम के भविष्यवक्ताओं का दुःख उठाना और धीरज धरना हमारे लिए क्या बनना चाहिए?

पुराने नियम के भविष्यवक्ताओं का दुःख उठाना और धीरज धरना हमारे लिए एक उदाहरण बनना चाहिए।

James 5:11

अय्यूब ने कौन-सा विशेष सकारात्मक चरित्र प्रदर्शित किया?

अय्यूब ने धीरज प्रदर्शित किया।

James 5:12-13

एक विश्वासी के "हाँ" और "नहीं" की विश्वसनीयता के बारे में याकूब क्या कहता है?

एक विश्वासी के "हाँ" का अर्थ "हाँ" होना चाहिए और उसके "नहीं" का अर्थ "नहीं" होना चाहिए।

James 5:14-15

जो रोगी हैं उन्हें क्या करना चाहिए?

रोगियों को प्राचीनों को बुलाना चाहिए ताकि वे उसके लिए प्रार्थना कर सकें और उसका तेल से अभिषेक कर सकें।

James 5:16

याकूब क्या कहता है कि चंगे होने के लिए विश्वासियों को एक दूसरे के साथ कौनसी दो बातें करनी चाहिए?

विश्वासियों को एक दूसरे के सामने अपने पापों को मान लेना चाहिए और एक दूसरे के लिए प्रार्थना करनी चाहिए।

James 5:17

क्या हुआ जब एलिय्याह ने प्रार्थना की कि बारिश न बरसे?

साढ़े तीन वर्ष तक भूमि पर बारिश नहीं हुई।

James 5:18-19

क्या हुआ जब एलिय्याह ने फिर से बारिश होने के लिए प्रार्थना की?

जब उसने फिर से प्रार्थना की, तो आकाश ने वर्षा हुई और भूमि ने फल दिया।

James 5:20

जो व्यक्ति एक भटके हुए पापी को फेर लाएगा, वह क्या प्राप्त करता है?

जो व्यक्ति एक भटके हुए पापी को फेर लाता है, वह एक आत्मा को मृत्यु से बचाता है और अनेक पापों को ढक लेता है।